संघ व्यायामशाला नहीं, राष्ट्रीय परिवर्तन की विचारशाला, गोली से नहीं डरते संघ के कार्यकर्ता- दत्‍तात्रेय होसबले

राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ कल, आज और कल विषय पर बोलते हुए दत्‍तात्रेय होसबले ने कहा- हिंदू धर्म छोड़कर दूसरे धर्म में गए लोगों के लिए घर वापसी के दरवाजे खुले हुए, किसी ने मजबूरी में गौ मांस ही क्यों ना खाया हो, लेकिन किसी कारण से वो गए, तो उनके लिए दरवाजा बंद नहीं कर सकते

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Sarkaryavah of Rashtriya Swayamsevak Sangh Dattatreya Hosabale. राष्‍ट्रीय स्‍वयंसेवक संघ के सरकार्यवाह दत्‍तात्रेय होसबले ने हिन्‍दू धर्म छोड़ कर अन्‍य धर्म अपनाने वालों को लेकर बड़ा बयान दिया है. बीते रोज बुधवार को जयपुर के बिरला ऑडिटोरियम में दीनदयाल स्मृति व्याख्यान का आयोजन में दत्तात्रेय होस्बोले मुख्य वक्ता के तौर पर राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ कल, आज और कल विषय पर अपनी बात रखी. इस दौरान दत्‍तात्रेय होसबले ने कहा कि हिंदू धर्म छोड़कर दूसरे धर्म में गए लोगों के लिए घर वापसी के दरवाजे खुले हुए हैं. गुरु गोलवलकर के विचारों का समर्थन करते हुए दत्‍तात्रेय होसबले कहा कि हिंदू धर्म छोड़कर जो दूसरे धर्मों में गये हैं, उन्होंने मजबूरी में गोमांस भी खाया होगा. भारत विरोधी ताकतें उन्हें हिंदू धर्म में आने नहीं देती हैं, मगर संघ चाहता है कि मतांतरित लोग हिन्दू धर्म मे लौटें.

राष्‍ट्रीय स्‍वयंसेवक संघ के सरकार्यवाह दत्‍तात्रेय होसबले ने कहा कि राष्ट्रीय स्वंयसेवक संघ के कार्यकर्ता गोली से नहीं डरते हैं. संघ कार्यकर्ताओं ने बार-बार साहस दिखाया है. हमें सवर्ण पूंजीपति बताया जाता है. केरल में संघ के 200 से ज्यादा स्वयंसेवकों की हत्या हुई. वामपंथी संघ कार्यकर्ताओं की हत्याएं करते हैं. पंजाब में 12 स्वयंसेवकों को मार दिया गया, लेकिन अगले ही दिन सैकड़ों स्वयंसेवकों ने उसी जगह पर शाखा लगाई. संघ ने हर दर्द को ‘एन्जॉय द पेन’ की तरह सहा है. होसबले ने आगे कहा कि संघ कुछ नहीं करेगा, स्वयंसेवक सब कुछ करेगा.

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अपने संबोधन में संघ सरकार्यवाह दत्‍तात्रेय होसबले ने आगे कहा कि भारत में 600 से अधिक जनजातियां कहती थीं कि हम अलग हैं. भारत विरोधी ताकतों ने उन्हें उकसाने का काम किया था, लेकिन गोलवलकर जी ने उन्हें कहा कि वह हिंदू हैं और उनके लिए दरवाजा बंद नहीं हैं, क्योंकि हम वसुदेव कुटुंबकम की अवधारणा पर काम करते है. दत्तात्रेय ने कहा कि किसी ने मजबूरी में गौ मांस ही क्यों ना खाया हो, लेकिन किसी कारण से वो गए, तो उनके लिए दरवाजा बंद नहीं कर सकते हैं, आज भी उनकी घर वापसी हो सकती है. होसबले ने कहा कि भारत हिन्दू राष्ट्र है, क्योंकि इस देश को बनाने वाले भी हिन्दू हैं. कुछ लोग कहते हैं कि वेद पुराण में हिन्दू नहीं है, लेकिन वेद पुराण में ऐसा भी नहीं कि इन्हें स्वीकार नहीं किया जाए.

दत्‍तात्रेय होसबले ने कहा कि भारत को राष्ट्र बनाने वाले हिन्दू हैं, जिन्हें हम हिन्दू कहते हैं वो हिन्दू हैं. पूरी दुनिया संघ के कार्य को जानती है. जो स्वयंसेवक नहीं थे वो भी संघ की सराहना करते हैं. जो सत्य है वही हिंदुत्व है, जो लोककल्याण है, वही हिन्दुत्व है. पूर्वजों के बनाये गए और बताए गए मार्ग का नाम ही हिन्दुत्व है. उन्होंने कहा कि सत्य और उपयोगी बातों को स्वीकार करना चाहिए.

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‘संघ व्यायामशाला नहीं, राष्ट्रीय परिवर्तन की विचारशाला’
RSS सरकार्यवाह दत्तात्रेय होसबले ने कहा कि संघ कोई व्यायामशाला या सेना नहीं है. संघ राष्ट्रीय परिवर्तन की विचारशाला है. हिन्दू समाज को अपनी भूमिका और दायित्व का बोध कराना ही संघ का लक्ष्य है और लक्ष्य के प्रति विश्वास पैदा करना ही संघ का काम है. इसलिए हजारों कार्यकर्ता संघ के लिए जीवन देने के लिए तैयार हुए. होसबले ने आगे कहा कि संघ के खड़े किए हुए संगठन आज नम्बर एक पर हैं. जो शाखा में नहीं आए उनको संघ ने दूसरे संगठनों से जोड़ा. आदिवासी भी आज खुद को हिन्दू कहने लगे हैं.

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