Politalks.News/Chattisgarh. आईटी की रेड और चिटफंड कंपनियों में 6 हजार करोड़ के घोटालों को लेकर छत्तीसगढ़ की सियासत गर्म हो गई है. कांग्रेस और बीजेपी दोनों ही दलों ने इसे लेकर एकदूसरे के खिलाफ मोर्चा खोल रखा है. आयकर विभाग की कार्रवाई में 200 करोड़ रुपये के बेनामी लेन-देन, 9.50 करोड़ रुपये कैश और 5 करोड़ की गोल्ड व ज्वेलरी को लेकर भारतीय जनता पार्टी प्रदेश की भूपेश सरकार पर हमलावर है. जिन कारोबारियों व अफसर के घरों व दफ्तरों में छापा पड़ा उन्हें कांग्रेस पार्टी के नेताओं का करीबी बता रहे हैं. वहीं कांग्रेस प्रवक्ता ने एक कारोबारी जिसके घर छापा पड़ा है उसकी सोशल मीडिया पर भाजपा नेताओं के साथ फोटो शेयर कर प्रदेश की राजनीति को गरमा दिया है. प्रदेश कांग्रेस के प्रवक्ता आरपी सिंह ने कुछ फोटोज ट्वीट करते हुए लिखा- ‘ये मुलाकात एक बहाना है… प्यार का सिलसिला पुराना है…. इन तस्वीरों के बारे में भाजपा को क्या कहना है?’ तो वहीं सूबे के पूर्वं मुख्यमंत्री रमन सिंह ने कहा कि, ‘फोटो दिखाने की जरूरत नहीं है, भूपेश जी…. उसको अरेस्ट करो, जो आपके बगल में रहता है.’
आपको बता दें, पिछले कुछ दिनों से छत्तीसगढ़ में आयकर विभाग की कार्रवाई लगातार जारी है. 6 जिलों में 30 से अधिक कारोबारियों व एक सरकारी अफसर के ठिकानों पर अधिकारीयों की जांच चल रही है. इन कारोबारियों के संबंध एक राजनीतिक पार्टी से जुड़े होने की बात सामने आ रही है. आईटी टीम को अभी तक 200 करोड़ रुपये से अधिक कलेक्शन के सबूत मिले हैं वहीं कारोबारियों के घरों को पूरी तरह सील कर दिया गया है. जांच में सरकारी अधिकारियों को किए गए नकद भुगतान का भी पता चला है. आयकर विभाग की इस कार्रवाई को लेकर प्रदेश में सियासत भी चरम पर है. कोयला कारोबार से जुड़े सूर्यकांत तिवारी की तस्वीरें कांग्रेस और भाजपा के नेता जारी कर रहे हैं. एक दूसरे को घेरने के चक्कर में ये भी बताया जा रहा है कि भाजपा और कांग्रेस के दौर में सूर्यकांत के रुतबे का सुर्य चमकता रहा. कोयले के कारोबार में भ्रष्टाचार की कालिख लगी तो अब इस सूर्य की चमक किसी को रास नहीं आ रही.
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बीजेपी पर निशाना साधते हुए प्रदेश कांग्रेस के प्रवक्ता आरपी सिंह ने अपने ट्विटर अकाउंट पर कुछ तस्वीरें साझा की. इसमें सूर्यकांत तिवारी डॉ रमन सिंह, BJP के बड़े नेता सौदान सिंह, अभिषेक सिंह, केदार कश्यप, अजय चंद्राकर के साथ दिख रहा है. इसे लेकर RP सिंह ने ट्वीट करते हुए लिखा कि, ‘ये मुलाकात एक बहाना है… प्यार का सिलसिला पुराना है…. इन तस्वीरों के बारे में भाजपा को क्या कहना है? पूछता है छत्तीसगढ़….’ आरपी सिंह ने एक दूसरे ट्वीट को पार्ट-2 नाम से शेयर कर लिखा, ‘कल कुछ तस्वीरों के सामने आने के बाद भाजपाइयों के मुंह में दही जम गई थी. लेकिन कुछ इसके बाद भी बाज नहीं आए, इसलिए इन तस्वीरों को देख लीजिए. अगर मन भर गया हो तो ठीक है, नहीं तो आगे भी तस्वीरों के सामने आने का सिलसिला जारी रहेगा.’
कांग्रेस नेता द्वारा तस्वीरें जारी करने के बाद सूबे के पूर्व मुख्यमंत्री एवं बीजेपी के दिग्गज नेता रमन सिंह ने कहा कि, ”फोटो दिखाने की जरूरत नहीं है, भूपेश जी…. उसको अरेस्ट करो, जो आपके बगल में रहता है. कभी फोटो खिंचवा लिया होगा, मगर फोटो जारी करने से क्या होगा, आप तो मामला डायवर्ट करने की कोशिश में हैं. आईटी की रेड में जो सबूत मिले हैं, उस पर आपने क्या किया है वो बताएं. आईटी में सबूत मिले हैं अब तो मामला आगे ED तक भी जाता है. वो अवैध कारोबार में संलिप्त था तो उसे अरेस्ट करो.’ फोटो वॉर पर पूर्व मंत्री मूणत ने सूर्यकांत को कांग्रेस का करीबी बताते हुए पूछा कि, ‘कांग्रेस स्पष्ट करे कि उसके कांग्रेस से क्या रिश्ते हैं.’ वहीं पूर्व मंत्री व भाजपा प्रवक्ता राजेश मूणत ने कांग्रेस प्रवक्ता पर पलटवार करते हुए कहा कि, ‘कांग्रेस पार्टी के प्रवक्ता आरपी सिंह ने सूर्यकांत के साथ भाजपा नेताओं के फोटो हैं. स्वाभाविक हैं हम जनप्रतिनिधि हैं तो वो मिलने आए हों. लेकिन कांग्रेस पार्टी के मुख्यमंत्री और कांग्रेस स्पष्ट करे कि सूर्यकांत तिवारी के साथ उनके क्या रिश्ते हैं.’
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बीजेपी नेता राजेश मूणत ने कहा कि, ‘आयकर विभाग की कार्रवाई में जो दस्तावेज बरामद हुए हैं वो किससे ताल्लुक रखते हैं. हमारी फोटो जारी करने से सच्चाई छिप नहीं सकती. सूर्यकांत का कांग्रेस पार्टी से क्या संबंध है मुख्यमंत्री और कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष मोहन मरकाम बताएं.’ इससे पहले बुधवार को बिलासपुर से रायपुर लौटने के बाद सूबे के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने डॉ. रमन सिंह व भाजपा पर हमला बोला था. उन्होंने कहा था कि सीएम सर कौन हैं… सीएम मैडम कौन हैं… यह ईडी को बताना चाहिए क्योंकि अब तो केस भी ईडी के पास है. दूसरी बात चिटफंड कंपनियां आम जनता की हजारों करोड़ रुपये लूटकर ले गए, ब्रांड एंबेसडर कौन थे? रमन सिंह, उसके परिवार के लोग, उनका सांसद बेटा… और खूब प्रचार किए. मैं ईडी से निवेदन करता हूं, केंद्र सरकार से आग्रह करता हूं. चिटफंड कंपनियां 6 हजार करोड़ लेकर भागी हैं. हमने संपत्ति खोजा तो 40 करोड़ रुपये मिला है, लेकिन आंकड़ा तो 6 हजार करोड़ का है. इसका मतलब मनी लॉड्रिंग हुई है. इस मामले में ईडी को जांच में लेकर कार्रवाई करनी चाहिए, क्या रमन सिंह इसके लिए तैयार हैं?’