Politalks.News/Bihar. देश में इन दिनों चुनवी राज्य गुजरात और हिमाचल प्रदेश के साथ साथ बिहार में भी सियासी घमासान अपने चरम पर है. जब से सूबे के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने बीजेपी के साथ गठबंधन तोड़ राजद के साथ सरकार बनाई है तभी से प्रदेश में सियासी उहापोह की स्थिति बनी हुई है. बीजेपी लगातार प्रदेश की महागठबंधन सरकार पर हमलावर है तो वहीं प्रदेश में मंगलराज के जाने और जंगलराज के आने की बात कह रही है. तो वहीं अब बीजेपी को उनके पुराने चुनावी रणनीतिकार प्रशांत किशोर का भी कहीं ना कहीं साथ मिल रहा है. जबसे प्रदेश में सत्ता परिवर्तन हुआ है तब से प्रशांत किशोर मुख्यमंत्री नीतीश कुमार पर हमलवार है. इसी कड़ी में बुधवार को प्रशांत किशोर ने बड़ा बयान देते हुए प्रदेश की सियासत में हड़कंप मचा दिया. पीके ने कहा, ‘मुख्यमंत्री नीतीश कुमार भारतीय जनता पार्टी के संपर्क में हैं और वे फिर से उस पार्टी के साथ गठजोड़ कर सकते हैं.’ वहीं पीके के इस बयान को जदयू ने बेबुनियाद बताया.
प्रशांत किशोर इन दिनों बिहार में पदयात्रा कर रहे हैं. पीके की इस यात्रा को सक्रिय राजनीति में आने के पहले के कदम के तौर पर देखा जा रहा है. यही कारण है कि वे बिहार में खुद को मजबूत करने पर तुले हैं और ये बात वे भलीभांति जानते हैं कि राजद और जदयू दोनों को किनारे लगाकर ही वे ऐसा कर सकते हैं. यही वजह है कि पिछले कुछ दिनों से वे मुख्यमंत्री नीतीश कुमार पर निशाना साध रहे हैं. बुधवार को प्रशांत किशोर ने बड़ा बयान देते हुए बिहार की सियासत में तूफ़ान ला दिया है. PTI को दिए अपने बयान में प्रशांत किशोर ने कहा कि, ‘बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार भारतीय जनता पार्टी के संपर्क में हैं और अगर स्थिति की मांग हुई तो वह फिर से उस पार्टी के साथ गठजोड़ कर सकते हैं. नीतीश कुमार ने जेडीयू सांसद और राज्यसभा के उपसभापति हरिवंश के जरिए बीजेपी के साथ संवाद के लिए एक रास्ता खुला रखा है.’
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चुनावी रणनीतिकार प्रशांत किशोर ने आगे कहा कि, ‘जो लोग यह सोच रहे हैं कि नीतीश कुमार भाजपा के खिलाफ राष्ट्रीय गठबंधन बनाने के लिए पूरी कोशिश कर रहे हैं, वे यह जानकर चकित रहे जाएंगे कि उन्होंने भाजपा के साथ रास्ता खुला रखा है. लोगों को यह बात ध्यान में रखनी चाहिए कि जब भी ऐसी कोई परिस्थिति आती है, तो वह भाजपा की ओर वापस जा सकते हैं और उसके साथ काम कर सकते हैं.’ वहीं भेड़ीहरवा पंचायत के बैतापुर गांव में लोगों को संबोधित करते हुए प्रशांत किशोर ने कहा कि, ‘यह कैसे संभव है कि कोई व्यक्ति आपको 1-2 बार नहीं बल्कि पिछले 30 सालों से लगातार ठग रहा है. मैंने पदयात्रा के दौरान लोगों से बात की, उनसे पूछा कि जब वह काम नहीं करते तो आप वोट क्यों दे रहे हैं, तो जवाब में उन्होंने कहा कि उनके पास कोई और दूसरा विकल्प नहीं है.’
वहीं प्रशांत किशोर के इस बयान पर जदयू की तरफ से भी प्रतिक्रिया सामने आई है. पार्टी के प्रवक्ता और सीनियर लीडर केसी त्यागी ने कहा कि, ‘मुख्यमंत्री सार्वजनिक रूप से यह घोषणा कर चुके हैं कि वे अपने जीवन में कभी बीजेपी के से हाथ नहीं मिलाएंगे. मैं एक बार फिर प्रशांत किशोर के दावों का खंडन करता हूं. नीतीश कुमार 50 साल से अधिक वक्त से सक्रिय राजनीति में हैं और पीके ने छह माह पहले से राजनीति शुरू की है. पीके का यह दावा भ्रम फैलाने वाला है.’
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बता दें कि प्रशांत किशोर ने अपनी पदयात्रा दो अक्टूबर को पश्चिम चंपारण के भितिहरवा स्थित गांधी आश्रम से शुरू की है. वह व्यवस्था में ‘बदलाव’ की खातिर लोगों के समर्थन के लिए अगले 12-15 महीनों में 3,500 किलोमीटर की यात्रा करेंगे.