Rajasthan_News CM Ashok Gehlot. कुछ दिनों बाद चुनावी साल में प्रवेश करने जा रही प्रदेश की कांग्रेस सरकार के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने 500 रुपए में घरेलू गैस सिलेंडर देने का ऐलान करते हुए अपना सबसे बड़ा मास्टर स्ट्रोक खेला है. सीएम गहलोत ने जनता की उस दुखती रग पर मर्म रख दिया है, जिसे बीजेपी छेड़ना तो दूर, सोचना भी नहीं चाहेगी. हालांकि ये योजना केवल BPL और उज्ज्वला योजना के अंतर्गत आने वाले लोगों तक सीमित है, फिर भी अगर ये योजना ठीक ढंग से पटल पर उतरी तो महिला वर्ग का वोट शेयर तो कांग्रेस के खाते में जाना पक्का है. सीएम गहलोत द्वारा देश में सबसे पहले पुरानी पेंशन योजना लागू करने के बाद अगर 500 रुपए में गैस सिलेंडर की यह योजना पटल पर साकार होती है तो इसमें कोई दो राय नहीं है कि बीजेपी का प्रदेश में सत्ता का स्वप्न केवल सपना बनकर ही रह जाएगा.
आपको बता दें कि बीते रोज सोमवार को राहुल गांधी की भारत जोड़ो यात्रा जब अलवर पहुँची, तब मालाखेड़ा में हुई एक विशाल जनसभा में मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने हजारों की भीड़ के सामने ये ऐलान करते हुए महंगाई के नीचे दबी प्रदेश की जनता को राहत की रोशनी दिखाई कि सरकार 1040 रुपए के सिलेंडर को 500 रुपये में देगी. सीएम गहलोत ने चुनावी साल से पहले गरीबों को यानी BPL और उज्ज्वला योजना के अंतर्गत आने वाले लोगों को बड़ी राहत देते हुए कहा कि देश में महंगाई की मार से आमजन त्रस्त है, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने उज्ज्वला योजना के नाम पर नाटक किया था. आज गैस सिलेंडर 1036 रुपये का मिल रहा है. ऐसे में मैं अगले महीने बजट पेश करुंगा, मैं ज्यादा घोषणा नहीं करना चाहता, लेकिन मैं घोषणा करता हूं कि एक अप्रैल से बीपीएल और उज्जवला योजना में आने वाले परिवारों को 500 रुपये प्रति सिलेंडर की दर से देंगे, जबकि इस समय इस सिलेंडर की कीमत करीब 1040 रुपये है.
सीएम अशोक गहलोत की इस घोषणा के बाद से प्रदेश की जनता के चेहरे पर खुशी साफ तौर पर झलक रही है. 2014 में केंद्र में बीजेपी सरकार बनने के समय गैस सिलेंडर का दाम करीब 420 रुपए के करीब था. इसके बाद मोदी सरकार ने एक साथ 250 रुपए गैस सिलेंडर पर बढ़ाकर 150 रुपए की सब्सिडी बैंक खाते में डलवाना शुरू किया. बाद में लोगों से सब्सिडी छोड़ने की अपील की. कोरोना संकट के समय जब जनता घरों में बंद थी, गैस के दाम बढ़ते गए और सब्सिडी भी बंद कर दी गई. वर्तमान में गैस सिलेंडर का दाम 1040 रुपए है और सब्सिडी अभी भी बंद है. ऐसे में गहलोत ने 500 रुपए में गैस सिलेंडर देने का वादा कर महिला वर्ग के साथ BPL और उज्ज्वला योजना के अंतर्गत आने वाले क्लास को साधने का ट्रंप कार्ड खेल दिया है.
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हालांकि कैटेगिरी वाइज सिलेंडर देने वाली बात के साथ ये योजना पटल पर उतरती है और साथ में अगर मिडिल क्लास के लिए भी लागू की जाती है तो कांग्रेस का सत्ता वापसी का रास्ता एकदम साफ है.
