जहां कम हो रहे गधे, वहां हार रही कांग्रेस, राजस्थान में यही है हाल और अगले साल हैं चुनाव- राठौड़ का तंज

राजस्थान विधानसभा में मंत्रियों और अधिकारियों की गैरमौजूदगी के मुद्दे पर हमलावर हुए भाजपाई दिग्गज, राठौड़ ने गहलोत सरकार को जमकर घेरा, सरकार ने अफसरशाही को कर दिया है इतना हावी कि सदन के प्रति नहीं दिख रहे उत्तरदायी' राठौड़ ने गधों और ऊंटों की कमी को लेकर कांग्रेस पर कसा तंज

जहां कम हो रहे गधे, वहां हार रही कांग्रेस
जहां कम हो रहे गधे, वहां हार रही कांग्रेस

Politalks.News/Rajasthan.  5वीं विधानसभा के सप्तम सत्र में सबसे ज्यादा मंत्रियों, विधायकों और दिग्गज नेताओं की गैरमौजूदगी चर्चा का केंद्र रही. जहां बीते सप्ताह विधानसभा में उपनेता प्रतिपक्ष राजेंद्र राठौड़ ने सदन में मंत्रियों की अनुपस्थिति पर सवाल उठाया था. वहीं आज एप्रोप्रिशन बिल पर चर्चा के दौरान राजेंद्र राठौड़ ने अधिकारीयों की अनुपस्थिति का मुद्दा उठाया. एप्रोप्रिशन बिल पर बहस के दौरान चर्चा में भाग लेते हुए राजेंद्र राठौड़ ने कांग्रेस पर निशाना साधते हुए तंज कसा कि, ‘जहां-जहां गधे कम हो रहे हैं, वहां कांग्रेस हार रही है.’

15वीं विधानसभा के सप्तम सत्र में एप्रोप्रिशन बिल पर बहस के दौरान भी जमकर हंगामा हुआ. एप्रोप्रिशन बिल पर जब चर्चा हो रही थी तो सदन में वित्त विभाग के प्रमुख सचिव और सचिव मौजूद नहीं थे. इसे लेकर बीजेपी नेताओं ने सवाल उठाने शुरू कर दिया. एप्रोप्रिशन बिल पर चर्चा में भाग लेते हुए उपनेता प्रतिपक्ष राजेंद्र राठौड़ ने कहा कि, ‘हम बोले रहे हैं, लेकिन ऑफिसर्स गैलरी में वित्त विभाग के प्रमुख सचिव और सचिव मौजूद ही नहीं है. ये बड़े अफसर मुख्यमंत्री जब आएंगे तब उनके साथ आएंगे, फिर बिल पर यहां बोलने का मतलब क्या रह जाएगा? सरकार ने अफसरशाही को इतना हावी कर दिया है कि अफसर सदन के प्रति उत्तरदायी नहीं दिख रहे, मुख्यमंत्री के प्रति उत्तरदायी हो गए हैं.’

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उपनेता प्रतिपक्ष के बयान पर पलटवार करते हुए कैबिनेट मंत्री बीडी कल्ला ने कहा कि, ‘वित्त विभााग के प्रमुख सचिव के प्रतिनिधि यहां मौजूद हैं, वे लिख रहे हैं.’ इस पर राठौड़ ने कहा कि, ‘प्रतिनिधि का क्या मतलब है? मैं भी कल मेरे प्रधान-सरपंच को प्रतिनिधि बनाकर यहां सदन में भेज दूं क्या? यह अफसरशाही को कितना हावी कर दिया है कि मंत्री को असहाय होकर उनकी तरफदारी करनी पड़ रही है.’ वहीं इस बहस में अपनी बात रखते हुए नेता प्रतिपक्ष गुलाब चंद कटारिया ने कहा कि, ‘सदन में सीनियर अफसरों का नदारद रहना बहुत ही गंभीर बात है. एप्रोप्रिएशन बिल पर चर्चा के दौरान वरिष्ठ अफसरों का सदन की ऑफिसर्स गैलरी में होना जरूरी है.’ वहीं कैबिनेट मंत्री के जवाब पर कटारिया ने तंज भरे लहजे में कहा कि, ‘जो मर्जी आए आप करते रहि​ए.’

एप्रोप्रिशन बिल पर चर्चा में भाग लेते हुए उपनेता प्रतिपक्ष राजेंद्र राठौड़ ने कांग्रेस पर निशाना साधा. राजेंद्र राठौड़ ने कहा कि, ‘अध्यक्ष महोदय प्रदेश में गधों और ऊंटों की संख्या लगातार कम हो रही है. यह भी एक संयोग है कि UP, पंजाब, मणिपुर उत्तराखंड में जहां हाल ही चुनाव हुए हैं वहां भी गधों की संख्या में भारी कमी आई है. और ये सब मैं नहीं कह रहा यह पशुगणना के आंकड़े हैं’. राजेंद्र राठौड़ ने कहा कि, ‘यह एक अजब संयोग है, जहां गधे कम हो रहे हैं, उन राज्यों में कांग्रेस हार रही है. यह गधों और कांग्रेस का कोई गठजोड़ है.’

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राजेंद्र राठौड़ के इस बयान पर सभापति और मंत्रियों ने आपत्ति की तो राठौड ने कहा कि, ‘गधों और कांग्रेस का गठजोड़ हो ही नहीं सकता. मुझे तो चिंता है कि जहां-जहां गधे कम हो रहे हैं, वहां कांग्रेस हार रही है. हमारे राजस्थान में भी गधे कम हो रहे हैं और अगले साल चुनाव है, कांग्रेस का क्या होगा?

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