सारण ने किया पायलट पर पलटवार, कहा – राष्ट्रीय लोकदल किसी की मेहरबानी का मोहताज नहीं

राष्ट्रीय लोकदल (RLD) के प्रदेशाध्यक्ष कृष्णा कुमार सारण ने प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष सचिन पायलट पर पलटवार करते हुए कहा कि राष्ट्रीय लोकदल किसी की मेहरबानी का मोहताज नही

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राष्ट्रीय लोकदल (RLD) के प्रदेशाध्यक्ष कृष्णा कुमार सारण ने राजस्थान के डिप्टी सीएम और कांग्रेस के प्रदेशाध्यक्ष सचिन पायलट पर पलटवार करते हुए कहा है कि राष्ट्रीय लोकदल किसी की मेहरबानी का मोहताज नहीं है. लोकदल स्वाभिमान से समझौता नहीं करेगी. सारण ने ये बयान देकर पायलट पर सीधा प्रहार किया है. दरअसल, होने वाले भरतपुर नगर निगम के चुनाव में रालोद और कांग्रेस के गठबंधन पर हाल ही में प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष सचिन पायलट ने कहा था कि नगर निगम चुनाव में कांग्रेस द्वारा राष्ट्रीय लोकदल (RLD) से गठबंधन नहीं किया जा रहा है.

गौरतलब है कि भरतपुर नगर निगम में मेयर के पद के लिए रालोद से एकमात्र विधायक और राज्य सरकार में मंत्री डॉ सुभाष गर्ग और कांग्रेस के प्रदेश उपाध्यक्ष विश्वेन्द्र सिंह के बीच कांग्रेस-रालोपा गठबंधन को लेकर विवाद हुआ था और विश्वेन्द्र सिंह ने गठबंधन से इनकार कर दिया था. इसके बाद राजस्थान प्रदेश अध्यक्ष कांग्रेस सचिन पायलट ने भी स्पष्ट कहा था कि कांग्रेस और RLD का गठबंधन सिर्फ विधानसभा चुनाव तक ही था. निकाय चुनाव में हम कहीं भी किसी भी दल के साथ गठबंधन नहीं करेंगे. इस बयान पर रालोद की प्रदेश इकाई भी स्तब्ध है.

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पायलट की इस बयानबाजी पर RLD के प्रदेशाध्यक्ष सारण ने कहा कि विधानसभा चुनाव में भाजपा को रोकने के लिए कांग्रेस से गठबंधन किया था. इसलिए नगरीय निकाय चुनाव में भी भाजपा को रोकने के लिए हमारे राष्ट्रीय उपाध्यक्ष ने कांग्रेस से गठबंधन की बात कही थी. अगर कांग्रेस को मंजूर नहीं है तो लोकदल भी स्वाभिमान से समझौता नहीं करेगी और स्वतंत्र होकर चुनाव लड़ेगी. कृष्णा कुमार ने कहा कि रालोद संगठन निकाय चुनाव की तैयारी में जुट गया है और पदाधिकारियों को दमदारी से चुनाव लड़ने को कहा गया है.

बता दें, इन दिनों निकाय चुनावों में हाईब्रिड फॉर्मूला चर्चा में चल रहा है. इस फॉर्मूले पर सचिन पायलट और मुख्यमंत्री अशोक गहलोत के बीच टकराव भी बना हुआ है. पार्टी में वरिष्ठ नेताओं के बीच टकराव का यह मुद्दा दिल्ली कांग्रेस हाईकमान तक भी पहुंच गया है. उसके बाद मंगलवार को सोनिया गांधी ने प्रदेश प्रभारी अविनाश पांडे से इस बात पर संज्ञान लिया. पांडे ने मनोनयन के जरिए मेयर बनाने के प्रावधान को खत्म करने के लिए यूडीएच मंत्री शांति धारीवाल को कहा. इससे पहले पांडे ने धारीवाल को कहा था कि वे सीएम और डिप्टी सीएम से मिलकर विवाद का निस्तारण करें. इस संबंध में यूडीएच मंत्री धारीवाल ने सचीन पायलट से मुलाकात भी की है. फिलहाल प्रदेश कांग्रेस के पदाधिकारियों का स्पष्ट बयान नहीं आने के कारण इस मामले पर रहस्य बना हुआ है.

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