Vinai Kumar Saxena Latest News – विनय कुमार सक्सेना दिल्ली के 22वें उपराज्यपाल हैं. कॉर्पोरेट क्षेत्र से आने वाले सक्सेना ऐसे पहले व्यक्ति है जिन्हे उपराज्यपाल जैसा बड़ा संवैधानिक पद दिया गया. वी के सक्सेना इससे पहले 2015 से लेकर 2022 तक खादी और ग्रामोद्योग आयोग के अध्यक्ष के रूप में कार्य किया है. मई 2015 में उन्हें खादी और ग्रामोद्योग आयोग का अध्यक्ष नियुक्त किया गया. जो सूक्ष्म, लघु और मध्यम उद्यम मंत्रालय के अंतर्गत एक संगठन है. उन्ही के कार्यकाल में वर्ष 2025 में दिल्ली का आठवीं विधानसभा के चुनाव हुए और बीजेपी सत्ता में आयी है. पर इससे पहले वी के सक्सेना का अरविंद केजरीवाल व आम आदमी पार्टी के साथ नोक झोक खूब चला था. पर अब सत्ता बदल गई है. इस लेख में हम आपको दिल्ली के 22वें उपराज्यपाल श्री विनय कुमार सक्सेना की जीवनी (Vinai Kumar Saxena Biography in Hindi) के बारें में जानकारी देने वाले है.
विनय कुमार सक्सेना की जीवनी (Vinai Kumar Saxena Biography in Hindi)
पूरा नाम | विनय कुमार सक्सेना |
उम्र | 66 साल |
जन्म तारीख | 23 मार्च 1958 |
जन्म स्थान | बांदा, उत्तरप्रदेश |
शिक्षा | स्नातक |
कॉलेज | कानपुर विश्वविद्यालय |
वर्तमान पद | दिल्ली के 22वें उपराज्यपाल |
व्यवसाय | राजनीतिज्ञ, व्यापार |
राजनीतिक दल | भारतीय जनता पार्टी |
वैवाहिक स्थिति | विवाहित |
पिता का नाम | – |
माता का नाम | – |
पत्नी का नाम | संगीता सक्सेना |
बच्चे | एक बेटी |
बेटें का नाम | धनंजय सिंह |
बेटी का नाम | शिवांगी सक्सेना |
स्थाई पता | उत्तरप्रदेश |
वर्तमान पता | सिविल लाइंस, नई दिल्ली |
फोन नंबर | +91-11-23975022, 23960809 |
ईमेल | pstolg[dot]delhi[at]nic[dot]in |
विनय कुमार सक्सेना का जन्म और परिवार (Vinai Kumar Saxena Birth & Family)
विनय कुमार सक्सेना जन्म 23 मार्च 1958 को उत्तर प्रदेश के बांदा में हुआ था. बाद में उनका पालन-पोषण उत्तर प्रदेश के बांदा में ही हुआ था.
वी के सक्सेना का विवाह संगीता सक्सेना से हुआ, जो नई दिल्ली में रहने वाली एक शिक्षाविद् और सामाजिक कार्यकर्ता हैं. वी के सक्सेना की एक बेटी है, जिनका नाम शिवांगी सक्सेना है. शिवांगी सक्सेना एक इंटीरियर डिजाइनर है. विनय कुमार सक्सेना हिन्दू है और वह जाति से कायस्थ है.
विनय कुमार सक्सेना की शिक्षा (Vinai Kumar Saxena Education)
विनय कुमार सक्सेना ने 1981 में कानपुर विश्वविद्यालय से स्नातक की उपाधि प्राप्त की.उनके पास पायलट लाइसेंस है.
विनय कुमार सक्सेना का शुरूआती जीवन (Vinai Kumar Saxena Early Life)
वी के सक्सेना ने अपने करियर की शुरुआत राजस्थान में जेके ग्रुप ऑफ़ कंपनीज़ में सहायक अधिकारी के रूप में की थी. बाद में उन्हें समूह का महाप्रबंधक नियुक्त किया गया. इसके बाद वह धोलेरा में धोलेरा पोर्ट प्रोजेक्ट के सीईओ और निदेशक बन गए. उन्होंने सरदार सरोवर नर्मदा निगम लिमिटेड के समर्थन से सरदार सरोवर परियोजना के कंक्रीट ग्रेविटी बांध के निर्माण में भी महत्वपूर्ण भूमिका निभाया.
वी के सक्सेना ने वर्ष 1991 में नेशनल काउंसिल फॉर सिविल लिबर्टीज ऑफ इंडिया (एनसीसीएल) की शुरुआत की. यह एक गैर सरकारी संगठन है और इसका मुख्यालय अहमदाबाद है.
