हक़ की लड़ाई में कमजोर की ढाल बनना और दबी हुई आवाज को उठाना मेरा एक मात्र लक्ष्य- राहुल

पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी ने देशवासियों के नाम लिखा एक ओपन लेटर, जिसमें राहुल ने अपनी यात्रा के अनुभवों को किया साझा, बताया कि उनके व्यक्तिगत और राजनीतिक जीवन का लक्ष्य क्या है?, 'विविधता में एकता' की हमारी पहचान है, मेरा आप सभी को यही सन्देश है - डरो मत! अपने दिल से डर को निकाल दो, नफरत अपने आप हमारे समाज से ख़त्म हो जाएगी

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Rahul Gandhi’s open letter to the people of the country. पूर्व कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी की कन्याकुमारी से कश्मीर तक भारत जोड़ो यात्रा अब अपने आखरी पड़ाव पर है और अपनी मंजिल के करीब है. राहुल गांधी करीब 3500 किलोमीटर का सफर तय कर चुके हैं और वर्तमान में भारत जोड़ो यात्रा पंजाब से गुजर रही है. जैसे जैसे यात्रा अलग-अलग राज्य में जा रही है वैसे वैसे राहुल की यात्रा में जनसैलाब उमड़ रहा है. इसी बीच कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी ने शुक्रवार को देशवासियों के नाम एक ओपन लेटर लिखा है जिसमें राहुल ने अपनी यात्रा के अनुभवों को साझा किया है. साथ ही राहुल ने बताया है कि उनके व्यक्तिगत और राजनीतिक जीवन का लक्ष्य क्या है? आपको बता दें कि JDU के पूर्व अध्यक्ष शरद यादव का गुरुवार की रात 75 साल की उम्र में निधन हो गया था, जिसके बाद राहुल गांधी शुक्रवार को शरद यादव को श्रद्धांजलि देने के लिए पंजाब से दिल्ली पहुंचे थे.

बता दें कि कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी ने शुक्रवार को देशवासियों के नाम एक खुली चिट्ठी लिखी है जिसमें उन्होंने कहा कि वे संसद से सड़क तक संघर्ष करते रहेंगे, भारत जोड़ो यात्रा ने उन्हें सिखाया है कि उन्हें कमजोरों की ढाल बनना है. कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने अपने पत्र में कहा कि मेरे व्यक्तिगत और राजनीतिक जीवन का लक्ष्य एक ही है- हक की लड़ाई में कमजोरों की ढाल बनना, जिनकी आवाज दबाई जा रही है उनकी आवाज उठाना.

राहुल गांधी ने अपने पत्र में लिखा कि मैं ये पत्र आपको 3500 किलोमीटर की ऐतिहासिक भारत जोड़ो यात्रा पूरी करने के बाद लिख रहा हूँ, कन्याकुमारी से कश्मीर तक की इस पदयात्रा में हमारे साथ करोड़ों भारतीयों ने हिस्सा लिया. सांसद राहुल गांधी ने आगे लिखा कि यह मेरे जीवन की सबसे महत्वपूर्ण यात्रा थी, और इस यात्रा के दौरान आप सभी ने जो प्यार और स्नेह मुझे दिया उससे में अभिभूत हूँ.

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कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने अपने पत्र में बताया कि आज हमारी विविधता भी खतरे में हैं, कुछ विभाजनकारी ताकतें हमारी विविधता को हमारे ही खिलाफ इस्तेमाल कर रही हैं एक धर्म को दूसरे धर्म से, एक जाति को दूसरी जाति से, एक भाषा को दूसरी भाषा से, और एक राज्य को दूसरे राज्य से लड़ाया जा रहा है. राहुल ने आगे लिखा कि ये विभाजनकारी ताकतें जानती हैं कि लोगों के दिलों में असुरक्षा और डर पैदा करके ही वो समाज में नफ़रत के बीज बो सकते हैं, लेकिन इस यात्रा के बाद मुझे पूरा विश्वास हो गया है कि नफरत की राजनीति की अपनी सीमायें है और यह ज्यादा दिन तक नहीं चल सकती.

