Virendra Ram arrested by ED in Jharkhand: झारखंड में अवैध कमाई से ऐशो-ओ-आराम की जिंदगी जीने वाले ग्रामीण विकास विभाग के मुख्य अभियंता वीरेंद्र राम की ईडी द्वारा गिरफ्तारी के बाद प्रशासनिक और सियासी गलियारों में हड़कंप मचा हुआ है. शिकंजे में आने के बाद अवैध कमाई से विदेश से 300 रुपये लीटर का विदेशी पानी पीने वाले वीरेंद्र राम पूछताछ में कई राज का खुलासा कर रहा है. यह भी तय है कि वीरेंद्र राम के खुलासे से आने वाले समय में कई झारखंड के कई राजनेताओं और वरिष्ठ अधिकारियों की मुश्किलें बढ़ने वाली हैं. दो दिनों तक चली छापेमारी के दौरान ईडी को वीरेंद्र राम के विभिन्न ठिकानों से करोड़ों रुपये की संपत्ति की जानकारी मिली है. छापेमारी के दौरान सबसे चौंकाने वाली बात ये भी सामने आई कि पूरा परिवार दौलत के नशे में चूर है. पिता की काली कमाई से बेटा नवाबी कर रहा था, वहीं पत्नी को महंगी चीजों की शौकीन थी. छापेमारी के दौरान ईडी के अधिकारियों से वीरेंद्र राम की पत्नी और बेटे की ओर से दुर्व्यवहार करने की खबरें भी सामने आईं हैं.
फ्रांस से आता था पीने का पानी, बेटा महंगे ब्रांड के कपड़ो का शौकीन, एक या दो बार से ज्यादा नहीं पहनता
यहां खास बात यह है कि, ईडी के अधिकारी जब चीफ इंजीनियर के ठिकानों पर छापेमारी करने पहुंचे, तो जानकारी मिली कि वे सभी परिवार वाले फ्रांस की कंपनी में बना मिनरल वाटर पीते हैं. भारत में इस मिनरल वाटर की कीमत प्रति लीटर 300 रुपये है. इस दौरान ईडी को ये भी जानकारी मिली कि वीरेद्र राम का बेटा महंगे ब्रांडों का शौकीन है, यही नहीं इन महंगे कपड़ों को वो एक-दो बार पहन कर फेंक देता था. जब ईडी के अधिकारी कपड़ों की जानकारी ले रहे थे, तो वीरेंद्र राम के बेटे ने ईडी के अधिकारियों का मजाक उड़ाते हुए कहा कि कपड़ों को छू कर देख लो, एक शर्ट की कीमत कम से कम 35 हजार की है. वहीं छापेमारी के पहले दिन जब ईडी के अधिकारी उनके घर में डाइनिंग टेबल पर खाना खा रहे थे, तो वीरेंद्र राम की पत्नी ने भड़कते हुए कहा कि डाइनिंग टेबल गंदा हो जाएगा.
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वीरेंद्र राम पर चली छापेमारी, पूछताछ और दस्तावेज को खंगालने के बाद ईडी ने मनी लाउंड्रिंग का खुलासा किया है. ईडी की जांच में पता चला है कि वीरेंद्र राम के पिता और पत्नी के केनरा बैंक के ज्वाइंट एकाउंट में भी 5.70 करोड़ और 3.59 करोड़ जमा हुए थे. जांच में पाया गया है कि आरके इन्वेस्टमेंट और आरपी इन्वेस्टमेंट एंड कंसल्टेंसी के खातों से पैसे आए थे. ईडी ने दोनों फर्म के संचालक राजेश कुमार केडिया और रीना पाल का भी बयान दर्ज किया है. दोनों ने बताया है कि उनके बैंक खातों का संचालन सीए मुकेश मित्तल करते हैं, उन लोगों को यह जानकारी नहीं है कि उनके खातों के जरिए पैसे क्रेडिट हुए हैं.
कमीशन का हिस्सा पहुंचता है राजनेताओं और अधिकारियों तक!
गिरफ्तार हुए वीरेंद्र राम ने प्रारंभिक पूछताछ में ईडी को ये जानकारी दी है कि कमीशन का हिस्सा कई राजनेताओं और अधिकारियों तक पहुंचता है. टेंडर मैनेज करने में वीरेंद्र राम की महत्वपूर्ण भूमिका रहती थी. कमीशन का खेल इस तरह से हावी थी कि ठेकेदारों को काम लेने के पहले ही 3 से 4.5 प्रतिशत का भुगतान करना पड़ रहा था. वीरेंद्र राम ने अपने, अपनी पत्नी राजकुमारी देवी और पिता गेंदा राम के नाम से जमशेदपुर, रांची और दिल्ली में कई संपत्ति खरीद रखी थी. छापेमारी के दौरान डेढ़ लाख के जेवरात और 40 लाख रुपए नकद भी जब्त किए गए हैं. ईडी ने पाया कि वीरेंद्र की पत्नी राजकुमारी देवी ने कई महंगी गाड़ियों व अचल संपत्ति की खरीद की थी. इसका जिक्र आयकर रिटर्न में भी नहीं था. राजकुमारी देवी ने बताया है कि उनके खातों में पति ने पैसे डलवाए इसकी जानकारी उन्हें नहीं थी. वहीं वीरेंद्र राम ने स्वीकार किया कि ठेके में कंपनियों से वह 0.3 फीसदी कमीशन लेते थे. कमीशन की राशि उन्होंने कई बड़े नौकरशाहों, बड़े नेताओं और उनके रिश्तेदारों को भी दी है.
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अब तक क्या-क्या हुआ जब्त
ईडी की छापेमारी में अब तक 40 लाख कैश, 1.52 करोड़ के जेवरात, बेटे आयुष के नाम पर खरीदी गई टोयटा फॉर्च्यूनर, ऑडी एजी, मेसर्स परमानंद सिंह बिल्डर्स प्राइवेट लिमिटेड की फॉर्च्यूनर सिग्मा 4, पत्नी राजकुमारी के नाम पर ऑडी ए 6 35 टीडीआई, पनामति देवी के नाम की स्कोडा सुपर्व, मेसर्स राजेश कुमार कंस्ट्रक्शन प्राइवेट लिमिटेड की इनोवा, गुमला के अंकित साहू की टोयटा. ईडी ने वीरेंद्र राम के भतीजे आलोक रंजन से भी लंबी पूछताछ की है. जानकारी के अनुसार वीरेंद्र राम की कालीकमाई की देखरेख आलोक ही करता था. यहां आपको बता दें कि साल 2019 में एसीबी जमशेदपुर ने जब वीरेद्र राम के मातहत अभियंता सुरेश कुमार वर्मा को गिरफ्तार किया था, तब सुरेश के घर के एक कमरे से 2.67 करोड़ मिले थे.