पॉलिटॉक्स ब्यूरो. एक बार फिर ये बात हो गई सिद्ध कि बिहार में राजनीति में लालू प्रसाद यादव का नहीं है कोई सानी… चारा घोटाले के सजा काट रहे बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री और पूर्व रेल मंत्री लालू यादव 11वीं बार बने राजद के राष्ट्रीय अध्यक्ष, लेकिन इससे ये बात भी साफ हो गई कि पार्टी को अभी तक नहीं मिला है उत्तराधिकारी… हालांकि हाल ही में लालू यादव ने तेजस्वी को बताया था अपना उत्तराधिकारी
और अगले वर्ष विस चुनावों में सीएम का दावेदार बनाने की थी घोषणा.. लेकिन क्या मुख्यमंत्री की दावेदारी से पहले तेजस्वी को नहीं बनाना चाहिए था राष्ट्रीय अध्यक्ष? क्या इससे ये साबित नहीं होता कि तेजस्वी के नाम पर पार्टी में नहीं है सहमति? तो क्या यह कहना गलत होगा कि अभी तेजस्वी में नहीं आई परिपूर्णता?
या फिर यह भी कहा जा सकता है कि तेजस्वी के पास नहीं अनुभव और राजनीति की पकड़…
बिहार: जेल में बंद लालू यादव बने राजद के निर्विरोध राष्ट्रीय अध्यक्ष
Politalks Bureau. Once again, it has been proved that Lalu Prasad Yadav is not a match in politics in Bihar … Former Bihar Chief Minister and former Railway Minister Lalu Yadav, who is serving sentence for fodder scam, became RJD’s national president for the 11th time, but this It is also clear that the party has not got a successor yet … Although Lalu Yadav recently told Tejashwi his successor
And the announcement was made to make CM a contender in the Vis elections next year .. But should not Tejashwi have been made the national president before the Chief Minister’s claim? Does this not prove that there is no consensus in the party in the name of Tejashwi? So, would it be wrong to say that the fullness did not come in the glorious moment?
Or it can also be said that Tejashwi has no experience and the grip of politics…