‘जेएनयू में टैंक भले ही लगवा दें लेकिन सरकार अपने थिंक टैंक को वहां नहीं थोपा सकती’

सोशल मीडिया पर आज की प्रमुख हलचल

(JNU University)
(JNU University)

पॉलिटॉक्स ब्यूरो. छात्रावास शुल्क वृद्धि को लेकर जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय (JNU University) दिल्ली के छात्रों का विरोध प्रदर्शन फिलहाल चालू है. बीते कुछ दिनों में ये इतना उग्र हो चुका है कि पुलिस ने डंडे तक बरसा दिए. कई छात्र-छात्राएं घायल हुए और कईयों को पुलिस ने थाने में बंद भी कर दिया लेकिन इस मामले में न तो राज्य सरकार और न ही केंद्र सरकार कुछ कर रही है. नेता भी इस मामले में अपना मुंह नहीं खोल रहे लेकिन मामला अब दिन-ब-दिन बिगड़ता जा रहा है. अब यह मसला सोशल मीडिया पर उछल रहा है और कई सोशल यूजर्स इस मामले में अपनी राय रख रहे हैं. इनमें कुछ ने इसे छात्र-छात्राओं का अधिकार बताया तो कुछ ने इस प्रदर्शन को केवल छात्र संगठनों का हो-हल्ला बताया. लेकिन बता दें कि अधिकांश यूजर्स की भावनाएं छात्रों के साथ जुड़ी हुई है.

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इस संबंध में गौरव सी.सावंत नाम के एक यूजर से एक ट्वीट पोस्ट करते हुए लिखा, (JNU University)’छात्रों के पास विरोध प्रदर्शन करने का पूरा अधिकार है. लोकतंत्र में उन्हें अपने विचार अवश्य व्यक्त करने चाहिए लेकिन लोकतांत्रित तरीके से. दीवारों पर उटपटांग बाते लिखना, राष्ट्रीय नायकों की प्रतिमाओं के साथ छेडछाड़, एंबुलेंस को रोकना और एक महिला शिक्षक को 30 घंटों से अधिक समय तक बंधक बनाए रखना किसी भी लिहाज से लोकतांत्रित नहीं है.

वहीं बॉलीवुड अभिनेत्री आलिया भट्ट (Alia Bhatt) की बहन और एक्ट्रेस पूजा भट्ट (Pooja Bhatt) ने जेएनयू के छात्रों का सपोर्ट करते हुए अपने ट्विटर हैंडल से लिखा, ‘शिक्षा कोई विशेषाधिकार नहीं है. इस पर सबका उतना ही अधिकार है, जितना साफ हवा में सांस लेना. जेएनयू (JNU University) के छात्रों के साथ पुलिस का ऐसी बर्बरता से बर्ताव करना बेहद परेशान करने वाला है. क्या वह भूल जाते हैं कि उनका प्राथमिक कर्तव्य सेवा और सुरक्षा करना है. हिंसा का सहारा क्यों? छात्रों के खिलाफ?’

डॉ.अभिषेक सिंघवी ने लिखा, ‘जेएनयू विवाद सरकार द्वारा अपने विचारों को थोपने की लड़ाई अधिक है पर सरकार ये भूल गई कि (JNU University) जेएनयू में टैंक भले ही लगवा दें, वह अपने थिंक टैंक को वहां नहीं थोपा सकती.’

वहीं एक अन्य यूजर ने पोस्ट करते हुए कहा है कि यह मोदी का भारत है, इटेलियन वेट्रेस का नहीं, तो कृपया ध्यान से (JNU University) जेएनयू को बंद करें.

बलवंत नाम के एक यूजर ने सरकार पर निशाना साधते हुए कहा, ‘आप भूल गये है की आप लोगोनेही गत सत्तर सलामे अपनी और वामपंथी विचारधारा के लोगो का थिंक टैंकक जेएनयू में बिठा कर रखा है. पढाई छोड वहां विचारधारा बढाने के लिए ही सब कुछ चल रहा है.’

वहीं एक यूजर ने एक फोटो शेयर करते हुए लिखा कि (JNU University) जेएनयू तो फीस बढ़ोतरी पर अनशन कर रही है लेकिन आरएसएस मुर्दाबाद की तख्ती लिए एक छात्रा यहां क्या कर रही है.

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