आखिर फडणवीस क्यों बने 80 घंटे के मुख्यमंत्री, क्या सच में था ये ड्रामा? हेगड़े ने किया बड़ा खुलासा

हेगड़े ने कहा- हम जानते थे बहुमत नहीं है लेकिन 40 हजार करोड़ बचाने के लिए किया ऐसा, हेगड़े के बयान के बाद अब बीजेपी की मुश्किलें और बढ़ेंगी, मोदी सरकार की नीयत पर भी सवाल उठना लाजमी

पॉलिटॉक्स ब्यूरो. महाराष्ट्र (Maharashtra) में 23 नवंबर को चोरी छिपे रातों-रात सरकार बनाकर सुबह 8.05 पर मुख्यमंत्री की शपथ लेकर देवेंद्र फडणवीस ने विपक्ष सहित पूरे देश की जनता तक को चौंका दिया था, लेकिन 80 घंटे बाद उन्होंने प्रेस कॉन्फ्रेंस करते हुए इस्तीफा भी दे दिया. इसके बाद राज्य में महाविकास अघाड़ी गठबंधन वाली ‘शिराकां’ सरकार बन गई. अब इस घटना के 10 दिनों के बाद भारतीय जनता पार्टी के सांसद अनंत कुमार हेगड़े (Ananth Hegde) ने इस राज़ से पर्दा उठाते हुए एक बार फिर राजनीतिक हकचल तेज कर दी कि आख्रिर क्यों फडणवीस 4 दिन दिनों के लिए सीएम बने. हेगड़े ने बताया कि देवेंद्र फडणवीस केंद्र को 40 हजार करोड़ रुपए लौटाने के लिए राज्य के मुख्यमंत्री बने थे.

हेगड़े (Ananth Hegde) ने कहा कि क्या हम नहीं जानते थे कि हमारे पास बहुमत नहीं है और फिर भी वो मुख्यमंत्री बने. दरअसल मुख्यमंत्री के पास करीब 40 हजार करोड़ रुपये का एक्सेस था. अगर कांग्रेस-एनसीपी-शिवसेना सत्ता में आती तो वे इस 40 हजार करोड़ रुपये का दुरुपयोग करती. अनंत हेगड़े कर्नाटक से भाजपा सांसद हैं.

हेगड़े ने ये भी कहा कि ये पूरा पैसा केंद्र सरकार का है और इसका इस्तेमाल विकास के लिए नहीं हो पाता. ये सब काफी पहले ही प्लान कर लिया गया था इसलिए ये ड्रामा करने का फैसला किया गया. फडणवीस ने सीएम बनने के 15 घंटे के अंदर ही 40 हजार करोड़ रुपए को वहां भेज दिया, जहां का ये था और सारे पैसे सुरक्षित कर लिए. पूरा पैसा केंद्र सरकार को लौटा दिया गया. बीजेपी सांसद के इस बयान के बाद दोनों पक्षों के कई नेताओं ने इस बारे में बयानबाजी शुरु कर दी.

शिवसेना सांसद एवं एनडीए के पूर्व मंत्री अरविंद सावंत ने हेगड़े के सनसनीखेज बयान पर कहा कि मुख्यमंत्री उद्दव ठाकरे को इस मामले की जांच करानी चाहिए. अगर दावा सच होता है तो ये महाराष्ट्र के साथ गद्दारी होगी.

वहीं इस बयान पर शिवसेना के राज्यसभा सांसद संजय राउत ने बड़ा हमला बोलते हुए ट्वीट पोस्ट किया, ‘अनंत हेगड़े ने कहा है कि महाराष्ट्र के 40 हजार करोड़ को केंद्र तक वापस लौटाने के लिए फडणवीस को 80 घंटे का सीएम बनाया गया. यह महाराष्ट्र के साथ गद्दारी है‘.

वहीं पूर्व सीएम देवेंद्र फडणवीस ने भाजपा नेता अनंत हेगड़े (Ananth Hegde) के महाराष्ट्र को लेकर किए गए बयान पर सफाई देते हुए कहा, ‘ये सब झूठ है. मैने सीएम रहने के दौरान कोई नीतिगत फैसले नहीं लिए. मुझपर लगाए जा रहे सभी आरोप झूठे हैं. इस विषय में किए गए दावे ग़लत हैं’.

पिछले हफ्ते शुक्रवार रात जिस तरह महाराष्ट्र में सियासी घटनाक्रम घटा और अगले सुबह 23 नवंबर को जिस तरह देेवेंद्र फडणवीस ने सीएम पद की शपथ ली, उससे महाराष्ट्र ही नहीं बल्कि देशभर में पहले से ही भारतीय लोकतांत्रिक सिस्टम की किरकिरी हो रही है. कहा ये भी जा रहा है कि ये गुगली एनसीपी प्रमुख शरद पवार की थी जिसमें देवेंद्र फडणवीस और बीजेपी के चाणक्य अमित शाह सहित पूरी भाजपा क्लीन बोल्ड हो गई. जिस तरह की भाजपा की साख है, उसके विपरीत तीन विपक्षी दलों ने मिलकर सरकार बना ली. अब बीजेपी इस पूरे मामले में अपनी पाक साफ छवि साबित करने के रास्ते खोज रही है.

कर्नाटक के भाजपा सांसद अनन्त हेगड़े (Ananth Hegde) के इस बयान से तो बीजेपी और देवेन्द्र फडणवीस की मुश्किलें और बढ़ती नजर आ रही हैं. हेगड़े के बयान के बाद एक तरफ जहां शिवसेना उग्र हो गई है वहीं आम आदमी की सोच भी यही बनेगी की ऐसे कैसे फडणवीस जनता की भलाई के लिए आए हुए पैसों को वापस लौटा सकते हैं. बल्कि इससे केन्द्र सरकार की नीयत पर भी सवाल खड़े होंगे कि केंद्र सरकार सिर्फ बीजेपी शाषित प्रदेशों को ही निहाल करती है और जहां बीजेपी की सरकार बनने की संभावना ना हो तो वहां से दी हुई रकम भी वापस ले लेती है. ये भी सभी जानते हैं कि फडणवीस बिना मोदी-शाह से पूछे पता भी नहीं हिलाते, यही कारण है कि हेगड़े के इस बयान को फडणवीस ने तुरंत झूंठा और गलत बताया है. लेकिन अपना मानना है की धुंआ वहीं होता है जहां आग होती है, इसलिए इसमें कुछ ना कुछ राज तो है. मुख्यमंत्री उद्वव ठाकरे को इसकी निष्पक्ष जांच करवाकर पूरी सच्चाई जनता के सामने रखनी चाहिए.

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