रोहिणी के प्यार की कहानी..क्या बदलेगी सांसद चंद्रशेखर के राजनीतिक जीवन की कहानी?

नगीना सांसद चंद्रशेखर आजाद पर लगे शोषण के आरोपों के बाद राजनीतिक घेराबंदी की कोशिश में बीजेपी, क्या घटा पाएंगे रावण का कद

Chandrashekhar Azad
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भीम आर्मी प्रमुख और नगीना से सांसद चंद्रशेखर आजाद रावण इन दिनों राजनीति की खबरों में काफी चर्चा में हैं. वजह हैं वो एक बार फिर से किसी विवाद में आना. अब बाद विवाद कोई राजनीतिक नहीं, बल्कि एक लड़की की प्रेम कहानी का है जिसे देश के बाहर से गढ़ा गया है. इंदौर की रहने वाली और स्विट्जरलैंड में रह रही डॉ.रोहिणी घावरी ने आजाद पर भावनात्मक और मानसिक शोषण का गंभीर आरोप लगाया है. साथ ही दलितों के साथ धोखा करने का भी आरोप जड़ा है. अब वो इस मामले को कोर्ट में ले जाने की तैयारी कर रही है. वहीं नगीना सांसद ने भी इसका जवाब कोर्ट में ही देने की बात कहकर मामले को गर्मा दिया है.

रोहिणी और चंद्रशेखर विवाद का पूरा केंद्र बिंदू इंदौर के सफाईकर्मी की बेटी रोहिणी घावरी है. उन्होंने अचानक से अपने सोशल मीडिया अकाउंट पर चंद्रशेखर के साथ कुछ तस्वीरे और चैट के स्क्रीनशॉट डाले, जिसमें वो दोनों के रिलेशन से लेकर दलित आंदोलन तक धोखा देने के आरोप चंद्रशेखर पर लगा रही है. रोहिणी का ये भी आरोप है कि उनके अलावा कुछ और लड़कियों का शोषण भी नगीना सांसद ने किया है, जो उनके संपर्क में है. रोहिणी का ये भी कहना है कि रिलेशनशिप के दौर चंद्रशेखर ने अपनी शादी की बात छुपाई और बाद में उन्हें बीच मझधार में छोड़ दिया जिससे वे डिप्रेशन का शिकार भी हुईं. उन्होंने सांसद पर समर्थकों के जरिए धमकियां देने का आरोप भी लगाया है. कथित तौर पर रोहिणी अब अपने आत्मसम्मान की लड़ाई लड़ रही है.

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बता दें, रोहिणी पहली बार तब चर्चा में आई थीं जब उन्‍होंने संयुक्त राष्ट्र में अपनी स्‍पीच की शुरुआत ‘जयश्री राम’ के उदघोष से की. इस भाषण ने उन्हें अंतराष्ट्रीय मंच पर एक पहचान दिलाई थी. रोहिणी स्कॉलरशिप से स्विट्जरलैंड में पीएचडी पूरी करने के बाद वहीं जॉब कर रही हैं. वह वहां दलितों के लिए एक एनजीओ भी चलाती हैं और इसी के चलते वे 2021 में चंद्रशेखर से मिली थीं.

लंबी चुप्पी के बाद अब सांसद चंद्रशेखर आजाद का जवाब भी आया है. उन्होंने कहा, ‘ये महिला सम्मान का विषय है. चूंकि ये मेरा व्यक्तिगत मामला है इसलिए मैं जो भी बात कहूंगा वो महिला का सम्मान रखते हुए, उसके गरिमा का सम्मान रखते हुए मैं कोर्ट में ही अपनी बात रखूंगा.’

चंद्रशेखर की राजनीतिक घेराबंदी की कोशिश

विवादों में आने के तुंरत बाद ही चंद्रशेखर आजाद रावण की राजनीतिक घेराबंदी की तैयारियां शुरू हो गयी हैं. कैसरगंज से पूर्व सांसद बृजभूषण शरण सिंह ने चंद्रशेखर पर बड़ा हमला बोलते हुए तत्काल एफआईआर दर्ज करने की मांग की. बीजेपी नेता ने कहा कि सरकार को भी इस मामले में मौन धारण नहीं करना चाहिए, बल्कि गंभीरता से संज्ञान लेकर कार्यवाही करनी चाहिए. दलित बेटी की आवाज को दबाने की कोशिश नहीं होनी चाहिए. अगर सच सामने आता है तो जांच के बाद कार्रवाई जरूर होनी चाहिए.

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बृजभूषण ने चंद्रशेखर पर निशाना साधते हुए कहा, ‘जनवरी 2023 में जब मुझ पर आरोप लगे थे तो यही चंद्रशेखर मुझे घसीटने की बात कर रहे थे. आज जब खुद पर आरोप लगे हैं तो वो चुप क्यों हैं? तब जाट बेटियों की बात थी, आज दलित बेटी की आवाज उठ रही है. क्या अब उनका वही साहस है?’ उन्होंने अन्य विरोधी दलों पर भी सवाल उठाते हुए कहा कि अब वे तमाम लोग जो न्याय की दुहाई देते हैं, वे सब मौन क्यों हैं – कांग्रेस, आम आदमी पार्टी, किसान नेता, ममता बनर्जी, अशोक गहलोत सबकी चुप्पी क्यों? पूर्व सांसद ने कहा कि एफआईआर दर्ज हो, जांच हो, दोषी साबित हो तो सख्त कार्रवाई हो, लेकिन चुप्पी नहीं चलेगी. अब देखना ये होगा कि क्या ये आरोप चंद्रशेखर आजाद उर्फ रावण की राजनीति पर कोई असर डालते हैं या फिर ये कहानी भी महज एक कहानी बनकर ही किताबों के पन्नों पर दर्ज होकर रह जाएगी.

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