33 लाख परिवारों को 1000रु की आर्थिक मदद और पुलिस में 8438 पदों पर कांस्टेबलों की भर्ती की सौगात

कोरोना महामारी के कारण आजीविका का संकट झेल रहे 33 लाख निराश्रित, असहाय एवं जरूरतमंद परिवारों को इस वर्ष दूसरी किश्त के रूप में एक हजार रूपए की सहायता राशि देने के आदेश जारी, राजस्थान पुलिस में आगामी दो वर्षों यानी वर्ष 2021-22 और वर्ष 2022-23 के दौरान पुलिस कॉन्स्टेबल के 8,438 पदों पर भर्ती के प्रस्ताव पर स्वीकृति

मुख्यमंत्री अशोक गहलोत
मुख्यमंत्री अशोक गहलोत

Politalks.News/Rajasthan. प्रदेश की जनता के लिए शुक्रवार का दिन सौगातों भरा रहा. एक तरफ जहां मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने बाड़मेर जिले में 17.11 करोड़ के चिकित्सा सुविधाओं के विकास कार्यों का लोकार्पण-शिलान्यास कर यहां की जनता को बड़ी सौगातें दीं, तो वहीं कोविड-19 महामारी के कारण आजीविका का संकट झेल रहे 33 लाख निराश्रित, असहाय एवं जरूरतमंद परिवारों को इस वर्ष दूसरी किश्त के रूप में एक हजार रूपए की सहायता राशि देने के आदेश जारी कर दिए. इसके साथ ही मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने गृह विभाग के उस प्रस्ताव पर प्रशासनिक स्वीकृति दे दी है जिसके तहत राजस्थान पुलिस में आगामी दो वर्षों यानी वर्ष 2021-22 और वर्ष 2022-23 के दौरान पुलिस कॉन्स्टेबल के 8,438 पदों पर भर्ती करेगी.

गृहविभाग के प्रस्ताव के अनुसार, राज्य बजट 2021-22 के दौरान मुख्यमंत्री द्वारा की गई घोषणा के क्रम में वित्त वर्ष 2021-22 के दौरान राजस्थान पुलिस में कॉन्स्टेबल के 4,438 रिक्त पदों और वर्ष 2022-23 के दौरान कॉन्स्टेबल के 4,000 रिक्त पदों पर जयपुर स्थित पुलिस भर्ती एवं पदोन्नति बोर्ड राजस्थान द्वारा भर्ती की जाएगी. बता दें, वर्तमान में पुलिस विभाग में कॉन्स्टेबल के 5.438 पदों पर भर्ती की कार्यवाही प्रक्रियाधीन है. इसके अतिरिक्त, चालानी गार्ड के 438 अन्य पदों का सृजन कर इन पर भर्ती के लिए भी स्वीकृति दी जा चुकी है.

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मुख्यमंत्री अशोक गहलोत के इस निर्णय से प्रदेश के युवाओं को राजस्थान पुलिस में नौकरी के अवसर मिल सकेंगे. साथ ही, बड़ी संख्या में पुलिस कॉन्स्टेबल के नियोजित होने पर पुलिस विभाग कानून-व्यवस्था के प्रबंधन एवं अपराध नियंत्रण के कार्य और अधिक प्रभावी रूप से कर पाएगा.

इसके साथ ही कोरोना महामारी के कारण आजीविका का संकट झेल रहे 33 लाख निराश्रित, असहाय एवं जरूरतमंद परिवारों के लिए मुख्यमंत्री अशोक गहलोत के निर्देश पर कुल 330 करोड़ रुपए की राशि जारी की गई है. इनमें से 300 करोड़ रुपए आरआईएसएल (RISL) तथा 30 करोड़ रुपए जिला कलक्टरों को हस्तांतरित किए गए हैं. यह राशि जरूरतमंद परिवारों के बैंक खातों में सीधे हस्तांतरित की जाएगी.

यह सहायता कोरोना महामारी के कारण थड़ी-ठेला चलाकर गुजारा चलाने वाले छोटे दुकानदारों, रिक्शा चालकों, निर्माण श्रमिकों, बीपीएल, स्टेट बीपीएल, अंत्योदय योजना में शामिल स्ट्रीट वेंडर आदि ऐसे गरीब एवं असहाय परिवार, जिन्हें सामाजिक सुरक्षा योजना का लाभ नहीं मिल रहा है, को देय है. ऐसे परिवारों को संबल देने के लिए इस वित्तीय वर्ष की 1000 रुपए की पहली किश्त का वितरण माह अप्रैल 2021 में पहले ही किया जा चुका है.

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उल्लेखनीय है कि गहलोत ने कोविड की पहली लहर तथा लॉकडाउन के कारण आजीविका संकट से प्रभावित इन जरूरतमंद परिवारों को संबल देने के लिए वित्त वर्ष 2020-21 में भी प्रत्येक परिवार को 3500 रुपए की सहायता राशि उपलब्ध कराई थी, जिस पर राज्य सरकार ने 1 हजार 155 करोड़ रूपए वहन किए थे. इसके बाद मुख्यमंत्री ने वित्तीय वर्ष 2021-22 के बजट में इन परिवारों को दो किश्तों में अतिरिक्त सहायता राशि देने की घोषणा की थी. इस प्रकार राज्य सरकार ने संकट की घड़ी कुल 1 हजार 815 करोड रुपए वहन कर अब तक प्रत्येक परिवार को 5500 रूपए की आर्थिक सहायता उपलब्ध कराई है.

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