भारत रत्न दिए जाने की घोषणाओं पर बोले राजस्थान के पूर्व मुख्यमंत्री अशोक गहलोत, सोशल मीडिया प्लेटफार्म एक्स पर कहा- भारत सरकार द्वारा 5 विभूतियों को भारत रत्न दिए जाने का करते हैं स्वागत, इन विभूतियों के लिए हमारे दिल में है अथाह सम्मान एवं देश के लिए इनका योगदान है अतुलनीय, हालांकि ऐसा लगता है कि एक वर्ष में अधिकतम 3 भारत रत्न देने के नियम को तोड़कर आनन-फानन में भारत रत्न देकर इस सम्मान का किया गया है चुनावीकरण एवं राजनीतिकरण एवं सम्मान की गरिमा की गयी है कम, मुझे नहीं लगता है कि इन निर्णयों से एन.डी.ए.को मिल सकेगा बहुत बड़ा लाभ, यदि एनडीए सरकार सच में इनके योगदान को सम्मानित करना चाहती है तो श्री कर्पूरी ठाकुर द्वारा पिछड़ों के उत्थान के लिए किए गए प्रयासों को आगे बढ़ाने के लिए जातिगत जनगणना करवाए, चौधरी चरण सिंह एवं एम एस स्वामीनाथन की मांग अनुसार न्यूनतम समर्थन मूल्य का कानून बनाए, पीवी नरसिम्हा राव द्वारा बनाए गए प्लेस ऑफ वर्शिप एक्ट की पालना सुनिश्चित करवाए, जिसकी आजकल रोज की जा रही है अवहेलना, एनडीए सरकार के दौरान लालकृष्ण अडवाणी द्वारा जताई गई अघोषित आपातकाल जैसी आशंका के माहौल को सामान्य करने का करे प्रयास, अन्यथा सब यही मानेंगे कि ये सम्मान सिर्फ चुनावी लाभ के लिए हैं



