इस एनजीओ ने मेधा पाटकर और नर्मदा बचाओ आंदोलन का विरोध किया. इस एनजीओ के माध्यम से वर्ष 2001 में वी के सक्सेना ने पाटकर के विरुद्ध आपराधिक मानहानि का मुकदमा किया जिसमें 24 मई 2024 को दिल्ली की एक अदालत ने मेघा पाटकर दोषी ठहराया. अदालत ने मेघा पाटकर को जानबूझकर और दुर्भावनापूर्ण तरीके से वी के सक्सेना को बदनाम करने का दोषी पाया.
वी के सक्सेना को वर्ष 2019 में जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय के विश्वविद्यालय न्यायालय के सदस्य के तौर पर नियुक्त किया गया. नवंबर 2020 में वी के सक्सेना को वर्ष 2021 के लिए पद्म भूषण चयन पैनल के सदस्य के तौर पर नामित किया गया था. इसके बाद मार्च 2021 में उन्हें भारत की स्वतंत्रता के 75 वर्ष पूरे होने के उपलक्ष्य में राष्ट्रीय समिति के सदस्य के रूप में केंद्र सरकार द्वारा नियुक्त किया गया.
विनय कुमार सक्सेना का दिल्ली के उपराज्यपाल के रूप में करियर (Vinai Kumar Saxena Lieutenant Governor of Delhi Career)
वी के सक्सेना के लिए वर्ष 2022 जीवन का सबसे महत्वपूर्ण वर्ष रहा क्योकि इसी वर्ष उन्हें दिल्ली का उपराज्यपाल नियुक्त किया गया. वी के सक्सेना को 23 मई 2022 को भारत के राष्ट्रपति द्वारा राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र दिल्ली का उपराज्यपाल मनोनीत किया गया.
इसके साथ ही किसी कॉर्पोरेट क्षेत्र से आकर उपराज्यपाल बनने वाले वह पहले व्यक्ति भी बन गए. इससे पहले दिल्ली में उपराज्यपाल के पद पर अनिल बैजल थे. वी के सक्सेना को उन्ही के बाद दिल्ली का उपराज्यपाल चुना गया.
आम आदमी पार्टी के साथ विवाद
दिल्ली में आम आदमी पार्टी और उपराज्यपाल का ज्यादातर समय विवाद में गुजरा है. आम आदमी पार्टी के नेता निराधार किसी पर भी आरोप लगाने के लिए जाना जाते है. वी के सक्सेना को आम आदमी पार्टी ने अपना शिकार बना लिया और उन पर खादी घोटाले में शामिल होने और खादी व ग्रामोद्योग आयोग के अध्यक्ष के रूप में उनके कार्यकाल के दौरान 1,400 करोड़ रुपये की मनी लॉन्ड्रिंग का झूठा आरोप लगा दिया. वी के सक्सेना ने ऐसे किसी भी निराधार आरोप का विरोध किया और आप नेताओ के विरुद्ध कानूनी नोटिस भेजा.
बाद में दिल्ली उच्च न्यायालय ने आप को सोशल मीडिया से अपमानजनक पोस्ट हटाने का आदेश दिया और आगे का फैसला सुनाते हुए कहा कि आरोप पूरी तरह से निराधार थे.
इसके बाद दिल्ली के तत्कालीन उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया ने वी के सक्सेना पर अनधिकृत क्षेत्रों में दुकानें खोलने पर चिंता जताए बिना दिल्ली सरकार द्वारा पेश की गई दिल्ली आबकारी नीति को मंजूरी देने का आरोप लगाया. इसी के बाद 2022 में पदभार संभालने के बाद वी के सक्सेना ने दिल्ली शराब घोटाले की केंद्रीय जांच ब्यूरो से जांच कराने की सिफारिश कर दी.
इस चिढ से आप नेता वी के सक्सेना पर अनर्गल वयान देने शुरू कर दिए. इसी कड़ी में 16 मार्च 2023 को आम आदमी पार्टी नेता संजय सिंह ने एक वीडियो जारी करते हुए वी के सक्सेना पर गुजरात के साबरमती आश्रम में 2002 में मेघा पाटकर के विरुद्ध हिंसक भीड़ का नेतृत्व करने का आरोप लगा दिया. मेघा पाटकर चूँकि जनवरी 2014 में आम आदमी पार्टी में शामिल हो गई थी. वी के सक्सेना ने इसे भी निराधार बताया. इसी के साथ दिल्ली की एक अदालत ने भी पाया कि मेघा पाटकर को वी के सक्सेना की छवि ख़राब करने का दोषी पाया था.
इस लेख में हमने आपको दिल्ली के 22वें उपराज्यपाल विनय कुमार सक्सेना की जीवनी (Vinai Kumar Saxena Biography in Hindi) के बारे में जानकारी दी है. अगर आपका कोई सुझाव है तो हमें कमेंट करके जरूर बताएं.