चीन सीमा विवाद: विपक्ष के सवालों के जवाब में आरोप लगाकर आखिर क्या छिपा रही है मोदी सरकार?

ऐसा देश में पहली बार मोदी सरकार आने के बाद ही सम्भव हो पाया है कि विपक्ष के सवालों के जवाब में सत्ता पक्ष सवाल ही पूछ रहा है जवाब नहीं दे रहा है, विपक्ष का सवाल अब भी बरकरार- क्या भारत सरकार इस बात की पुष्टि कर सकती है कि कोई भी चीनी सैनिक भारत में नहीं आया?

China Vs India
China Vs India

पाॅलिटाॅक्स न्यूज/भारत-चीन सीमा विवाद. भारत और चीन के बीच चल रहा सीमा विवाद चरम पर है. 15 जून को गलवान घाटी में हुई हिंसक झड़प में सेना के 20 जवानों के शहीद होने के बाद दोनों देशों की सेनाओं ने सीमाओं पर मोर्चा संभाल लिया है. एक ओर दोनों की ओर से विवाद के हल के लिए बातचीत की प्रक्रिया चल रही है, वहीं दूसरी ओर युद्ध स्तर की सैन्य तैयारियां भी चल रही हैं. इन सब स्थितियों के बीच विपक्ष को मोदी सरकार से किए गए सवाल का जवाब नहीं मिल रहा है. ऐसा देश में पहली बार मोदी सरकार आने के बाद ही सम्भव हो पाया है कि विपक्ष के सवालों के जवाब में सत्ता पक्ष सवाल ही पूछ रहा है लेकिन जवाब नहीं दे रहा है. मसलन, सवाल पूछा जा रहा है कि चीन सीमा विवाद पर सरकार स्थिति स्पष्ट करे तो जवाब दिया जा रहा है 1962 में क्या हुआ था ये बताओ….

खैर, सीमा पर हुई खूनी झड़प के बाद से ही विपक्ष एक ही सवाल मोदी सरकार से पूछ रहा है कि क्या चीनी सेना ने भारतीय सीमा में प्रवेश किया है? लेकिन इसका जवाब देने की बजाय सरकार के मंत्री और भाजपा के प्रवक्ता हर दिन नई-नई बातें सामने लाकर विपक्ष पर ही आरोप खड़े कर रहे हैं, लेकिन यह नहीं बता रहे कि क्या चीनी सेना भारतीय सीमा में हैं या नहीं? सवाल नंबर 2- अगर चीनी सैनिक भारतीय सीमा में नहीं घुसे हैं, तो भारत के 20 जवानों को शहीद क्यूं होना पड़ा? इन दो सवाल के जवाब में जान लेते हैं, सरकार के मंत्री और भाजपा नेताओं के जवाब क्या-क्या हैं.

इससे पहले इन सवालों के जवाब में आए भाजपा नेताओं के बयान और आरोपों को समझें, यहां खास ध्यान देने वाले इन तथ्यों पर भी नजर डाल लेनी चाहिए. जब बीजेपी विपक्ष में थी, तब क्या होता था –

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  • जब बीजेपी विपक्ष में हुआ करती थी, तब वो चीन को लेकर अक्सर कांग्रेस सरकार पर निशाना साधती थी.
  • 1962 की हार के लिए नेहरू को जिम्मेदार ठहराती है, कांग्रेस पर आरोप लगाती है कि उसने चीन को भारत की बड़ी जमीन पर कब्जा करने दिया. सियाचीन गलेशियर गंवा दिया।
  • अरूणाचल प्रदेश पर चीनी दावे के विरोध में अन्तराष्टीय मंचों पर जाना चाहिए.
  • चीन से बढ़े व्यापार के लिए कांग्रेस जिम्मेदार है, कांग्रेस चीन की व्यापारिक नीतियों के आगे झुकी, जिसके चलते देश का व्यापार घाटा 33 गुना तक बढ़ा.
  • समय-समय पर चीन द्वारा की गई भारत विरोधी कार्रवाई का मुंहतोड़ जवाब नहीं दिया गया, जिसके चलते चीन भारत पर हावी होता रहा.
  • मनमोहन सरकार के समय बीजेपी ने लददाख में चीनी घुसपैठ को लेकर एक डेलिगेशन भी भेजा था, इसके साथ ही प्रेस कांफ्रेंस करके चीन से जुड़े कई मामलों पर सवाल भी उठाए थे.

2014 में मोदी सरकार बनने के बाद क्या हुआ

1. पांच बार चीन गए पीएम मोदी, 18 बार हो चुकी है चीनी राष्ट्रपति से मुलाकात

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी अभी तक 9 बार चीन का दौरा कर चुके हैं. इसमें 4 बार गुजरात के सीएम रहते हुए और 5 बार प्रधानमंत्री के तौर पर मोदी चीन के दौरे पर गए हैं. पिछले 6 सालों में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और चीनी राष्ट्रपति शी जिनपिंग के बीच 18 बार मुलाकात हो चुकी है. इनमें वन-टू-वन मीटिंग के अलावा दूसरे देशों में दोनों नेताओं के बीच अंतरराष्ट्रीय सम्मेलनों में हुईं अनौपचारिक मुलाकातें भी शामिल हैं.

