नीतीश के मंत्री के थम नहीं रहे बिगड़े बोल, कविराज ने चंद्रशेखर के दिमाग को बताया जहरीला, देशभर में हंगामा

शिक्षामंत्री चंद्रशेखर ने विवाद की आग में पेट्रोल डालने का काम करते हुए अपने बयान पर माफी मांगने के बजाए एक और भड़काऊ बयान जारी कर कहा कि वह अपनी बात पर कायम हैं, माफी उन लोगों को मांगनी चाहिए जिन्होंने अन्याय किया है, कुमार विश्वास ने चंद्रशेखर को लिया आड़े हाथ, तो बीजेपी ने की बर्खास्त करने की मांग

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Chandrashekhar on Ramcharitmanas. बिहार के शिक्षा मंत्री और राष्ट्रीय जनता दल के नेता चंद्रशेखर यादव ने रामचरितमानस को समाज में नफरत फैलाने वाला बताकर विवाद विवाद की जो आग लगाई थी, अब उसमें पेट्रोल डालने का काम भी कर दिया है. पुरे देश में शिक्षा मंत्री के बयान को लेकर जबरदस्त विरोध हो रहा है और पुरे देश में निंदा की जा रही है. ऐसे में अब चंद्रशेखर यादव की कुर्सी पर संकट भी आ सकता है. बीजेपी के साथ ही संत समाज भी CM नितीश से शिक्षा मंत्री को बर्खास्त करने की मांग कर रहा है. वहीं अब इस मामले को लेकर मशहूर कवि कविराज कुमार विश्वास ने भी चंद्रशेखर पर काफी तल्ख टिप्पणी की है और उन्होंने चंद्रशेखर के दिमाग को जहरीला बताया है, तो बीजेपी ने शिक्षा मंत्री के बयान को हिंदू आस्था पर चोट बताया है. इसी बीच शिक्षामंत्री चंद्रशेखर ने विवाद की आग में पेट्रोल डालने का काम करते हुए अपने बयान पर माफी मांगने के बजाए एक और भड़काऊ बयान जारी कर दिया है, चंद्रशेखर ने कहा कि वह अपनी बात पर कायम हैं, माफी उन लोगों को मांगनी चाहिए जिन्होंने अन्याय किया है.

दरअसल, बिहार के शिक्षा मंत्री चंद्रशेखर यादव ने रामायण पर आधारित एक महाकाव्य और हिंदू धार्मिक पुस्तक रामचरितमानस को लेकर कहा कि यह पुस्तक समाज में नफरत फैलाती है, यह समाज में पिछड़ों, महिलाओं और दलितों को शिक्षा हासिल करने से रोकता है. यह उन्हें बराबरी का हक देने से रोकता है. चंद्रशेखर ने दावा किया कि बाबा साहब अंबेडकर भी मनुस्मृति के खिलाफ थे, मनुस्मृति के बाद रामचरितमानस ने नफरत के इस दौर को आगे बढ़ाया.

इस दौरान शिक्षा मंत्री चंद्रशेखर यादव ने रामचरितमानस की दूसरी चौपाई ‘पूजहि विप्र सकल गुण हीना, शुद्र न पूजहु वेद प्रवीणा’ सुनाई. इस चौपाई का अर्थ बताते हुए उन्होंने कहा कि इस चौपाई का मतलब है ब्राह्मण चाहे कितना भी ज्ञान गुण से रहित हो, उसकी पूजा करनी ही चाहिए और शूद्र चाहे कितना भी गुणी ज्ञानी हो वह सम्माननीय हो सकता है लेकिन कभी पूजनीय नहीं हो सकता है.चंद्रशेखर ने आगे कहा कि बाबा साहब भीमराव अंबेडकर भले संविधान निर्माता बने हो लेकिन इस ग्रंथ के अनुसार वे पूजनीय नहीं हो सकते हैं. ऐसा ग्रंथ समाज में नफरत ही फैला सकता है.

