RCA में बुधवार सुबह से हो रहे घमासान के बीच शाम होते होते एक के बाद एक नाटकीय मोड़ आते गए. चुनाव अधिकारी द्वारा नागौर जिला क्रिकेट एसोसिएशन (Nagaur District Cricket Association) को अयोग्य ठहराए जाने के बाद हाईकोर्ट की मोनिटरिंग कमेटी में आवेदन कर रामेश्वर डूडी (Rameshwar Dudi) अपने समर्थकों के साथ आरसीए अध्यक्ष पद के लिए नामांकन भरने पहुंचे. जहां भारी पुलिस बल और डूडी समर्थकों के बीच काफी धकामुक्की हुई. कांग्रेस के दिग्गज नेता रामेश्वर डूडी, सचिव राजेंद्र नांदु और विनोद सहारण ने नामांकन दाखिल किए लेकिन चुनाव अधिकारी आरआर रश्मि ने डूडी समेत तीनों के नामांकन खारिज कर दिये. ऐसे में अब डूडी ने सुप्रीम कोर्ट में अपील करने के बात कही है.
नामांकन दाखिल करने के बाद रामेश्वर डूडी ने मीडिया को संबोधित करते हुए मुख्यमंत्री अशोक गहलोत को धृतराष्ट्र की संज्ञा दी. कहा कि पुत्र मोह में गहलोत अंधे हो गए हैं और सीपी जोशी के साथ मिलकर एक किसान के बेटे की पीठ में छुरा घोंपने का काम किया है. इससे पहले रालोपा संयोजक और नागौर सांसद हनुमान बेनीवाल ने प्रदेश सरकार द्वारा रामेश्वर डूडी की उपेक्षा किये जाने पर नाराजगी व्यक्त करते की. उनकी अपील पर एसएमएस स्टेडियम के बाहर सैंकड़ों आरएलपी समर्थकों ने सरकार के खिलाफ जमकर प्रदर्शन किया. भारी संख्या में स्टेडियम के बाहर पहुंचे कार्यकर्ताओं के साथ पुलिस की हल्की झडप भी हुई.
RCA में अयोग्य ठहराए गए अलवर, नागौर और श्रीगंगानगर तीनों जिलों के मामले की सुनवाई चल ही रही थी कि मामले में नया ट्विस्ट तब आया जब ललित मोदी गुट के माने जाने वाले जोधपुर जिला क्रिकेट संघ के राम प्रकाश चौधरी ने भी अध्यक्ष पद के लिए अपना नामांकन दाखिल कर दिया. ऐसे में एक स्थिति बनी जब आरसीए अध्यक्ष के लिए वैभव गहलोत, रामेश्वर डूडी और राम प्रकाश चौधरी सहित तीन उम्मीदवार मैदान में आ खड़े हुए.
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नाटकीय घटनाक्रम यहीं नहीं थमा, दोपहर बाद खबर आई कि जस्टिस ज्ञानसुधा मिश्रा ने फैसला सुनाते हुए कहा कि रामेश्वर डूडी, राजेंद्र नांदु और विनोद सहारण चुनाव लड़ने के लिए पूरी तरह योग्य हैं और उन्हें चुनाव लड़ने या फिर वोट डालने से किसी भी सूरत में रोका नहीं जा सकता. इस खबर के आते ही डूडी गुट के समर्थकों में खुशी की लहर दौड़ गई. वहीं जोशी गुट के समर्थकों के चेहरों पर चिंता की लकीरें आ गई क्योंकि डूडी के सामने वैभव गहलोत का टिक पाना करीब-करीब नामुमकिन है.
लेकिन RCA का नाटक अभी भी किसी और मोड का इंतजार कर रहा था. रामेश्वर डूडी के हक में फैसला आने के कुछ समय बाद ही आरसीए चुनाव अधिकारी आरआर रश्मि ने मतदाता सूची बदलने से साफ तौर पर इनकार कर दिया. उन्होंने कहा कि पुरानी सूची किसी भी हालात में नहीं बदली जाएगी. इसके चलते रामेश्वर डूडी, राजेंद्र नांदु और विनोद सहारण का नामांकन खारिज हो गया क्योंकि अलवर, नागौर और श्रीगंगानगर जिलों में बैन के चलते उक्त तीनों का ही नाम लिस्ट में नहीं है.
ऐसे में एक बार फिर से डूडी समर्थकों में मासुसी छा गई, लेकिन रामेश्वर डूडी सहित नांदु और सहारण ने सुप्रीम कोर्ट जाने की बात कही है. चूंकि आज नामांकन की आखिरी तारीख है. ऐसे में वक्त की नजाकत को देखते हुए संभावना ये दिख रही है कि अगर ये तीनों अदालत जाते हैं तो पूरी संभावना है कि आरसीए चुनाव पर बैन लग सकता है.
इससे पहले रामेश्वर डूडी ने मीडिया को संबोधित करते हुए आरसीए में हो रहे घटनाक्रम को दुखद बताया. डूडी ने सीएम गहलोत को धृतराष्ट्र की संज्ञा देते हुए कहा कि प्रदेश के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत पुत्र मोह में अंधे हो गए हैं. उन्होंने कहा कि धृतराष्ट्र के प्रेम के चलते महाभारत का युद्ध हुआ था. अब RCA में भी घमासान हो रहा है. डूडी ने ये भी कहा कि हमारे कार्यकर्ताओं पर लाठियां बरसाई गई और हमें नामांकन नहीं भरने देने की कोशिश की गई. ऐसा करके एक किसान के बेटे की पीठ पर यहां की सरकार ने छुरा घोंपने का काम किया है.