Politalks.news/Haryana. प्रतियोगी परीक्षाओं के पेपर लीक होने का मामला देश में आम हो चला है. पेपर लीक होने के कारण देश भर के युवाओं का भविष्य अंधकार में है. हरियाणा में एक के बाद एक प्रतियोगी परीक्षाओं के पेपर लीक होने के कारण सूबे की खट्टर सरकार विपक्ष के निशाने पर आ गई है. हरियाणा पुलिस कांस्टेबल भर्ती परीक्षा रद्द हो चुकी है. हालांकि विभाग परीक्षा रद्द होने के पीछे पेपर लीक होने के कारणों का खंडन कर रहा है लेकिन कांग्रेस पार्टी इस पूरे मामले पर खट्टर सरकार पर निशाना साध रही है. पेपर लीक मामले को लेकर सूबे के पूर्व मुख्यमंत्री भूपेन्द्र सिंह हुड्डा ने कहा कि बीजेपी सरकार में परचून की दुकान के सामान की तरह नौकरियां बिक रही हैं. तो वहीं सुरजेवाला ने पेपर लीक मामले किए सीबीआई से जांच करवाने की बात कही.
हरियाणा पुलिस कांस्टेबल भर्ती परीक्षा 2021 शनिवार को रद्द कर दी गई. शनिवार को परीक्षा का पहला दिन था और पहले दिन प्रतिभागियों ने 35 केंद्रों पर दो परियों में पेपर दिया था. रविवार को भी परीक्षा का आयोजन होने वाला था. आयोग ने अपनी आधिकारिक वेबसाइट पर पुलिस कॉन्स्टेबल भर्ती परीक्षा रद्द होने का नोटिफिकेशन जारी कर दिया है. हालांकि, आयोग ने पेपर कैंसिल करने के कारणों की जानकारी नहीं बताई है लेकिन कांग्रेस पार्टी इसे पेपर लीक का मामला बता कर खट्टर सरकार पर निशाना साध रही है.
पेपर लीक इवेंट में खट्टर सरकार ओलिंपिक में जीतेगी गोल्ड मैडल- हुड्डा
हरियाणा के पूर्व मुख्यमंत्री भूपेन्द्र सिंह हुड्डा ने सूबे की बीजेपी-जेजेपी सरकार पर जमकर निशाना साधा. हुड्डा ने कहा कि बीजेपी-जेजेपी की सरकार में नौकरियां परचून की दुकान पर सामान की तरह बिक रही है. हुड्डा ने एक के बाद एक हो रहे पेपर लीक घोटाले पर तंज कसते हुए कहा कि ‘अगर ओलिंपिक में पेपर लीक करने का कोई इवेंट होता तो हरियाणा की बीजेपी-जेजेपी सरकार को पक्का गोल्ड मेडल मिलता. हुड्डा ने कहा कि कांग्रेस पेपर लीक घोटाले के मामले को आने वाले विधानसभा सत्र में उठाएगी.
सरकार में नीचे से लेकर ऊपर तक फैला है भ्रष्टाचार- हुड्डा
भूपेन्द्र सिंह हुड्डा ने पेपर लीक को लेकर कहा कि पिछले कुछ सालों में ऐसी कोई भर्ती नहीं है जिसका पेपर लीक ना हुआ हो. उच्च पद पर बैठे व्यक्ति की संलिप्तता के बिना पेपर लेकर का ये घोटाला संभव नहीं है. मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर के की सरकार में 6 साल के दौरान दो दर्जन से ज्यादा पेपर लीक के मामले सामने आ चुके हैं. एक ही साल में ग्राम सचिव और कांस्टेबल जैसी दो बड़ी भर्तियों का पेपर लीक होना कोई आम बात नहीं है. बावजूद इसके आज तक खट्टर सरकार ने इस पुरे घोटाले में किसी बड़े पदाधिकारी की जांच नहीं करवाई. मौजूदा सरकार में नीचे से लेकर ऊपर तक भ्रष्टाचार की जड़ें अंदर तक फैली हुई हैं. भर्तियों में धांधलेबाजी के चलते कुछ साल पहले हरियाणा स्टाफ सिलेक्शन कमीशन के दफ्तर में छापेमारी हुई थी, तब पता चला था कि बीजेपी सरकार के दौरान हर भर्ती के रेट फिक्स हैं.
