Politalks.News/Rajasthan/Gehlot. इसे सचिन पायलट समर्थकों का खौफ कहा जाए या कुछ और कि अब राजस्थान में कांग्रेस सरकार के कार्यक्रमों, सभाओं और रैलियों के दौरान नारेबाजी पर पाबंदी लगाई जा रही है. यदि नारे लगेंगे भी तो सिर्फ वो जो स्थानीय विधायक या पार्टी नेता आपको पहले से बता देंगे वो, और अगर किसी ने किसी और नेता के पक्ष में नारा लगा दिया या अन्य किसी प्रकार की नारेबाजी कर दी तो फिर राजस्थान पुलिस आपको उठा ले जाएगी. आपको यकीन नहीं हो रहा होगा क्योंकि नारेबाजी पर पाबंदी वाली बात आपको बिलकुल फ़िल्मी लग रही होगी, लेकिन ये सच है. मुख्यमंत्री अशोक गहलोत के नजदीकी माने जाने वाले निर्दलीय विधायक और हाल ही में बनाए गए सीएम सलाहकार बाबूलाल नागर ने मंगलवार को दूदू में भरेमंच से जनता को सीधा धमकाते हुए पुलिस से उठवाने की धमकी दे दी. बाबूलाल नागर ने लोगों को धमकाते हुए कहा कि, यहां से किसी को नारा लगाना है तो केवल राजीव गांधी अमर रहे और अशोक गहलोत जिंदाबाद का ही नारा लगाना है. अगर किसी ने इन दो के अलावा तीसरा नारा लगाया तो पुलिस उठा ले जाएगी, बंद कर देगी और केस लग जाएगा बाद में मुझे मत कहना.
इस पर कुछ सुधिजन राजनीतिज्ञों का कहना है कि बीते रोज सोमवार को स्वर्गीय कर्नल किरोड़ी सिंह बैंसला के अस्थि विसर्जन कार्यक्रम के तहत पुष्कर में जो जूता उछाल और नारेबाजी का घटनाक्रम हुआ, उससे सबक लेते हुए पूर्ववर्ती गहलोत सरकार में मंत्री रह चुके दूदू विधायक बाबूलाल नागर ने बिना कोई रिस्क लेते हुए आज यानी मंगलवार को दूदू में होने वाली मुख्यमंत्री अशोक गहलोत की सभा से पहले सभास्थल पर मौजूद भीड़ को सीएम गहलोत के आने से पहले ही सीधी धमकी देते हुए चुप करा दिया. दरअसल, दूदू में सचिन पायलट समर्थकों की अच्छी खासी संख्या है. ऐसे में बाबूलाल नागर को पायलट समर्थकों की नारेबाजी का डर था, इसलिए पहले से ही अच्छी तरह पड़ताल करने के अलावा जनता को भी दूसरे नेता के पक्ष में नारेबाजी नहीं करने के लिए सरेआम माइक से पुलिस से उठवाने तक की धमकी ही दे डाली.
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मुख्यमंत्री अशोक गहलोत के सभास्थल पर पहुंचने से ठीक पहले विधायक बाबूलाल नागर ने सभा में पहुंचे लोगों से कहा कि, ‘कोई किसी के नारे नहीं लगाएंगे, दो नारे मैंने बताए हैं, एक राजीव गांधी अमर रहे और दूसरा अशोक गहलोत जिंदाबाद, तीसरा कोई किसी का नारा नहीं लगाएगा. तीसरा नारा लगाना है तो उठकर जा सकता है. फिर मुझे दोष मत देना. अगर किसी ने नारा लगा दिया पुलिसवाले उठा ले जाएंगे, बंद कर देंगे और सरकारी केस लग जाएगा. केवल आपको ताली बजानी है बस. नारे केवल दो ही लगेंगे.’ यही नहीं बाबूलाल नागर ने आगे लोगों को नसीहत देते हुए कहा कि, ‘आपके ब्लोकों में कोई न्यूसेंस करे तो इशारा करो तत्काल. कई बार पड़ौसी न्यूसेंस कर दे तो जिसने गलती नहीं की वह लपेटे में आज जाता है. पिछले 24 साल का इतिहास है, मेरे किसी कार्यक्रम में अनुशासनहीनता नहीं हुई और न मैं इसे बर्दाश्त करता हूं.’
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आपको बता दें, मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने आज दूदू में ब्लॉक स्तरीय ग्रामीण ओलंपिक खेल प्रतियोगिता का उद्घाटन समारोह में शिरकत की और इसके साथ कई विकास के कामों का लोकार्पण और शिलान्यास भी किया. वहीं दूदू से निर्दलीय विधायक बाबूलाल नागर शुरू से ही सीएम अशोक गहलोत के नजदीकी रहे हैं. सीएम गहलोत की पिछली सरकार में बाबूलाल नागर खाद्य मंत्री थे, उस दौरान एक महिला ने उन पर रेप का आरोप लगाया था जिसके बाद वे जेल गए थे, हालांकि बाद में उन्हें बरी कर दिया गया था. 2018 के विधानसभा चुनावों में बाबूलाल नागर को कांग्रेस ने टिकट नहीं दिया था तो वे बागी होकर निर्दलीय लड़े और जीते. इससे पहले बाबूलाल नागर कांग्रेस की टिकट पर दूदू से तीन बार विधायक रह चुके हैं.