लोकसभा चुनाव के नतीजों और मंत्रिमंडल के गठन के बाद अब 17वीं लोकसभा का पहला सत्र शुरू होने जा रहा है लेकिन अभी तक सरकार की तरफ से लोकसभा स्पीकर का नाम फाइनल नहीं हुआ है. बीजेपी के पास सदन में पूर्ण बहुमत मौजूद है जिससे लोकसभा अध्यक्ष का निर्विरोध चुना जाना तय है. लोकसभा स्पीकर की इस रेस में कई नाम भी सामने आने लगे हैं.
बताया जा रहा है कि फिलहाल इस पद के लिए चार वरिष्ठ सांसदों का नाम चर्चा में है. सत्र शुरू होने के दो दिन बाद यानि 19 जून को लोकसभा स्पीकर का चुनाव संभव है. इनमें ये सांसद लोकसभा अध्यक्ष पद की दौड़ में है
मेनका गांधीः यूपी की सुल्तानपुर सीट से सांसद चुनकर आई मेनका गांधी लोकसभा स्पीकर की दौड में सबसे आगे बताई जा रही हैं. मेनका 8वीं बार संसद सदस्य के रूप में निर्वाचित हुई हैं. हालांकि मेनका को वरिष्ठता के आधार पर सांसदो को शपथ दिलाने के लिए प्रोटेम स्पीकर भी बनाया जा सकता है.
विरेंद्र कुमारः मध्य प्रदेश की टीकमगढ़ लोकसभा सीट से लगातार सातवीं बार चुनाव जीतकर सांसद बने विरेंद्र कुमार लोकसभा स्पीकर बनाए जा सकते है. विरेंद्र कुमार मध्य प्रदेश बीजेपी के बड़े नेता हैं. उनका इस बार मोदी मंत्रिमंडल में आना तय लग रहा था. लेकिन वो इसमें जगह नहीं बना पाए.
एसएस अहलूवालिया: पश्चिम बंगाल से दूसरी बार एसएस अहलूवालिया लोकसभा सांसद के रूप में चुनकर आए है. अहलूवालिया का नंबर इस बार लोकसभा अध्यक्ष के लिए लग सकता है. साथ ही वे प्रधानमंत्री मोदी के काफी करीबी माने जाते है. इसके अलावा अहलूवालिया पहले चार बार कांग्रेस की तरफ से राज्यसभा के सांसद रह चुके हैं.
राधामोहन सिंहः बिहार की पूर्वी चंपारण लोकसभा सीट से चुनाव जीतकर आए राधामोहन सिंह को जल्द ही बड़ी जिम्मेदारी मिल सकती है. उनका नाम इन दिनों लोकसभा अध्यक्ष की दौड़ में भी चल रहा है. वो मोदी सरकार के पहले कार्यकाल में कृषि मंत्रालय जैसे अहम विभाग की जिम्मेदारी संभाल चुके है.
नरेंद्र मोदी के पीएम के रूप में सत्ता संभालने के बाद मंत्रिमंडल गठन और सरकार का कामकाज शुरू हो गया है. अब 17 जून से शुरू हो रहे सदन के लिए लोकसभा अध्यक्ष और उपाध्यक्ष पदों पर पटाक्षेप हो सकता है. सामने आ रहे सांसदों के इन नामों में से किसी को यह पद दिया जा सकता है. फिलहाल एनडीए की अंतिम मोहर का ही सबको इंतजार रहेगा.
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