अपने पत्र में राहुल ने आगे लिखा कि इस यात्रा के दौरान मैंने आप सब के विचारों और आपकी परेशानियों को बहुत ही ध्यान से सुना आज भारत गहरे आर्थिक संकट के दौर से गुजर रहा है, युवा बेरोजगार है, मंहगाई आसमान छू रही है, किसान कर्ज के बोझ तले दबा है, और देश की सारी संपत्ति चंद उद्योगपतियों के क जे में है. सांसद ने आगे लिखा कि आज भारत में लोगों को उनकी नौकरी जाने का डर है, उनकी आय कम होती जा रही है, और बेहतर भविष्य का उनका सपना टूटता जा रहा है देश में चारों तरफ निराशा का माहौल है.

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राहुल गांधी ने अपने पत्र में नफरत कैसे खत्म होगी इसके बारे में लिखते हुए बताया कि आज हर भारतीय ये महसूस कर रहा है कि आपसी नफ़रत और झगड़े हमारे देश के विकास में बाधक हैं, मुझे इस बात का पूरा विश्वास है कि हम सब समाज में बुराई पैदा करने वाले जाति, धर्म, क्षेत्र, और भाषा के मतभेदों से ऊपर उठेंगे. राहुल ने आगे बताया कि हमारी महानता ‘विविधता में एकता’ की हमारी पहचान है, मेरा आप सभी को यही सन्देश है – डरो मत! अपने दिल से डर को निकाल दो, नफरत अपने आप हमारे समाज से ख़त्म हो जाएगी.

कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष ने आगे लिखा कि इस यात्रा ने मुझे आप सब के हक में लड़ने के लिए एक नई ताकत दी है, ये यात्रा मेरे लिए एक तपस्या थी इस यात्रा ने मुझे सिखाया है कि मेरे व्यक्तिगत और राजनैतिक जीवन का लक्ष्य एक ही है-हक़ की लड़ाई में कमजोरों की ढ़ाल बनना, जिनकी आवाज दबाई जा रही है उनकी आवाज उठाना. राहुल ने आगे बताया कि मेरा सपना हमारे देश को अँधेरे से उजाले की ओर, नफ़रत से मोहब्बत की ओर, और निराशा से आशा की ओर ले जाना है और इस लक्ष्य को पाने के लिए मैं भारत को एक महान संविधान देने वाले हमारे महपुरुषों के बताये हुए सिद्धांतों और मूल्यों को अपना आदर्श बनाकर आगे बढूंगा

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कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने अपने पत्र में आगे लिखा कि में सड़क से लेकर संसद तक प्रति दिन इन बुराइयों के खिलाफ़ लडूंगा, मैं एक ऐसा भारत बनाने के लिए दृढ़ संकल्पित हूँ जहाँ हर एक भारतीय के पास सामाजिक खुशहाली के साथ-साथ आर्थिक समृद्धि के समान अवसर हो, राहुल ने आगे लिखा कि जहाँ किसानों को उनकी फसल का सही दाम मिले, युवाओं को रोजगार मिले, छोटे और मध्यम वर्ग के उद्योगों को प्रोत्साहन मिले, डीजल-पेट्रोल सस्ता हो, रुपयाडॉलर के सामने मजबूत हो, और गैस सिलिंडर की कीमत 500 रुपये से अधिक न हो.

आखरी में राहुल ने लिखा कि कांग्रेस परिवार पिछले 137 सालों से भारत के प्रगति के लिए समर्पित हैं चाहे आज़ादी की लड़ाई हो, आज़ादी के बाद देश को एक सूत्र में पिरोना हो, या फिर आजाद – देश को सामाजिक, आर्थिक, और वैज्ञानिक ऊंचाईयों पर ले जाना हो. सांसद राहुल ने बताया कि कांग्रेस ने हर मुश्किल समय में भारत को जोड़ने का काम किया है, आज फिर भारत एक मुश्किल दौर से गुजर रहा है, हमने एकता और भाईचारे का सन्देश घर घर तक ले जाने के लिए हाथ से हाथ जोड़ो अभियान की शुरुआत की है. राहुल ने आगे अपने पत्र में लिखा कि आप सब इस अभियान का हिस्सा बने और कांग्रेस के हाथ से हाथ जोड़कर एक ऐसे स्वर्णिम भारत के निर्माण में हमारा साथ दें जहाँ हर भारतीय के पास सपने देखने और उन्हें पूरा करने के समान अवसर हों.

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