Harish Chaudhary on Ashok Gehlot. कभी मुख्यमंत्री अशोक गहलोत के नजदीकी नेताओं में शामिल रहे राजस्थान के बायतू विधानसभा से कांग्रेस विधायक हरीश चौधरी ने पिछले कुछ समय से सीएम गहलोत के खिलाफ मोर्चा खोल रखा है. वहीं बहुचर्चित कमलेश प्रजापति एनकाउंटर मामले में गहलोत सरकार द्वारा दिए गए सीबीआई जांच के आदेश के बाद से हरीश चौधरी ने सीएम गहलोत को निशाने पर ले रखा है. इसी सिलसिले में मंगलवार को बाड़मेर के सिवाना में एक कार्यक्रम में बोलते हुए हरीश चौधरी ने नाम लिए बिना सीएम अशोक गहलोत पर निशाना साधा है. विधायक हरीश चौधरी ने सवाल करते हुए कहा कि मेरी सीबीआई जांच करवाने वाले जवाब दें. उन्होंने कहा कि कई और सवाल हैं, जब सवाल करते हैं तो सही जगह उत्तर देने की जगह उसका जवाब और कहीं मिल जाता है. मैंने एक सवाल उठाया कि जिन्होंने भी मेरे खिलाफ सीबीआई की इंक्वायरी करवाई और ये सवाल जिंदा रखूंगा, जब तक जवाब नहीं मिलेगा.
आगे बढ़ने से पहले आपको बता दें कि मई 2021 में बाड़मेर में हुए कमलेश प्रजापति के एनकाउंटर पर विपक्ष के साथ ही हरीश चौधरी के विरोधियों ने भी उनकी भूमिका होने का आरोप लगाया था. बाद में प्रजापत के परिजनों और सामाजिक संगठनों ने पूरे मामले की सीबीआई जांच की मांग को लेकर मुहीम चला दी रही. ऐसे में दबाव में आई गहलोत सरकार ने इस मामले को सीबीआई जांच के लिए सौंप दिया था. उस दौरान कमलेश प्रजापति एनकाउंटर मामले में हरीश चौधरी के खिलाफ मुहीम में मानवेंद्र सिंह का समर्थन होने को लेकर कयास लगाए गए थे. वहीं बीते रोज मंगलवार को हरीश चौधरी ने उन चर्चाओं को सिरे से खारिज करते हुए इस मामले में मानवेंद्र सिंह की कोई भूमिका होने से साफ इनकार कर दिया.
सिवाना में आयोजित एक कार्यक्रम में बोलते हुए पंजाब कांग्रेस प्रभारी और बायतु विधायक हरीश चौधरी ने बिना नाम लिए सीएम अशोक गहलोत पर निशाना साधा. चौधरी ने कहा कि वो लोग लड़वाना चाहते हैं, लड़वाना इसलिए चाहते हैं कि जो मूल मुद्दा और जो मूल बात है, उस तक हम नहीं पहुंचें. मैं उनको चेतावनी देना चाहता हूं, जो सच्चाई है, वह सच्चाई रहेगी. सच्चाई को हम लोगों के बीच गलतफहमी और विवाद पैदा करके कम नहीं कर सकते. मैं उसका उत्तर भी दूंगा, तथ्यों के आधार पर और पूरी जानकारी के आधार पर जवाब दूंगा, बस थोड़ा इंतजार कीजिए.
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मानवेंद्र सिंह की भूमिका को स्पष्ट करते हुए कांग्रेस विधायक हरीश चौधरी ने कहा कि, ‘उस दिन मेरे मंच पर मानवेंद्र सिंह बैठे थे और जो विवाद करवाने वाले थे, उन्होंने क्या विवाद करवाया कि हरीश मानवेद्र सिंह के बारे कह रहा है.’ उन्होंने कहा कि हरीश चौधरी कभी इशारों से बात नहीं करता. मानवेंद्र की बात होती तो उसी मंच से कहता कि क्या आप शामिल थे या नहीं थे. मैं आज कहता हूं मानवेंद्र सिंह मेरे खिलाफ सीबीआई जांच करवाने में शामिल नहीं थे.
यह पहला मौका नहीं है जब हरीश चौधरी ने मुख्यमंत्री अशोक गहलोत के खिलाफ मोर्चा खोला है. इससे पहले चौधरी ने हनुमान बेनीवाल की राष्ट्रीय लोकतांत्रिक पार्टी को सीएम गहलोत द्वारा प्रायोजित पार्टी बताया था. इससे पहलेहरीश चौधरी ने सीएम गहलोत पर धोखा देने तक के आरोप लगाकर नवंबर में मोर्चा खोला था. इसके बाद से लगातार हरीश चौधरी तल्ख तेवर अपनाए हुए हैं. ओबीसी आरक्षण के मुद्दे पर हरीश चौधरी ने तल्ख तेवर दिखाए थे. गौरतलब है कि हरीश चौधरी पहले सीएम अशोक गहलोत खेमे में थे. नवंबर 2021 तक वे राजस्व मंत्री थे. बाद में पंजाब कांग्रेस के प्रभारी की जिम्मेदारी का हवाला देकर मंत्री पद छोड़ दिया.
वहीं पिछले दिनों राहुल गांधी की भारत जोड़ो यात्रा के दौरान सचिन पायलट से हरीश चौधरी की लंबी मुलाकात भी सियासी चर्चा का मुद्दा बनी हुई है. कहा जा रहा है कि हरीश चौधरी अब पायलट खेमे की तरफ जा रहे हैं. हांलाकि मुलाकातें पहले भी हुई हैं लेकिन अब सियासी नजदीकियां बढ़ने के संकेत मिल रहे हैं. हाल ही में विधानसभा में राज्यपाल के अभिभाषण पर बहस में भी विधायक चौधरी पेपरलीक मामलों की सीबीआई जांच पर अपनी ही सरकार को घेरने का काम कर चुके हैं.