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वही शिक्षा मंत्री चंद्रशेखर के विवादित बयान पर प्रसिद्ध कवि कुमार विश्वास ने भी काफी तल्ख टिप्पणी की है और उन्होंने नीतीश कुमार और तेजस्वी यादव से चंद्रशेखर यादव को मंत्री पद से हटाने या फिर उनसे माफी मंगवाने की मांग की है, साथ ही उन्होंने दूसरे धर्म के पवित्र ग्रंथों के बारे में भी ऐसी ही ओछी बातें करने की चुनौती दी. कुमार विश्वास ने न्यूज़ एजेंसी ANI से बात करते हुए अपने बयाना में कहा कि, अगर मैं भी नीति के विरुद्ध कार्य करूं तो मुझसे बिना डरे बिना मेरे मुंह पर मेरी निंदी करना… ऐसा कहने वाले राजा राम, जिन्होंने वंचितों, पिछड़ों, दलितों, वनवासियों, मल्लाहों को गले लगाया, उनकी कथी समाज में जहर घोल सकती है. आगे कुमार विश्वास ने कहा कि दरअसल ऐसा कहने वाले के दिमाग में जहर भरा है साथ ही उन्होंने चंद्रशेखर और उनके समर्थकों को रामकथा सुनाने की भी पेशकश की है

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आगे कुमार विश्वास ने शिक्षा मंत्री पर निशान साधते हुए कहा कि, ‘क्या बिहार के शिक्षा मंत्री एक ही धर्म को इतना सहिष्णु मानते हैं कि उसके खिलाफ कुछ भी बोल सकते हैं? क्या वो किसी दूसरे धर्म की किसी मानद पुस्तक पर ऐसी बात कह सकते थे? और कह भी दें तो मंत्री पद तो छोड़िए, क्या उनके बचे रहने की भी संभावनी होती?’ विश्वास ने आगे कहा कि ‘किसी की सहिष्णुता को को लाचारी समझ लेना बहुत बुरी बात है, फिर नेता इसका उपयोग करेंगे तो वही लोग कहने लगेंगे कि देखिए धर्म के नाम पर ध्रुवीकरण हो रहा है. वही इससे पहले आज सुबह इससे पहले कुमार विश्वास ने ट्वीट के जरिए भी चंद्रशेखर को अशिक्षित बताया था और उन्होंने मुख्यमंत्री नीतीश कुमार से अपील में कहा कि बिहार के अशिक्षित शिक्षा मंत्री को शिक्षा की बहुत जरूरत है

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तो वही चंद्रशेखर के बयान पर BJP ने भी जोरदार हमला बोला है, बीजेपी प्रवक्ता पूनावाला ने कहा कि बिहार के शिक्षा मंत्री ने कहा ‘रामचरितमानस’ नफरत फैलाने वाला ग्रंथ है. कुछ दिन पहले जगदानंद सिंह ने राम जन्मभूमि को ‘नफरत की जमीन’ बताया था, यह संयोग नहीं है, यह वोट बैंक का उद्योग है ‘हिंदू आस्था पर करो चोट, ताकि मिले वोट’, सिमी और पीएफआई की पैरवी, हिंदू आस्था पर चोट.” क्या कार्रवाई होगी?

वहीं, दूसरी ओर शिक्षा मंत्री चंद्रशेखर रामचरितमानस पर दिए गए अपने बयान पर अब भी कायम हैं और उन्होंने फिर से विवाद को आग देने का काम किया है और कहा कि मैंने पूरे रामचरितमानस पर नहीं; बल्कि उत्तरकांड और सुंदरकांड में लिखे चंद श्लोकों की आलोचना की है, और उस पर आज भी कायम हैं. चंद्रशेखर ने कहा मेरा बस चले तो ऐसे श्लोकों को रामचरितमानस से हटा दूं, महंतों और धर्म आचार्यों से गुहार लगाते हुए चंद्रशेखर ने कहा कि ऐसे श्लोकों को हटा देना चाहिए. शिक्षा मंत्री के जीभ काटने के महंत के बयान पर शिक्षा मंत्री ने कहा की जीभ काटकर किसी को 10 करोड़ दे दिया जाए कोई तो अमीर बन जाएगा.आपको बता दे अब इस मामले को लेकर बिहार के शिक्षा मंत्री के खिलाफ शिकायत दर्ज हुई है

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