Politalks.News/UttarPradesh. उत्तरप्रदेश विधानसभा चुनाव (UttarPradesh Assembly Election) से पहले सभी राजनीतिक दल अपनी अपनी रणनीति के तहत आगे बढ़ रहे हैं. भारतीय जनता पार्टी (BJP) जहां अपने पुराने साथियों के साथ चुनावी रण में उतर चुकी है. तो वहीं कांग्रेस (Congress) और बसपा (BSP) ने अकेले चुनावी मैदान में उतरने की घोषणा कर दी है. वहीं समाजवादी पार्टी (Samajwadi Party)प्रदेश के छोटे छोटे दलों से के साथ गठबंधन कर अपनी नींव को मजबूत करने की जुगत में लगी है. सपा और प्रसपा (PSP) में गठबंधन हो चुका है. ऐसे में सूबे के पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव (Akhilesh Yadav) के चाचा शिवपाल यादव (Shivpal Yadav) ने बुधवार को बड़ा बयान देते हुए कहा कि, ‘हमने तो अखिलेश यादव को अपना मुख्यमंत्री (Chief Minister) मान लिया है.’
उत्तरप्रदेश विधानसभा चुनाव से पहले ये कयास लगाए जा रहे थे प्रगतिशील समाजवादी पार्टी के मुखिया शिवपाल यादव अपनी पार्टी का विलय सपा में कर लेंगे. लेकिन 16 दिसंबर को खुद अखिलेश यादव ने ना सिर्फ अपने चाचा के घर जाकर उनसे मुलकात की बल्कि ट्वीट करते हुए दोनों पार्टियों के गठबंधन का एलान भी कर दिया था. ऐसे में अब सियासी गलियारों में सवाल ये उठ रहे हैं कि आगामी चुनाव में अखिलेश अपने चाचा शिवपाल यादव को कितनी सीटें देने वाले हैं. इस सिलसिले में जब बुधवार को प्रसपा प्रमुख शिवपाल यादव से बात की गई तो उन्होंने सभी कयासों पर विराम लगा दिए.
यह भी पढ़े: यूपी चुनाव के रण में अब उतरेगा ‘हाथी’, मायावती कल महाबैठक कर चुनावी रणनीति के खोलेंगीं पत्ते
प्रसपा प्रमुख शिवपाल यादव ने कहा कि, ‘मैंने तो अखिलेश यादव को अपना मुख्यमंत्री मान लिया है और अब हम दोनों मिलकर चुनाव लड़ेंगे. हम दोनों के बीच सीटों को लेकर किसी तरह का कोई झगड़ा नहीं है. हम दोनों के बीच जो बैठक हुई है उसमें ये तय किया गया है कि हम उनको ही टिकट देंगे जो भी जीतने वाले हैं.’ शिवपाल यादव ने आगे कहा कि, ‘अभी तक तो हम अलग अलग कार्यक्रम कर रहे थे. उनके कार्यक्रम अलग हो रहे थे और हमारे कार्यक्रम अलग. लेकिन अब हम लोग बैठकर आगे की रणनीति तैयार करेंगे.’
इस दौरान बीजेपी पर निशाना साधते हुए शिवपाल यादव ने कहा कि, ‘आज पूरे उत्तर प्रदेश की जनता, हर वर्ग के लोग परेशान हैं. व्यापारी परेशान, किसान परेशान, नौजवान परेशान सब परेशान हैं. बीजेपी के राज में महंगाई अपने चरम पर है. पेट्रोल डीजल की कीमतें आसमान छू रही हैं. लेकिन केंद्र सरकार इस तरह ध्यान नहीं दे रही है.’
यह भी पढ़े: बेटे को CM पद की कमान सौंप सकते हैं उद्धव- BJP के सियासी हमले पर बोले आदित्य- स्वस्थ हैं पापा
आपको बता दें कि इससे पहले मंगलवार को भी अखिलेश यादव ने एटा में एक जनसभा के दौरान शिवपाल यादव के उनके साथ आने पर बीजेपी पर निशाना साधा था. अखिलेश यादव ने एटा में जनसभा को संबोधित करते हुए अखिलेश यादव ने कहा था कि, ‘जैसे ही हमने चाचा की पार्टी के साथ हाथ मिलाया तो दिल्ली से बीजेपी के आईटी प्रकोष्ठ, सीबीआई प्रकोष्ठ और ईडी प्रकोष्ठ सक्रिय हो गए. अब जैसे-जैसे चुनाव करीब आएगा और बीजेपी को हार का डर सताएगा तब यह दिल्ली वाले उत्तर प्रदेश में और भी ज्यादा आएंगे.’