गेहूं, सरसों व चने की न्यूनतम समर्थन मूल्य पर खरीद के लक्ष्यों को हर हाल में किया जाए हासिल- गहलोत

किसानों को लेकर चिंतित सीएम गहलोत ने किसानों की फसलों की एमएसपी पर खरीद, खरीफ सीजन में खाद एवं बीज की उपलब्धता, टिड्डी नियंत्रण, प्रधानमंत्री फसल बीमा तथा हाल ही में हुई ओलावृष्टि के कारण हुए नुकसान को लेकर की समीक्षा बैठक

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पॉलिटॉक्स न्यूज/राजस्थान. देशभर में विकराल रूप लेता जा रहा कोरोना वायरस के कहर के चलते हर वर्ग परेशान है, किसान भी इससे अछूता नहीं है. राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने किसानों की फसलों को लेकर बुधवार को कहा कि प्रदेश में गेहूं, सरसों एवं चने की न्यूनतम समर्थन मूल्य पर खरीद के तय लक्ष्यों को हर हाल में हासिल किया जाए. सीएम गहलोत ने इसके साथ ही अधिकारियों को ऐसी योजना पर काम करने के निर्देश दिए हैं कि राज्य के लिए निर्धारित एमएसपी पर खरीद की सीमा को और बढ़ाया जा सके. सीएम गहलोत ने कहा कि कोविड-19 महामारी के कारण खरीद में आ रही समस्याओं का त्वरित समाधान कर खरीद की प्रक्रिया को गति दी जाए.

मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने बुधवार को अपने निवास पर वीडियो कांफ्रेंस के जरिए अधिकारियों के साथ होने वाली नियमित बैठक के दौरान किसानों की फसलों की एमएसपी पर खरीद, खरीफ सीजन में खाद एवं बीज की उपलब्धता, टिड्डी नियंत्रण, प्रधानमंत्री फसल बीमा तथा हाल ही में हुई ओलावृष्टि के कारण हुए नुकसान को लेकर समीक्षा की. इस दौरान सीएम गहलोत ने कहा कि किसानों को उनकी उपज का लाभकारी मूल्य दिलाने तथा एमएसपी पर खरीद की प्रक्रिया को गति देने के लिए राज्य सरकार ने 1500 से अधिक प्रसंस्करण इकाइयों को किसानों से सीधी खरीद करने की अनुमति दी है. इसके साथ ही 592 सहकारी समितियों को निजी गौण मण्डी के रूप में अधिसूचित किया है. इसके अलावा राजस्थान राज्य भण्डारण निगम के 93 गोदामों को भी निजी गौण मंडी घोषित किया है. सीएम गहलोत ने आगे अधिकारियों को निर्देश देते हुए कहा कि इन सभी केंद्रों पर जल्द से जल्द संसाधन उपलब्ध करवाकर खरीद किया जाना सुनिश्चित करें.

सीएम गहलोत ने आगे कहा कि आगामी सीजन के लिए खाद एवं बीज की पर्याप्त उपलब्धता रहे. कोविड-19 महामारी को ध्यान में रखते हुए यह सुनिश्चित करें की कहीं भी खाद-बीज के लिए भीड़ एकत्र नहीं हो. राहत पैकेज के तहत मक्का एवं बाजरा के निशुल्क मिनीकिट का वितरण जल्द किया जाए. मुख्यमंत्री गहलोत ने आगे बताया कि कृषि कार्यों के लिए निजी कम्पनी के माध्यम से निशुल्क ट्रैक्टर एवं कृषि उपकरण किराए पर उपलब्ध करवाए जाने से लघु एवं सीमान्त किसानों को काफी राहत मिली है.

टिड्डी नियंत्रण के लिए बनाएं कंटीजेंसी प्लान

प्रदेश के सीमावर्ती जिलों में एक बार फिर से सक्रिय हो रहे टिड्डियों के दल को लेकर सीएम गहलोत ने कहा कि भारत-पाक सीमावर्ती क्षेत्र में टिड्डियों के प्रवेश को देखते हुए अभी से इन्हें नियंत्रित करने की प्रभावी योजना तैयार की जाए ताकि बाद में यह समस्या नहीं बढे़. इसके लिए संबंधित जिला कलेक्टरों के जरिए कंटीजेंसी प्लान तैयार करवाया जाए. टिड्डी की समस्या से निपटने के लिए केंद्र सरकार से अधिक संसाधन उपलब्ध करवाने के लिए मांग की जाए. सीएम गहलोत ने आगे कहा कि पिछली बार टिड्डी नियंत्रण को लेकर राज्य सरकार द्वारा किए गए प्रयासों को केंद्र ने सराहा था. इस बार भी इस समस्या से निपटने में किसी तरह की कोताही नहीं हो.

प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना के प्रीमियम का भविष्य में नहीं रहे बैकलॉग

प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना के तहत प्रीमियम का भुगतान समय पर किया जाना सुनिश्चित करें, ताकि किसानों को फसल नष्ट होने पर जल्द से जल्द इसका लाभ मिल सके. सीएम गहलोत ने निर्देश देते हुए कहा कि प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना को विभाग सर्वोच्च प्राथमिकता देते हुए इसके लिए प्रभावी प्लानिंग करे ताकि भविष्य में प्रीमियम का बैकलॉग नहीं रहे. सीएम गहलोत ने खुशी व्यक्त करते हुए कहा कि विभाग ने योजना के तहत बकाया विगत वर्षों का 2200 करोड़ रूपए का राज्य के हिस्से का प्रीमियम भुगतान कर दिया है और इससे किसानों को करीब 5 हजार करोड़ रुपए का मुआवजा मिला है.

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ओलावृष्टि प्रभावितों को जल्द दें सहायता

मुख्यमंत्री गहलोत ने पिछले तीन दिनों से जारी ओलावृष्टि एवं आंधी से प्रदेश के विभिन्न जिलों में हुए नुकसान की स्थिति की समीक्षा करते हुए निर्देश दिए कि प्रभावितों को जल्द से जल्द सहायता प्रदान की जाए. सीएम गहलोत ने इसके साथ ही कहा कि ओलावृष्टि से फसलों को हुए नुकसान की गिरदावरी भी तत्काल प्रभाव से करवाकर मुआवजा वितरित किया जाए.

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