आसाराम को फिर मिला हाइकोर्ट का झटका, तीसरी बार जमानत याचिका हुई खारिज, जानिए क्या रहा कारण: यौन उत्पीड़न के आरोप में आजीवन कारावास की सजा काट रहे आसाराम को एक बार फिर राजस्थान हाईकोर्ट जोधपुर मुख्यपीठ से लगा झटका, आसाराम की तीसरी बार सजा स्थगन याचिका को यह कहते हुए किया गया खारिज कि गुजरात में मुकदमा है विचाराधीन, आरोपों की प्रकृति और गंभीरता को देखते हुए नहीं की जा सकती ह जमानत मंजूर, वरिष्ठ न्यायाधीश संदीप मेहता और न्यायाधीश विनीत कुमार माथुर की खंडपीठ के समक्ष आआसाराम की ओर से दिल्ली के वरिष्ठ अधिवक्ता देवदत्त कामत ने याचिका पेश करते हुए की पैरवी, तो सरकार की ओर से अनिल जोशी एएजी व उनके सहयोगी आरआर छापरवाल और पीड़िता की ओर से अधिवक्ता पीसी सोंलकी ने अदालत में रखा पक्ष, पिछली सुनवाई पर कोर्ट ने गुजरात में चल रहे मामले की मांगी थी स्थिति, राज्य सरकार की ओर से एएजी जोशी ने कहा कि गुजरात के मामले में अभी अभियोजन पक्ष की ओर से करवाए जा रहे हैं बयान, वहीं गुजरात मामले में आसाराम किसी तरह की नहीं मिली है राहत, ऐसे में सजा स्थगन याचिका को नहीं किया जाए मंजूर