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लोकसभा चुनाव में शर्मनाक हार के बाद से जहां कांग्रेस हाईकमान में खलबली मची हुई है वहीं अब तेलंगाना में भी कांग्रेस के बुरे दिन चल रहे हैं. बीते गुरूवार को ही 12 कांग्रेस विधायकों ने सीएम चंद्रशेखर राव की टीआरएस में अपनी विधायकी का विलय करवा दिया. जिसके बाद से अब विपक्ष पद के लिए कांग्रेस के पास विधायकों का संख्या कम हो गई है और असदुद्दीन औवैसी की पार्टी एआईएमआईएम दूसरी पार्टी बन गई है. अब मौका की नजाकत को देखते हुए औवैशी ने उनकी पार्टी को विपक्ष के दर्जे की मांग कर डाली है.

हैदराबाद से सांसद और ऑल इंडिया मजलिस-ए-इत्तेहादुल मुस्लमीन चीफ असदुद्दीन ओवैसी तेलंगाना विधानसभा में पार्टी को विपक्ष के दर्जे के लिए स्पीकर से मिलने की बात कही है. उन्होंने कहा कि वे विधानसभा स्पीकर से मिलकर नेता प्रतिपक्ष का पद उनकी पार्टी को देने का अनुरोध करेंगे क्योंकि मौजूदा हालात में उनकी पार्टी प्रदेश की दूसरी सबसे बड़ी पार्टी है.

यहां एआईएमआईएम के विधायकों की संख्या कांग्रेस से ज्यादा है. औवैशी ने कहा कि हमें ये उम्मीद है कि स्वीकर उनकी बात पर उचित कदम उठाएंगे.

बता दें कि तेलंगाना में विधानसभा की 119 सीटें हैं. पिछले साल हुए चुनाव में यहां सीएम चंद्रशेखर राव की तेलंगाना राष्ट्रीय समिति को 88, कांग्रेस को 19, असदुद्दीन औवैसी की पार्टी एआईएमआईएम को 7, एन चंद्रबाबू नायडू की तेलुगू देशम पार्टी को दो, भाजपा को एक, ऑल इंडिया फॉरवर्ड ब्लॉक को एक और निर्दलीय विधायक को एक सीट पर जीत मिली थी.

हाल ही में कांग्रेस को बड़ा झटका देते हुए 12 विधायकों ने टीआरएस में अपना विलय करवा दिया है. अब कांग्रेस के पास एआईएमआईएम से कम विधायक रह गए हैं.

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