सीएम गहलोत से बैंसला की मुलाकात के बाद सभी मांगों पर बनी सहमति, हिम्मत सिंह ने फिर साधा निशाना

आज पटरियां छोड़ेंगे गुर्जर, मुख्यमंत्री अशोक गहलोत और गुर्जर नेताओं के बीच आंदोलन को लेकर हुई निर्णायक वार्ता, गहलोत सरकार के नेतृत्व पर पूरा भरोसा - विजय बैंसला, युवाओं के मुक़दमे लगवाकर नेता बनने के ख़्वाबों को हम कभी पुरा नहीं होने देंगे - हिम्मत सिंह

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Politalks.News/Rajasthan/GurjarMovement. बैकलॉग एवं प्रक्रियाधीन भर्तियों में आरक्षण का लाभ दिए जाने समेत 6 सूत्री मांगों को लेकर पिछले 11 दिन से पीलूपुरा में जारी गुर्जर आरक्षण आंदोलन आज 12वें दिन समाप्त होने जा रहा है. बुधवार को सीएम आवास पर मुख्यमंत्री अशोक गहलोत और गुर्जर नेताओं के बीच आंदोलन को लेकर निर्णायक वार्ता हुई. इस बैठक में कर्नल किरोड़ी सिंह बैंसला और विजय बैंसला सहित कई गुर्जर नेता शामिल हुए. सरकार और गुर्जर नेताओं के बीज हुई इस वार्ता के बाद सरकार की ओर से समाज की संपूर्ण मांगों पर सहमति बन गई है.

बता दें, बुधवार को सरकार की ओर से गुर्जर समाज के नेताओं को वार्ता के लिए आमंत्रित किया गया था. जिसके बाद सरकार ओर नेताओं के बीच काफी लंबे समय तक वार्ता चली, जिसमें समाज की लगभग सभी मांगों पर सहमति बन गई है. वार्ता के बाद मंत्री बीडी कल्ला ने मीडिया को बताया कि संघर्ष समिति के साथ हुई बैठक में आंदोलन के मृतकों के आश्रितों को पांच-पांच लाख रुपए की सहायता राशि और योग्यता अनुसार सरकारी नौकरी के लिए सरकार द्वारा हुए निर्णय को लेकर नियुक्ति पत्र दिए गए है.

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गुर्जरों की दूसरी मांग में एमबीसी वर्ग के 1252 अभ्यर्थियों को नियमित वेतन श्रंखला के समकक्ष लाभ देने के आदेश कार्मिक विभाग द्वारा जारी कर दिए गए हैं. वहीं आंदोलन के दौरान अभी तक गुर्जर समाज के लोगों पर जो मुकदमें दर्ज हुए हैं और जो चल रहे हैं उनके लिए त्रैमासिक बैठक की जाएगी और दुर्भावनावश कोई नई गिरफ्तारी नहीं की जाएगी.

इसके साथ ही प्रक्रियाधीन भर्तियों के संबंध में उप समिति का गठन किया जाएगा जो मामले में कानूनी प्रक्रिया के तहत और अन्य राज्यों के नियमों के तहत सरकार को रिपोर्ट करेगी. इस दौरान आरक्षण समिति की बातों को भी सुना जाएगा. बीडी कल्ला ने बताया कि मलारना डूंगर में हुए समझौते के अनुसार भी कार्रवाई की जाएगी. वहीं देवनारायण योजना के अंतर्गत जयपुर में एमबीसी वर्ग की बालिका छात्रावास के लिए 50 बेड स्वीकृत किए जा चुके हैं और 50 और स्वीकृत किए जाएंगे. बीडी कल्ला ने समझौता दिखाते हुए कहा कि इस पर कैबिनेट सब कमेटी के तीनों मंत्रियों के हस्ताक्षर हैं.

आज पीलूपुरा रेलवे ट्रेक पर जाकर होगा आंदोलन समाप्ति का एलान

वहीं बैठक के बाद कर्नल किरोडी सिंह बैंसला के पुत्र और आंदोलन का नेतृत्व कर रहे विजय बैंसला ने कहा कि समाज ने गहलोत सरकार के नेतृत्व पर पूरा भरोसा जताया है. बैंसला ने कहा कि सरकार की ओर से सभी मांगों को मानने का आश्वासन मिला है. वहीं आंदोलन को लेकर विजय बैंसला ने कहा कि बैठक में जो भी समझौते के अंतर्गत हुआ है उस समझौते को समाज के लोगों के पास ले जाकर बात की जाएगी उसके बाद ही आंदोलन को लेकर फैसला किया जाएगा. जानकारों की मानें तो अब आंदोलन जारी रखने का कोई औचित्य ही नहीं रह जाता है, ऐसे में आज आंदोलन समाप्ति की घोषणा होना निश्चित है.

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युवाओं के मुक़दमे लगवाकर नेता बनने के ख़्वाबों को हम कभी पुरा नहीं होने देंगे – हिम्मत सिंह

वहीं दूसरी तरफ सरकार और गुर्जर नेताओं के बीच समझौते की खबर के बाद आंदोलन विरोधी गुर्जर गुट के नेता हिम्मत सिंह ने कर्नल किरोड़ी सिंह बैंसला पर निशाना साधते हुए ट्वीट्स किए. हिम्मत सिंह ने लिखा- पिछले कुछ माह से एवं रेल की पटरियों पर सरकार से वार्ता कर #MBC आरक्षण के 35हज़ार बैकलॉग में नियुक्तियों के सब्ज़बाग़ दिखाने वाला नेता ने तो आज सरकार के साथ वार्ता में बैकलॉग शब्द का ज़िक्र तक नहीं किया, युवाओं के मुक़दमे लगवाकर नेता बनने के ख़्वाबों को हम कभी पुरा नहीं होने देंगे.

अपने दूसरे ट्वीट में हिम्मत सिंह ने कहा कि सरकार के साथ 80 गाँवों के प्रतिनिधियों का 31.10.20जो समझौता हुआ था उन्हीं बिन्दुओं पर आज चर्चा हुई,35हज़ार बैकलॉग और 11-15 प्रक्रियाधीन भर्तियों के नियुक्ति पत्र रेल की पटरियों पर लेने वालों ने नया क्या लिया ?11दिन में हज़ारों युवाओं के मुक़दमे लगाकर उनका भविष्य ख़राब क्यों किया?

एक अन्य ट्वीट में हिम्मत सिंह ने कहा कि रेल की पटरियों पर वार्ता 35 हज़ार भर्तियों के नियुक्ति युवाओं को दिलाने का सब्ज़बाग़ दिखाने वाले लोगों ने आमजन को कोरोना काल में परेशान कर गुर्जर समाज की छवी को ख़राब की है साथ ही हज़ारों युवाओं के मुक़दमे लगवा दिये. हमारे समझौते को ‘गा’ ‘गे’ ‘गू’ बताने वालों ने वो ही शब्द क्यों?

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