1947 की आजादी भीख थी- कंगना के बयान पर वरुण का ‘तगड़ा’ जवाब- इसे पागलपन कहूं या देशद्रोह?

2014 में मिली असली आजादी वाले कंगना के बयान पर मचा 'बवाल', भड़के भाजपा सांसद वरुण गांधी का तगड़ा जवाब, तो कंगना ने वरुण को भी नहीं बख्शा बोलीं- 'जा और रो अब', अपने बेसिरपैर के बयानों के चलते ही कंगना को ट्विटर ने किया है बैन

'इसे पागलपन कहूं या देशद्रोह?'
'इसे पागलपन कहूं या देशद्रोह?'

Politalks.News/Delhi. फिल्म स्टार कंगना रनौत को ‘पंगा‘ लेने का तो जैसे शौक ही है. बेबाक और ज्यादातर फिजूल के बयानों को लेकर सुर्खियों में रहने वाली कंगना एक बार फिर चर्चा में है. हाल ही में पद्मश्री सम्मान पाने के बाद टाइम्स नाउ समिट 2021 में भाग लेने पहुंची कंगना रनौत ने देश की आजादी को लेकर एक विवादित बयान देते हुए कहा कि 1947 में मिली आजादी एक भीख थी…. अब कंगना के कॉमेंट पर बीजेपी में हाशिए पर चल रहे सांसद वरुण गांधी ने तगड़ी नाराजगी जाहिर की तो कंगना भी कहां पीछे रहने वाली थी. वहीं कंगना के बयान को लेकर सोशल मीडिया पर भी काफी छीछालेदर हो रही है. यही नहीं कंगना रनौत ने इसी इंटरव्यू में खुद को सच्चा देशभक्त भी बताया तो प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी को सुपर स्टार बताया.

आपको बता दें कि कंगना बीती शाम टाइम्स नाउ समिट 2021 के इवेंट में पहुंचीं थीं, जहां कंगना ने कई मुद्दों पर खुलकर बातचीत की. इसी दौरान कंगना ने कहा कि, ‘आजादी अगर भीख में मिले तो क्या आजादी है? 1947 में मिली आजादी एक भीख थी, असली आजादी तो हमें 2014 में मिली है.’ कंगना के इस बयान पर बीजेपी सांसद वरुण गांधी ने तीखी प्रतिक्रिया जाहिर की है.

इसे पागलपल कहूं या फिर देशद्रोह- वरुण
भाजपा सांसद वरुण गांधी ने ट्वीट करते हुए लिखा है कि, ‘कभी महात्मा गांधी जी के त्याग और तपस्या का अपमान, कभी उनके हत्यारे का सम्मान और अब शहीद मंगल पाण्डेय से लेकर रानी लक्ष्मीबाई, भगत सिंह, चंद्रशेखर आज़ाद, नेताजी सुभाष चंद्र बोस और लाखों स्वतंत्रता सेनानियों की कुर्बानियों का तिरस्कार. इस सोच को मैं पागलपन कहूं या फिर देशद्रोह?’ वरुण के इस ट्वीट पर कंगना भी कहां चुप बैठने वालों में से है, कंगना ने जवाब दिया और कहा कि, ‘जा और रो अब’

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वरुण को कंगना का जवाब- जा और रो अब

कंगना रनौत ने अपना यह जवाब इंस्टाग्राम स्टोरी पर दिया है. कंगना ने इंस्टाग्राम पर वरुण गांधी के उस ट्वीट का स्क्रीनशॉट शेयर किया है, जिसके साथ अपना जवाब भी लिखा है. कंगना ने लिखा है कि, ‘जबकि मैंने साफ-साफ 1857 में हुए देश के पहले स्वतंत्रता संग्राम का जिक्र किया है जो कि असफल रहा. इसकी वजह से ब्रिटिशर्स की ओर से हमें काफी अत्याचार और क्रूरता झेलनी पड़ी…और फिर लगभग 100 सालों बाद हमें आजादी दी गई गांधी की भीख पर, जा और रो अब’.

अजीबोगरीब बयानों के लिए बैन किया ट्टिटर ने

आपको बता दें कि कंगना रनौत ट्विटर पर बैन हैं, ऐसे ही अजीबोगरीब बयानों, भड़काऊ और नफ़रत वाली बयानबाजी के लिए इसी साल उनके ट्विटर अकाउंट को बंद भी कर दिया गया है. अजीबोगरीब बयानों को लेकर सुर्खियों में रहने वाली कंगना रनौत ने इसी साल मार्च में राष्ट्रपिता महात्मा गांधी को लेकर एक विवादित ट्वीट किया था. कंगना ने ट्वीट में कहा था कि, ‘स्कूल में बच्चों को जिनके आदर्शों पर चलने की सीख दी जाती है वह महात्मा गांधी अच्छे पिता और पति नहीं थे‘. कंगना ने कहा था कि ‘वो एक महान नेता थे लेकिन महान पति नहीं हो सकते, लेकिन दुनिया माफ कर देती है जब बात एक पुरुष की आती है’

पीएम मोदी को बताया सुपर स्टार

टाइम्स नाऊ समिट के दौरान बॉलीवुड एक्ट्रेस कंगना रनौत ने एंकर नविका कुमार के ढेरों सवालों के जवाब दिए. कंगना यह भी बताया कि उन्हें दो नेशनल अवॉर्ड कांग्रेस शासन के दौरान मिले थे. कार्यक्रम के दौरान एक सवाल के जवाब में कंगना ने कहा कि,‘मैं अपना सुपरस्टार प्रधनमंत्री मोदी को मानती हूं और वह हमेशा में मेरे स्टार रहेंगे‘.

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मनजिंदर बोले- रनौत का मानसिक दीवालियापन

इधर कंगना के आजादी वाले बयान की अकाली दल के नेता मनजिंदर सिंह सिरसा ने भी कड़ी आलोचना की है. सिरसा ने भी कंगना का वीडियो ट्वीट करते हुए साथ में लिखा कि, ‘मणिकर्णिका का रोल निभाने वाली आर्टिस्ट आज़ादी को भीख कैसे कह सकती है!!! लाखों शहादतों के बाद मिली आज़ादी को भीख कहना कंगना रनौत का मानसिक दीवालियापन है’.

सोशल मीडिया पर कंगना की हो रही खिंचाई

कंगना रनौत के इस बयान के बाद सोशल मीडिया पर उनकी काफी आलोचना हो रही है. लोगों ने कहा कि कंगना हजारों कुर्बानियों को भीख बता रही हैं. कई लोगों ने यूपीए शासन काल के दौरान उन्हें नेशनल अवॉर्ड को स्वीकार किए जाने पर भी सवाल खड़े किए. यूजर का कहना था कि यदि वह आजादी भीख थी तो आपने वह नेशनल अवॉर्ड क्यों लिया. एक यूजर ने उन्हें झांसे की रानी का भी खिताब दिया तो वहीं, एक अन्य यूजर ने लिखा कि कंगना खुद लकड़ी के घोड़े पर सवार होकर प्लास्टिक की तलवार लेकर वीरांगना बनती हैं.

 

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