पश्चिम बंगाल में ‘जय श्री राम’ के नारे पर बीजेपी और तृणमूल कांग्रेस के बीच जारी विवाद थमने का नाम नहीं ले रहा. दोनों राजनीतिक दलों के बीच जारी लड़ाई अब अदालत तक जा पहुंची है. इस मामले में कलकत्ता हाईकोर्ट में एक जनहित याचिका दायर की गई है, जिसमें कहा गया है कि जो लोग ‘जय श्री राम’ के नारे लगाने वालों को रोक रहे हैं उनके खिलाफ आवश्यक कदम उठाए जाएं.
PIL filed in Calcutta High Court seeking necessary steps against those who stop chanting of 'Jai Sri Ram' slogans. #WestBengal pic.twitter.com/M8HgbyuDkv
— ANI (@ANI) June 14, 2019
आपको बता दें कि लोकसभा चुनाव के दौरान ममता बनर्जी जब चंद्रकोण में आरामबाग सीट पर चुनाव प्रचार के दौरान एक जनसभा को संबोधित करने के लिए रास्ते में थीं, तब ‘जय श्री राम’ के नारों से उनका आमना-सामना हुआ. ममता की गाड़ी जैसे ही शहर में घुसी, उनके समर्थक सड़क किनारे मौजूद थे, तभी वहां जय श्री राम के नारे लगाने शुरू कर हो गए. नारे सुनकर ममता गाड़ी से उतरीं और जो लोग नारे लगा रहे थे वो भाग गए. बाद में सभा को संबोधित करते हुए ममता ने कहा कि ‘जो लोग इस तरह से नारेबाजी कर रहे हैं, होशियार रहें क्योंकि 23 मई को चुनाव का नतीजा आने के बाद उन्हें इसका अंजाम भुगतना पड़ेगा.’
बीजेपी की ममता बनर्जी के इस बयान को लपक लिया. पहले पार्टी की बंगाल यूनिट ने भी इस विडियो को ट्विटर पर शेयर किया है और लिखा है कि ‘दीदी’ जय श्री राम के नारों से इतना नाराज क्यों हैं? इसके बाद पीएम मोदी और पार्टी अध्यक्ष अमित शाह ने अपने भाषणों में इसका जिक्र किया. दोनों ने ‘जय श्री राम’ के नारे लगाते हुए ममता बनर्जी को इसे रोकने की चुनौती दी. अमित शाह ने तो यहां तक कह दिया कि ‘मैं जय श्री राम के नारे लगा रहा हूं. ममता दीदी अब आपसे जो बन पड़ता है उखाड़ लो, जो धारा लगानी है लगा दो.’
यानी लोकसभा चुनाव में पहले से ही ‘हिंदू-मुसलमान’ की पिच पर खेल रही बीजेपी को ‘जय श्री राम’ का बड़ा मुद्दा हाथ लग गया. नतीजों में इसका असर साफतौर पर दिखाई दिया. बीजेपी ने पश्चिम बंगाल में 18 सीटें जीतकर इतिहास रच दिया. पार्टी को लगता है कि यदि इसी रणनीति से आगे बढ़ा जाए तो विधानसभा चुनाव में तृणमूल कांग्रेस को पटनकी दी जा सकती है. बीजेपी ने अभी से विधानसभा चुनाव की तैयारी शुरू कर दी है और पार्टी ने ‘जय श्री राम’ के नारे से ममता बनर्जी की कथित चिढ़ को बड़ा हथियार बना लिया है.
बीजेपी ने मुख्यमंत्री ममता बनर्जी को ‘जय श्री राम’ लिखे 10 लाख पोस्टकार्ड भेजे हैं. तृणमूल कांग्रेस ने बीजेपी के ‘जय श्री राम’ को ‘जय हिंद, जय बांग्ला’ से टक्कर देने की कोशिश है. तृणमूल कांग्रेस के कार्यकर्ताओं ने ‘जय बांग्ला, जय काली’ लिखे 20 लाख पोस्टकार्ड प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, गृह मंत्री अमित शाह, केंद्रीय मंत्री बाबुल सुप्रियो, भाजपा सांसद लॉकेट चटर्जी, अर्जुन सिंह, मुकुल रॉय और प्रदेश अध्यक्ष दिलीप घोष को भेजे हैं.
पश्चिम बंगाल में बीजेपी और तृणमूल कांग्रेस के बीच छिड़ी इस पोस्टकार्ड जंग का खामियाजा डाक विभाग को भुगतना पड़ रहा है. एक रिपोर्ट के मुताबिक हर एक पोस्टकार्ड पर 12.15 रुपये लागत आती है, लेकिन डाक विभाग इसे सिर्फ 50 पैसे में बेचता है. यानी हर पोस्टकार्ड पर विभाग को 11.75 रुपये का घाटा उठाना पड़ता है. इस हिसाब से तृणमूल कांग्रेस और बीजेपी के बीच चल रहे पोस्टकार्ड वार से डाक विभाग को 3.53 करोड़ रुपये का घाटा हो गया है.