पॉलिटॉक्स न्यूज/बिहार. कोरोना संकट ने पूरे देश को वायरस की चपेट में ले रखा है. दिल्ली सहित कई राज्यों की सरकारें जहां तब्लीगी जमातियों को कोरोना संकट का मुख्य कारण बता रही हैं तो वहीं तेजस्वी यादव ने अमीरों को कोरोना फैलाने का दोषी बताया है. इससे पहले तेजस्वी ने एक प्रेस रिलीज जारी कर मुख्यमंत्री नीतीश कुमार से बिहार में रह रहे गरीब प्रवासियों को उनके घर भेजने की व्यवस्था करने की अपील की, अब इस पर राजनीति शुरु हो गई है. बिहार के मंत्री संजय झा ने तेजस्वी पर प्रदेश से गायब रहने का आरोप लगाया. साथ ही कहा कि उन्हें क्या पता आखिर बिहार में हो क्या रहा है. इस पर एक्शन में आते हुए तेजस्वी ने करारा जवाब देते हुए अमीरों को कोरोना का दोषी बताया.
इतना ही नहीं, तेजस्वी ने दो वीडियो भी जारी किए हैं जिसमें लालू के सुपुत्र कोरोना महामारी फैलाने का ठीकरा अमीरों के माथे फोड़ रहे हैं. वहीं तेजस्वी ने बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार से बिहार के गरीब प्रवासी को बिहार वापस बुलाने की मांग की है. अपने दोनों वीडियों में बिहार विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव हाथ जोड़कर सरकारों से विनती करते दिख रहे हैं.
मॉडिफाइड लॉकडाउन से पहले एक्शन में गहलोत सरकार, सड़क पर थूकने के मामले में दो गिरफ्तार
पहले वीडियो में तेजस्वी ने कहा, ‘यह बीमारी लेकर आए हवाई जहाज़ वाले और भुगते पैदल चलने वाले, कोरोना लेकर आए पासपोर्ट वाले और क़ीमत अदा करे BPL राशनकार्ड वाले. अमीरों की शानो-शौक़त और बीमारी का हर्ज़ाना बेचारे करोड़ों ग़रीब लोग भुगत रहे है. ग़रीबों की मदद के लिए क्यों नहीं वो अब आगे आ रहे है?’
यह बीमारी लेकर आए हवाई जहाज़ वाले और भुगते पैदल चलने वाले, कोरोना लेकर आए पासपोर्ट वाले और क़ीमत अदा करे BPL राशनकार्ड वाले। अमीरों की शानो-शौक़त और बीमारी का हर्ज़ाना बेचारे करोड़ों ग़रीब लोग भुगत रहे है। ग़रीबों की मदद के लिए क्यों नहीं वो अब आगे आ रहे है? pic.twitter.com/q04iz1ZTrz
— Tejashwi Yadav (@yadavtejashwi) April 14, 2020
दूसरे वीडियो में तेजस्वी ने मंत्री झा की बात का जवाब देते हुए कहा, ‘अगर सरकार सोचती हैं कि गरीबों के खाते में महज 500 रुपये डालकर या उन्हें मुट्ठी भर दाल चावल का लालच देकर बहला लेगी तो यह गलत है. मैं सरकारों से प्रार्थना कर रहा हूं कि कोरोना से कोई मरे ना मरे लेकिन करोड़ों गरीब लोग घर में भूखे मर जाएंगे इसलिए सरकार को गरीबों के घरों में राशन भिजवाना चाहिए’.