आपको बता दें कि पुरानी पेंशन योजना (OPS) लागू करने के बाद गैस सिलेंडर के दामों में कटौती वाला दांव खेलकर मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने सीधे-सीधे केंद्र सरकार की योजनाओं को टक्कर दी है. आपको बता दें बीती 23 फरवरी को मुख्यमंत्री अशोक गहलोत साल 2022-23 का बजट पेश करने के दौरान राजस्थान विधानसभा उस समय तालियों और टेबल की आवाजों से गूंज उठी, जब सीएम अशोक गहलोत ने कर्मचारियों की वेतन कटौती का 2017 का फैसला वापस लेते हुए वंचित कर्मचारियों को 7वें वेतनमान की घोषणा की. इस दौरान कर्मचारियों को पुरानी पेंशन योजना पर सबसे ज्यादा देर टेबल बजाकर विधायकों ने स्वागत किया, जिसका लाभ 1 जनवरी 2004 के बाद हुई नियुक्तियों में भी मिलेगा. मुख्यमंत्री गहलोत के इस सियासी कार्ड ने पूरे प्रदेश भर के कर्मचारियों के घरों में खुशी का माहौल बना दिया था और बाद में राजस्थान के साथ-साथ अन्य राज्यों में भी OPS की मांग उठने लगी और कुछ राज्यों में तो राजस्थान की तर्ज पर इसे तत्काल लागू भी कर दिया गया है. वजिन8अब पूरे देश में OPS सिस्टम को लागू करने के लिए केन्द्र की मोदी पर जबरदस्त दबाव बनाया जा रहा है.
हालांकि गैस सिलेंडर के दाम निर्धारित करने में राज्य सरकार का कोई हाथ नहीं होता लेकिन आधे दाम में घरेलू गैस सिलेंडर देने का गहलोत का ये दांव बीजेपी पर निश्चित तौर पर भारी पड़ने वाला है. मुख्यमंत्री गहलोत के इस ऐलान के बाद बीजेपी नेताओं की भी नींद उड़ गई है. पेट्रोल-डीज़ल हो या गैस सिलेंडर या अन्य खाद्य पदार्थों के दामों में वृद्धि से व्याप्त महंगाई, इस मुद्दे पर बीजेपी कभी बात नहीं करेगी क्योंकि ये ही एक मुद्दा है, जिसका जवाब बीजेपी के किसी नेता के पास नहीं है. इस बात का जनता में गुस्सा भी बहुत है. जनता की इसी दुखती रग पर सियासत के जादूगर अशोक गहलोत ने राहत भरा मरहम लगाने का वादा किया है, जिससे प्रदेश भाजपा में भी खलबली मच गई है.
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प्रदेश की विधानसभा में उपनेता प्रतिपक्ष राजेंद्र सिंह राठौड़ ने गहलोत के इस वादे को झूठा बताते हुए इस योजना के कभी धरातल पर न उतरने की बात कही है. बीजेपी नेता ने कहा कि गहलोत की ये योजना सफल नहीं हो सकती.
कुल मिलाकर बात यही है कि OPS के बाद अब अगर मुख्यमंत्री अशोक गहलोत द्वारा आधे दाम यानी 500 रुपए में घरेलू गैस सिलेंडर देने का वादा पूरा कर दिखाते हैं तो कांग्रेस की सत्ता वापसी काफी हद तक आसान हो जाएगी. वैसे भी एक मीडिया सर्वे ने प्रदेश की 49 फीसदी जनता अपने मुख्यमंत्री के काम से खुश है लेकिन सरकार में नेताओं की बयानबाजी और अन्य बातों से उलझन में है. अगर कांग्रेस 500 रुपए में गैस सिलेंडर की इस योजना को गंभीरता से लेती है और गरीब तबके के साथ मिडिल क्लास को भी योजना में शामिल करती है तो बीजेपी का इस बार सत्ता हासिल करने का स्वप्न केवल सपना बनकर ही रह जाएगा.