राज्यसभा में जम्मू-कश्मीर में राष्ट्रपति शासन की मियाद और 6 महीने बढ़ाने के प्रस्ताव को ध्वनिमत से मंजूरी दे दी गई. इसके साथ ही जम्मू- कश्मीर आरक्षण संशोधन बिल को भी उच्च सदन से निर्विरोध पारित कर दिया गया.

आरक्षण बिल पहले ही लोकसभा से पारित हो चुका है और राज्यसभा में किसी भी दल ने इस बिल का विरोध नहीं किया. इसके बाद सभापति ने सदन की कार्यवाही मंगलवार सुबह 11 बजे तक के लिए स्थगित कर दी.

इससे पहले राज्यसभा में दोनों बिल पास होने के बाद अमित शाह ने सभी राजनीतिक दलों का धन्यवाद करते हुए कहा कि मोदी सरकार जम्मू—कश्मीर में शांति, समृद्धि और विकास के लिए कोई कसर नहीं छोड़ेगी.

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