प्रदेश में जोड़-तोड़ और जुगाड़ की गहलोत सरकार के खिलाफ है सत्ता विरोधी लहर- सतीश पूनियां

21 जिलों के पंचायतीराज चुनाव में 14 जिला परिषदों में भाजपा के बोर्ड बने और 5 में कांग्रेस के, तो आप इस बात से अंदाजा लगा सकते हैं कि प्रदेश का ग्रामीण मतदाता गहलोत सरकार के कुशासन से आक्रोशित है- सतीश पूनियां

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Politalks.News/Rajasthan. प्रदेश में होने वाले निकाय चुनाव और विधानसभा उपचुनाव के चलते भाजपा प्रदेशाध्यक्ष सतीश पूनियां इन दिनों प्रदेश के कई जिलों के दौरे पर हैं. दो दिन उदयपुर संभाग के दौरे पर रहे सतीश पूनियां ने शनिवार को राजसमंद जिला पार्टी कार्यालय में प्रेस वार्ता को सम्बोधित करते हुए कहा कि पार्टी आगामी चुनाव जीतेगी क्योंकि प्रदेश में गहलोत सरकार के खिलाफ सत्ता विरोधी लहर है. आक्रोशित जनता निकाय, विधानसभा उपचुनाव और चुनाव में भाजपा को शानदार जीत का आशीर्वाद देगी, ऐसा मुझे पूरा विश्वास है. इस दौरान पूनियां के साथ प्रदेश महामंत्री एवं सांसद दीया कुमारी, प्रदेश महामंत्री मदन दिलावर, सुशील कटारा, प्रदेश उपाध्यक्ष हेमराज मीणा, जिलाध्यक्ष वीरेन्द्र पुरोहित, फुलेरा विधायक निर्मल कुमावत सहित प्रमुख पदाधिकारी मौजूद रहे.
पूनियां ने कहा कि गहलोत सरकार जुगाड़ की सरकार है, बसपा के 6 विधायकों और निर्दलीयों के साथ जोड़-तोड़ करके सरकार बनाई और 2008 में भी बसपा के विधायकों को मिलाकर गहलोत ने सरकार बनाई थी. गहलोत की मौजूदा सरकार जोड़-तोड़ और जुगाड़ की सरकार है. पूनियां ने कहा कि पिछले दिनों हुए 21 जिलों के पंचायतीराज चुनाव में 14 जिला परिषदों में भाजपा के बोर्ड बने और 5 में कांग्रेस के, तो आप इस बात से अंदाजा लगा सकते हैं कि प्रदेश का ग्रामीण मतदाता गहलोत सरकार के कुशासन से आक्रोशित है, इस जनविरोधी सरकार के खिलाफ प्रदेश के गाँवों और शहरों में एंटी इनकम्बेंसी है.

सम्पूर्ण किसान कर्जमाफी को लेकर एक बार दोहराते हुए सतीश पूनियां ने कहा कि 2018 के विधानसभा चुनाव के दौरान कांग्रेस ने अपने घोषणा पत्र में सम्पूर्ण किसान कर्जमाफी का वादा किया था. स्वयं राहुल गाँधी और अशोक गहलोत ने भी जनसभाओं में यह बात कही थी, लेकिन 2 साल से अधिक का कार्यकाल होने पर भी यह वादा पूरा नहीं किया गया और ना ही भर्तियों का वादा पूरा किया जा रहा है, जिससे युवाओं के सपनों पर कुठाराघात किया जा रहा है. पूनियां ने कहा कि सम्पूर्ण किसान कर्जमाफी, बिगड़ी हुई कानून व्यवस्था, बेरोजगारी और लाखों लम्बित भर्तियाँ सबसे बड़ा मुद्दा है, इनको लेकर किसान, आमजन और युवा आक्रोशित हैं.

पूनियां ने कहा प्रदेश में बजरी माफियाओं का आतंक भी चरम पर है, जब अशोक गहलोत विपक्ष में थे तब उन्होंने यह मुद्दा खूब उठाया था, लेकिन अब सत्ता में आने के बाद वह इस मुद्दे से आँखें मूंदे हुए बैठे हैं. उल्लेखनीय है कि डाॅ. पूनियां ने राजसमंद भाजपा जिला कार्यालय में सांसद दीया कुमारी, जिलाध्यक्ष, प्रमुख पदाधिकारियों के साथ संगठनात्मक चुनाव को लेकर बैठक कर संवाद किया.

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