कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी ने आज दुबारा साबित किया कि वो जो वादा करतीं हैं, उसे निभाती भी हैं. प्रियंका गांधी ने 20 जुलाई को चुनार किले में उम्भा गांव के पीड़ित परिवारों के सदस्यों से वादा किया था कि – “मैं उनके गांव आऊंगी” और प्रियंका गांधी ने अपना ये वादा मंगलवार को सोनभद्र पहुंचकर पीड़ित परिवारों से मिल कर पूरा किया.

इससे पहले भी सोनभद्र नरसंहार मामले में ही प्रियंका गांधी ने चुनार किले में मिलने आये पीड़ित परिवारों से वादा किया था कि प्रत्येक पीड़ित परिवार को दस-दस लाख रूपये सहायता राशि के लिए दिए जाएंगे, जिसे प्रियंका गांधी ने 27 जुलाई को प्रत्येक परिवार को दस-दस लाख रुपये भिजवा के पूरा किया था. दूसरी तरफ, मंगलवार को प्रियंका गांधी की यात्रा को यूपी की योगी सरकार ने राजनीतिक स्टंट बताते हुए कहा कि कांग्रेस महासचिव को सोनभद्र में अपनी ही पार्टी के नेताओं के पूर्व के कृत्यों का पश्चात्ताप करना चाहिये.

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प्रियंका गांधी ने उम्भा गांव के पीड़ित परिवारों से उनके घर आकर मिलने का किया वादा निभाने के लिये मंगलवार को सामूहिक हत्याकांड के गवाह बने सोनभद्र स्थित उम्भा गांव पहुंची. मंगलवार सुबह प्रियंका गांधी दिल्ली से 10 बजे वाराणसी के एलबीएस अंतरराष्ट्रीय हवाईअड्डे पहुंचीं और वहां से सड़क मार्ग से उम्भा गांव के लिए रवाना हुईं. इस दौरान प्रियंका ने ट्वीट कर कहा ”चुनार के किले पर मुझसे मिलने आये उम्भा गांव के पीड़ित परिवारों के सदस्यों से मैंने वादा किया था कि मैं उनके गांव आऊंगी, आज मैं उम्भा गांव के बहनों-भाइयों और बच्चों से मिलने, उनका हालचाल सुनने-देखने, उनका संघर्ष साझा करने सोनभद्र जा रही हूं.”


सूत्रों से मिली जानकारी के मुताबिक प्रियंका ने सोनभद्र के उम्भा गांव में उन 10 गोंड आदिवासियों के परिजन से मुलाकात की जो पिछले महीने 17 जुलाई को जमीन के विवाद को लेकर हुई गोलीबारी में मारे गये थे. इस बीच, प्रदेश के उप मुख्यमंत्री दिनेश शर्मा ने प्रियंका के सोनभद्र दौरे को सियासी स्टंट बताते हुए इसे मीडिया की सुर्खियां बटोरने की कोशिश करार दिया है.

उत्तरप्रदेश के उपमुख्यमंत्री ने मीडिया से बात करते हुए कहा कि राज्य सरकार ने सोनभद्र गोलीकांड मामले में यथासम्भव कठोरतम कार्रवाई की है. उन्होंने कहा कि जिस जमीन को लेकर वह वारदात हुई, उस पर कांग्रेस के शासनकाल में उसी के तत्कालीन विधान परिषद सदस्य और अन्य नेताओं ने कब्जा किया. शर्मा ने कहा कि कांग्रेस के ही राज में वह जमीन अवैध रूप से बेची गयी, जिसकी परिणति पिछले महीने गोलीकांड में 10 लोगों के मारे जाने के तौर पर हुई. शर्मा ने कहा ”प्रियंका को पार्टी के पहले के नेताओं के कृत्यों का पश्चात्ताप करना चाहिये. उनका आना राजनीतिक स्टंट के सिवा कुछ नहीं हैं.”

गौरतलब है कि सोनभद्र के घोरावल थाना क्षेत्र स्थित इलाके में 17 जुलाई को जमीन के एक टुकड़े को लेकर हुए संघर्ष में 10 ग्रामीणों की हत्या कर दी गई थी और 28 अन्य घायल हो गए थे. मारे गए लोगों के परिजनों से मिलने 19 जुलाई को सोनभद्र जा रहीं प्रियंका गांधी को मिर्जापुर जिला प्रशासन ने बीच में ही रोक लिया था. उनके धरने पर बैठने पर उन्हें हिरासत में ले लिया गया था. बाद में उन्हें चुनार गेस्ट हाउस ले जाया गया था. अगली सुबह गोलीकांड के पीड़ित कुछ परिवारों ने गेस्ट हाउस आकर प्रियंका गांधी से मुलाकात की थी. मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ और उनकी सरकार के मंत्रियों ने इसे भी प्रियंका का राजनीतिक स्टंट करार देते हुए उम्भा कांड के लिये कांग्रेस को दोषी ठहराया था.

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