पेपर लीक मामले की हो सीबीआई जांच- सुरजेवाला
तो वहीं कांग्रेस के राष्ट्रीय प्रवक्ता एवं दिग्गज नेता रणदीप सिंह सुरजेवाला ने पेपर लीक मामले की सीबीआई जांच कराने की मांग की. सुरजेवाला ने कहा कि सभी पेपर लीक मामलों की हाईकोर्ट के देखरेख में सीबीआई जांच करवाई जाए और हरियाणा कर्मचारी चयन आयोग को तुरंत प्रभाव से बर्खास्त किया जाए. सुरजेवाला ने सीएम मनोहरलाल खट्टर एवं डिप्टी सीएम दुष्यंत चौटाला पर निशाना साधते हुए कहा कि मुख्यमंत्री-उपमुख्यमंत्री की चुप्पी इस बात का स्पष्ट संकेत दे रही है कि सरकार असली सफेदपोश दोषियों को मूक समर्थन की बू आ रही है.
सुरजेवाला ने कहा कि पिछले कुछ वर्षों से प्रदेश में नकल माफिया हावी है और मुख्यमंत्री अपनी जिम्मेदारी से नहीं भाग सकते, उन्हें इस पुरे मामले में स्पष्टीकरण देना ही होगा. उन्होंने कहा कि हर महीने एक नया पेपर लीक मामला सामने आने से युवाओं का इस प्रदेश सरकार से भरोसा ख़त्म हो चूका है और उन्हें समझ नहीं आ रहा की वो अब क्या करें.
पेपर लीक मामले में सरकार की संलिप्तता आ रही है सामने- शैलजा
वहीं हरियाणा कांग्रेस अध्यक्ष कुमारी शैलजा ने कहा कि शनिवार को पुलिस कांस्टेबल परीक्षा लीक मामले में धीरे-धीरे जो परतें खुल रही हैं, वह कई बड़े सवाल खड़े कर रही हैं. इस पेपर लीक मामले में हरियाणा सरकार लिखी एक बोलेरो की भी संलिप्तता सामने आ रही है. कुमारी शैलजा ने आगे सरकार से पूछा कि आखिर यह हरियाणा सरकार लिखी बोलेरो किसकी है? इस मामले में क्या किन्हीं बड़े लोगों का हाथ है? इस सरकार में 35 से ज्यादा पेपर लीक हो चुके हैं. लगातार पेपर लीक हो रहे हैं, फिर भी यह सरकार इनसे सबक लेने को तैयार क्यों नहीं है? कुमारी सेलजा ने आगे कहा कि प्रदेश पेपर लीक माफियाओं का गढ़ बन चुका है. क्या बिना किसी बड़ी शह के यह मुमकिन है? सरकार में अभी तक हुए सभी पेपर लीक मामलों की हाईकोर्ट के सिटिंग जज से जांच कराई जाए.
बता दें कि हरियाणा कर्मचारी चयन आयोग ने शनिवार व रविवार को 5500 कांस्टेबल की भर्ती के लिए परीक्षा आयोजित की गई थी. राज्य भर के 35 से ज्यादा केंद्रों पर दो पारियों में यह परीक्षा आयोजित की गई थी. लेकिन तभी पेपर लीक होने की सूचना आई, जिसके बाद आयोग ने पारदर्शिता का दावा करते हुए दोनों दिन की परीक्षा निरस्त कर दी है. अब आयोग ने अगला शेड्यूल जल्द जारी करने की बात कही जा रही है. इस भर्ती के लिए आठ लाख 39 हजार युवाओं ने आवेदन किए थे.