Politalks.News/Delhi. महंगाई के मुद्दे पर कांग्रेस और भाजपा आमने-सामने हो गए हैं. बुधवार को कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने केंद्र सरकार का घेराव किया तो भाजपा प्रवक्ता संबित पात्रा और नकवी ने मोदी सरकार का बचाव किया. दिल्ली में आज जमकर मेघ बरसे तो दूसरी तरफ राहुल गांधी भी मोदी सरकार पर जमकर गरजे. महंगाई के मुद्दे पर कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी ने आज मोदी सरकार पर तंज कसते हुए कहा कि, ‘इस सरकार में जीडीपी बढ़ने का मतलब है गैस, डीजल और पेट्रोल की कीमतों का बढ़ना. कांग्रेस नेता ने प्रेस कॉन्फ्रेंस कर कहा, ‘मोदी जी कहते हैं जीडीपी बढ़ रही है. वित्त मंत्री कहती हैं जीडीपी का प्रोजेक्शन ऊपर की ओर है. जीडीपी का मतलब क्या? गैस, डीजल और पेट्रोल-जिसकी कीमत लगातार बढ़ रही है.’ पलटवार में पात्रा बोले कि, ‘देश को भ्रमित कर रहे राहुल गांधी’. इस आरोप प्रत्यारोप के बीच आम जनता महंगाई के पाटों में पिस रही है.
आपके बता दें कि राष्ट्रीय सांख्यिकी कार्यालय (एनएसओ) की तरफ से मंगलवार को जारी आंकड़ों के मुताबिक, देश के सकल घरेलू उत्पाद (जीडीपी) में वित्त वर्ष 2021-22 की पहली तिमाही में 20.1 प्रतिशत वृद्धि दर्ज की गई है.
‘410 से 885 रुपए हुई सिलेंडर की कीमत’- राहुल
मोदी सरकार पर निशाना साधते हुए राहुल गांधी ने कहा कि, ‘2014 में नरेंद्र मोदी ने कहा था कि डीजल-पेट्रोल के दाम बढ़ रहे हैं. 2014 में 410 रुपये सिलेंडर की कीमत थी. आज 885 रुपये सिलेंडर की कीमत है. यानि गैस की कीमतों में 116 फीसदी इजाफा हुआ है. पेट्रोल 71.5 रुपये प्रति लीटर था और आज 101 रुपये है. 42 फीसदी इजाफा हुआ है. 57 रुपये प्रति लीटर डीजल था और 88 रुपये आज है. 55 फीसदी इजाफा हुआ है’. राहुल गांधी ने कहा कि, ‘हमारे समय में मौजूदा वक्त से कच्चे तेल की कीमत 32% ज्यादा और गैस 26% ज्यादा थी’.
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‘कहां गए 23 लाख करोड़ रुपए’
पेट्रोल-डीजल के बढ़ते दामों पर राहुल गांधी ने कहा कि, ‘जब डीजल और पेट्रोल के दाम बढ़ते हैं तो इससे लोगों पर सीधा प्रभाव पड़ता है. उन्हें अधिक कीमत चुकानी होती है. यही नहीं ट्रांसपोर्ट की कीमत भी बढ़ जाती है. इससे सबकुछ महंगा होता है’. राहुल ने कहा कि, ‘सरकार ने बीते सात सालों में गैस, डीजल और पेट्रोल के दाम बढ़ाकर 23 लाख करोड़ रुपये अर्जित किए हैं’. राहुल ने कहा कि, ‘यह पैसे गया कहां ? देश के युवा को सरकार से यह सवाल पूछना चाहिए’
‘पीएम कहते हैं कि मैं डी-मोनेटाइजेशन कर रहा हूं, वित्त मंत्री जी कहती हैं कि मैं मोनेटाइजेशन कर रही हूं’
राहुल गांधी ने प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान नोटबंदी और राष्ट्रीय मौद्रिकरण पाइपलाइन (एनएमपी) को लेकर भी निशाना साधा. राहुल गांधी ने कहा कि, ‘पिछले 7 साल से हमने एक नया आर्थिक पैराडाइन देखा है. प्रधानमंत्री कहते हैं कि मैं डी-मोनेटाइजेशन कर रहा हूं और वित्त मंत्री जी कहती हैं कि मैं मोनेटाइजेशन कर रही हूं. जनता जानना चाहती है कि किसका डी-मोनेटाइजेशन और मोनेटाइजेशन हो रहा है?”
‘डी-मोनेटाइजेशन गरीबों का, मोनेटाइजेशन चार मित्रों का’- राहुल
कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने कहा कि, ‘डी-मोनेटाइजेशन किसानों, मजदूरों, छोटे दुकानदारों, एमएसएमई, सैलरी क्लास और इमानदार उद्योगपतियों का हो रहा है. मोनेटाइजेशन किसका हो रहा है? चार पांच मोदी जी के जो मित्र हैं उनका हो रहा है. इकॉनोमी ट्रांसफर हो रहा है’.
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‘देश को भ्रमित कर रहे राहुल गांधी’- पात्रा
मोदी सरकार का बचाव करते हुए संबित पात्रा ने कहा कि, ‘राहुल गांधी जीडीपी की गलत परिभाषा बताकर देश को भ्रमित कर रहे हैं. CNP का मतलब करप्शन, नेपोटिज्म और पॉलिसी पैरालिसिस है. यह लोग जीडीपी का सही अर्थ कभी नहीं समझ सकते’. पात्रा ने तंज कसते हुए कहा कि, ‘जब से नोटबंदी हुआ है, राहुल गांधी हमेशा परेशान नजर आए हैं. गांधी परिवार और कांग्रेस पार्टी ने नोटबंदी में बहुत रुपए खोए होंगे’.
‘7 साल में उठाए 700 मुद्दे, फिर भूल जाते हैं राहुल’- नकवी
वहीं इधर सरकार का बचाव करते हुए केंद्रीय मंत्री मुख्तार अब्बास नकवी ने कहा कि, ‘राहुल गांधी ने 7 सालों में 700 मुद्दे उठाए होंगे. वो एक मुद्दा उठाते हैं और फिर उसे भूल जाते हैं. उनकी भूलने की बीमारी ने कांग्रेस पार्टी को भूल भुलैया बना दिया है. पहले तो कांग्रेस के लोगों को उनके भूलने का इलाज कराना चाहिए’.