Politalks.News/Karnataka. अगले साले की शुरुआत में होने वाले कर्नाटक विधानसभा चुनाव से पहले भाजपा की मुश्किलें कम होने का नाम ही नहीं ले रही है. 2021 में बीएस येदियुरप्पा को मुख्यमंत्री पद से हटाकर बीजेपी ने बसवराज बोम्मई को प्रदेश की कमान सौंपी थी. लेकिन खबर ये है कि मुख्यमंत्री के कामकाज से प्रदेश भाजपा नेताओं के साथ साथ आलाकमान भी खुश नहीं है. बसवराज बोम्मई सरकार में कानून मंत्री जेसी मधुस्वामी का एक ऑडियो क्लिप सोशल मीडिया पर जमकर वायरल हो रहा है जिसके बाद से प्रदेश की सियासत में भूकंप आना तय माना जा रहा है. इस वायरल ऑडियो में मधुस्वामी कह रहे है कि, ‘हम सरकार नहीं चला रहे हैं, हम इसे मैनेज कर रहे हैं.’ इस बयान के सामने आने के बाद सीएम बोम्मई ने यह स्वीकार भी कर लिया है कि यह टिप्पणी ऑथेंटिक है, लेकिन इसे गलत संदर्भ में लिया गया है. अब इस मामले को लेकर जुबानी जंग भी तेज हो गई है.
कर्नाटक की बसवराज बोम्मई सरकार की मुश्किलें हैं कि ख़त्म होने का नाम ही नहीं ले रही है. सरकार पर लगातार लग रहे भ्रष्टाचार के आरोपों के बीच अब सरकार के कानून मंत्री का ऑडियो लीक होने से प्रदेश की सियासत में हाहाकार मचा हुआ है. यह ऑडियो राज्य के मुख्यमंत्री बसवराज बोम्मई के कमजोर कार्यकाल की आंतरिक स्थिति को बयां करने वाला है. दरअसल, एक वायरल ऑडियो क्लिप में कर्नाटक के कानून मंत्री जेसी मधुस्वामी को ऑडियो क्लिप में यह कहते हुए सुना जा सकता है कि, ‘हम सरकार नहीं चला रहे हैं, हम इसे मैनेज कर रहे हैं.’ पिछले हफ्ते एक मंत्री की टिप्पणी प्रेस में लीक हो गई थी जिसके बाद से मुख्यमंत्री बसवराज बोम्मई को शर्मिंदगी उठानी पड़ रही है. वहीं यह ऑडियो क्लिप भी उस समय मीडिया में वायरल हुई है जब 62 वर्षीय बोम्मई को कार्यकाल पूरा होने से पहले ही मुख्यमंत्री पद से हटाने की चर्चा चल रही है.
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हालांकि दो दिन पहले ही एक वरिष्ठ भाजपा नेता ने कहा कि बसवराज बोम्मई के रहते हुए ही पार्टी कर्नाटक में एक बार फिर सरकार बनाएगी. वहीं मामले को बढ़ता देख आज मुख्यमंत्री बोम्मई ने खुद कहा कि सबकुछ ठीक है और कोई परेशानी नहीं है. हम इस मामले में लोगों से बात करेंगे और मामले को सुलझाएंगे. इसे गलत संदर्भ में लिया गया है. यह टिप्पणी बैंकों द्वारा ब्याज की मांग को लेकर की गई थी.’ वहीं कानून मंत्री के इस बयान पर बोम्मई समर्थक मंत्रियों ने मधुस्वामी के खिलाफ मोर्चा खोल दिया है. राज्य के एक सीनियर मिनिस्टर ने कानून मंत्री के इस्तीफे की मांग की है.
सरकार में मंत्री एसटी सोमशेखर ने कानून मंत्री की बात पर असहमति जताते हुए कहा कि, ‘अगर उन्हें लगता है कि हम केवल मैनेज कर रहे हैं, तो उन्हें कर्नाटक के कानून मंत्री के रूप में तुरंत पद छोड़ देना चाहिए. वह सरकार का हिस्सा हैं. वह हर कैबिनेट बैठक और किए गए निर्णय का हिस्सा हैं. अगर उन्होंने वह बयान दिया है, इसका मतलब है कि वह भी इसके पक्षकार हैं. मंत्री पद पर होने के कारण, इस तरह का बयान देना उनके लिए गैर जिम्मेदाराना है.’ वहीं बोम्मई के विरोधी हाल के महीनों में काफी मुखर हो चुके हैं. विरोधियों का आरोप है कि मुख्यमंत्री ने राज्य पर अपनी पकड़ खो दी है. कर्नाटक में सांप्रदायिक हिंसा भड़क रही है और पिछले महीने भाजपा के एक कार्यकर्ता की हत्या कर दी गई थी.
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दरअसल, राज्य के मुख्यमंत्री पद संभालने वाले बसवराज बोम्मई के खिलाफ इन दिनों काफी असंतोष है. राज्य में प्रशासनिक नाकामी का भी ठीकरा उन पर ही फोड़ा जा रहा है. बीते दिनों यह अटकलें लगाई जाने लगी थी कि बीजेपी शीर्ष नेतृत्व बोम्मई की जगह किसी अन्य की ताजपोषी कर सकता है क्योंकि अगले साल ही चुनाव होने हैं. हालांकि, बीते दिनों बीएस येदियुरप्पा ने अमित शाह से मुलाकात की थी. उन्होंने मुलाकात के बाद यह स्पष्ट किया कि बोम्मई को एक और कार्यकाल का मौका दिया जाएगा. दरअसल, 2021 में बीएस येदियुरप्पा के मुख्यमंत्री पद छोड़ने के बाद बसवराज बोम्मई को मुख्यमंत्री बनाया गया था. बोम्मई, येदियुरप्पा की ही पसंद माने जाते हैं.