सरकारें सोचतीं है कि वो ग़रीबों के खाते में महज़ 500₹ डालकर और उन्हें मुट्ठीभर दाल-चावल का लालच देकर बहला लेंगी। मैं सरकारों से प्रार्थना कर रहा हूँ कि कोरोना से कोई मरे ना मरे लेकिन करोड़ों ग़रीब लोगों को घर भेज, महीनों के राशन का इंतज़ाम करे अन्यथा वो भूख से ज़रूर मर जाएँगे। pic.twitter.com/ma1XzNLz7Q
— Tejashwi Yadav (@yadavtejashwi) April 14, 2020
इससे पहले तेजस्वी ने प्रेस रिलीज जारी कर लिखा कि विदेश से आए लोगों को घर पहुंचाया अब गरीबों को उनके घर पहुंचाया जाए. तेजस्वी ने पत्र में लिखा कि तेजस्वी यादव ने लिखा कि प्रवासी मजदूर भाईयों का वीडियो देखकर मैं दुखी हो गया. मजदूर और मजलूम वर्ग का सूरत और मुंबई में अपने घर लौटने के लिए सड़क पर उतरना सरकार की असंवेदनशीलता को दर्शाता है. सरकार गरीब मजदूर बंधुओं को उनके घर तक सकुशल पहुंचाने की व्यवस्था क्यों नहीं कर पा रही है? जैसे विदेशों से जो लोग आए, उनकी स्क्रीनिंग कर उन्हें अपने घर तक पहुंचाया गया, उसी तरह देश के सभी गरीब प्रवासी लोगों की स्क्रीनिंग कर उन्हें भी अपने घर भेजा जाए.
1131 हुई संक्रमितों की संख्या वहीं 15 की हुई मौत, सरकार को है प्रदेश के लोगों की चिंता- सीएम गहलोत
तेजस्वी ने लिखा कि जब एक छोटे से रूम में 20 से अधिक गरीब मजदूर रहते हैं, 100 मजदूर एक शौचालय का प्रयोग करते हैं, वहां कैसी फिजिकल डिस्टेंसिंग? अगर उन्हें देश भर में खड़ी रेलगाड़ियों में फिजिकल डिस्टेंसिंग का ख्याल रखकर वापस घर भेज दिया जाए तो क्या दिक्कत है? उन्होंने कहा कि जब उतराखंड में फंसे हजारों गुजरातियों को डिलक्स बस में विशेष इंतजाम करके अहमदाबाद ले जाया जा सकता है तो गरीब बिहारियों को 21 दिनों बाद भी साधारण ट्रेन में वापस क्यों नहीं लाया जा सकता? तेजस्वी ने नीतीश कुमार से केंद्र सरकार से बात कर कोई रास्ता निकालने की अपील की.
आदरणीय नीतीश जी, आप वरिष्ठ नेता है। जब उतराखंड में फँसे हज़ारों गुजरातियों को Deluxe Bus में विशेष इंतज़ाम करके अहमदाबाद ले जाया जा सकता है तो ग़रीब बिहारियों को 21 दिनों बाद भी साधारण ट्रेन से वापस क्यों नहीं लाया जा सकता?कृपया केंद्र से बात कर ग़रीबों के लिए कोई रास्ता निकालिए। pic.twitter.com/6kSPwA4sa7
— Tejashwi Yadav (@yadavtejashwi) April 15, 2020
इस पर पलटवार करते हुए बिहार के जल संसाधन मंत्री संजय झा ने तेजस्वी पर तंज कसते हुए कहा था कि जब भी बिहार में समस्या आई है, वो छोड़कर भाग जाते हैं. चाहे वो बाढ़ का मामला हो, इंसेफलाइटिस का मामला या अभी कोरोना का. जब वो बिहार में है नहीं तो उनको क्या पता है कि बिहार में क्या हो रहा है और क्या नहीं. इस तरह की बात बोलकर आप बिहार के लाखों लोगों के जान से खेल रहे हैं.
संजय झा ने कहा, ‘आपको पता होना चाहिए जो लोग ट्रेन से सफर करेंगे, उनके संक्रमित होने का खतरा ज्यादा है. वो जो आते हैं, तो उनके साथ-साथ उनका परिवार, उनके गांव पर भी खतरा हो सकता है. इस तरह की बात कोई समझदार आदमी नहीं करेगा. आज की परिस्थिति में बिहार सरकार ही पहली ऐसी सरकार है, जिसने 6 लाख मजदूरों के खाते में एक हजार रुपये ट्रांसफर किए हैं’.