2. चीन और भारत के बीच कई व्यापारिक समझौते हुए

व्यापार को लेकर कांग्रेस पर चीन के सामने नतमस्तक होने का आरोप लगाने वाली बीजेपी की मोदी सरकार ने पिछले छह सालों में चीन से कई व्यापारिक समझौते किए. 2019 में मोदी जिनपिंग की मुलाकात के बाद चीन में भारत के राजदूत विक्रम मिश्री ने कहा था कि चीन से द्विपक्षीय व्यापार 100 अरब डालर पार पहुंच जाएगा. उस समय तक यह व्यापार 95 अरब डालर तक पहुंच चुका था. इस व्यापार से भारत को केवल घाटा ही उठाना पड़ रहा था.

3. सीमा विवाद को लेकर बातचीत

चीनी राष्ट्रपति जिनपिंग और भारत के प्रधानमंत्री मोदी के बीच करीब 18 बड़ी मुलाकातें हुईं हैं. मोदी सरकार की ओर से भारत चीन सीमा विवाद को लेकर कई बार बातचीत की गई. लेकिन सरकार ने कभी नहीं बताया कि उन बातचीत का क्या निष्कर्ष निकला. क्या उन बातचीत का भारत को कोई लाभ मिला या फिर चीन ने भारतीय पक्ष को स्वीकार किया आदि.

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अब जानते हैं, 20 सैनिकों के शहीद होने के बाद बीजेपी नेताओं की ओर से विपक्ष कांग्रेस को लेकर क्या-क्या कहा गया

1. कांग्रेस के सवालों का जवाब नहीं देकर कहा गया कि कांग्रेस सेना का मनोबल तोड़ रही है. वो चीन को फायदा पहुंचा रही है.

2. केंद्रीय मंत्री रविशंकर प्रसाद ने कांग्रेस पर आरोप लगाया कि कांग्रेस ने चीन की कम्युनिस्ट पार्टी के साथ एक MoU किया. सवाल उठाया कि कांग्रेस बताए कि यह एमओयू किसलिए था और पार्टी-से-पार्टी का यह रिश्ता क्यों बनाया गया?

3. बीजेपी के राष्टीय अध्यक्ष जेपी नड्डा ने कांग्रेस को चीन से फंडिंग मिलने का आरोप लगाया. दावा किया कि राजीव गांधी फाउंडेशन को 2005-06 के दौरान चीन के दूतावास से मोटी रकम मिली. उन्होंने कांग्रेस से पूछा कि बताइए, चीन के साथ गुपचुप रिश्ता क्या है. बीजेपी नेताओं ने कहा कि चीन की ओर से राजीव गांधी फांउडेशन को 90 लाख रूपए की राशि दी गई.

4. भाजपा प्रवक्ता संबित पात्रा ने आरोप लगाया कि कांग्रेस ने चीनी सीमाओं पर डेवलपमेंट क्यों नहीं किए गए? सामरिक महत्व की सड़कों सहित अन्य निर्माण कार्य क्यों नहीं कराए गए?

5. वरिष्ठ भाजपा नेता प्रह्लाद जोशी ने ट्वीट करके कहा कि ऐसा लगता है कि कांग्रेस के नेता चीन के प्रवक्ता बन गए हैं. वे सिर्फ प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के खिलाफ बातें करते हैं और कभी चीन से सवाल करने की हिम्मत नहीं करते हैं.

6. महाराष्ट्र जन संवाद वर्चुअल रैली को संबोधित करते हुए रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी पर शायराना अंदाज में पलटवार किया. मिर्जा गालिब के एक शेर को अपने अंदाज में कहते हुए राजनाथ सिंह ने कहा कि हाथ में दर्द हो तो दवा कीजिए, यदि हाथ ही दर्द हो तो क्या कीजिये.

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7. अभी हाल ही में राहुल गांधी के ‘सरेंडर मोदी’ वाले बयान पर गृहमंत्री अमित शाह ने कहा कि चर्चा से कोई नहीं डरता है. मगर जब देश के जवान संघर्ष कर रहे हों, सरकार स्टैंड लेकर ठीक कदम उठा रही है, उस वक्त पाकिस्तान और चीन को खुश हो इस प्रकार के बयान ठीक नहीं है. पार्लियामेंट होनी है, चर्चा करनी है तो आएं, करेंगे. 1962 से आज तक दो-दो हाथ हो जाए.

इससे पहले राहुल गांधी ने गृहमंत्री अमित शाह के एक बयान पर मोदी सरकार पर शायराना अंदाज में हमला करते हुए कहा था कि सबको मालूम है सीमा की हकीकत, दिल बहलाने को शाह-यद ये ख्याल अच्छा है. अमित शाह ने कहा था कि राहुल गांधी को इस वक्त राजनीति से ऊपर उठकर देश के साथ खड़ा होना चाहिए. अमित शाह ने लद्दाख झड़प में घायल उस पिता के वीडियो को भी शेयर किया है जिसमें उन्होंने राहुल गांधी से राजनीति नहीं करने को कहा है.
कांग्रेस के एक सवाल कि क्या चीनी सेना भारतीय सीमा में घुसी है, के जवाब में बीजेपी के नेताओं ने कांग्रेस पर 1947 लेकर अब तक सारे समय को याद कर लिया, हर परिस्थितियों के लिए कांग्रेस को जिम्मेदार ठहराने की कोई कसर नहीं छोड़ी लेकिन इस एक सवाल का जवाब नहीं दिया.

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सवाल आज भी सवाल ही बना हुआ है. प्रधानमंत्री, गृहमंत्री, रक्षामंत्री सहित बीजेपी के सभी आला नेता भारत की संप्रभुता की बात तो कर रहे हैं, लेकिन क्या चीनी सेना भारत की सीमा में घुसकर बैठी है, इस सवाल का जवाब नहीं दिया जा रहा है.

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