Politalks.News/Bihar. बिहार विधानसभा के तीसरे और अंतिम चरण के चुनाव के लिए मतदान शुरु हो गया है. अंतिम चरण में 15 जिलों की 78 सीटों पर चुनाव हो रहा है जिसमें 1204 उम्मीदवार अपनी किस्मत आजमा रहे हैं. इस चरण में 1094 पुरुष व 110 महिला प्रत्याशी चुनाव मैदान में हैं. मतदान शाम 6 बजे तक किया जा सकेगा. विधानसभा चुनाव के अंतिम चरण में एनडीए सरकार के 12 मंत्रियों के साथ, पप्पू यादव, शरद यादव की बेटी सुभाषिनी यादव, असदुद्दीन ओवैसी और उपेंद्र कुशवाहा की पार्टी के कई उम्मीदवार की प्रतिष्ठा दांव पर है. खास बात ये है कि तीसरा फेज जिसने अपने नाम किया, सरकार उसकी बनना निश्चित है. तीनों चरणों के मतों की गणना 10 नवंबर को होगी और इसी दिन नतीजें घोषित किए जाएंगे.
बिहार चुनाव के तीसरे चरण में 78 सीटों के लिए 2 करोड़ 35 लाख 54 हजार 71 मतदाता अपने मताधिकार का प्रयोग करेंगे. इनमें 1 करोड़ 23 लाख 25 हजार 780 पुरुष व 1 करोड़ 12 हजार 5 हजार 378 महिला एवं 894 थर्ड जेंडर के मतदाता शामिल हैं. थर्ड फेस में 22 हजार 19 सर्विस मतदाता भी वोट देंगे. नए वोटर्स की संख्या 6 लाख 61 हजार 516 हैं जो पहली बार मतदान करेंगे और अपना प्रतिनिधि चुनेंगे.
मतदान को लेकर चुनाव आयोग के निर्देश पर 33,782 बूथों का गठन किया गया है. मतदाताओं की संख्या की दृष्टि से सबसे बड़ा निर्वाचन क्षेत्र सहरसा और सबसे छोटा निर्वाचन क्षेत्र हायाघाट है. इस चरण में सबसे अधिक 31 उम्मीदवार गायघाट में हैं जबकि सबसे कम 9-9 उम्मीदवार चार विधानसभा क्षेत्रों त्रिवेणीगंज, जोकिहाट, बहादुरगंज व ढाका में हैं. सभी 33,782 बूथों पर ईवीएम (बैलेट यूनिट) का इस्तेमाल किया जाएगा.
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बिहार चुनाव के अंतिम चरण में एनडीए की ओर से जदयू सबसे अधिक 37 सीटों पर चुनाव लड़ रही है जबकि बीजेपी ने 35 सीटों पर प्रत्याशी उतारे हैं. वीआइपी पांच और हिंदूस्तान आवाम मोर्चा एक सीट पर ताल ठोक रही है. अंतिम चरण में 46 सीटों पर राजद के उम्मीदवार किस्मत आजमा रहे हैं जबकि 25 सीटों पर कांग्रेस के उम्मीदवार हैं. महागठबंधन के सहयोगियों में सीपीआई (माले) पांच और सीपीआई ने दो सीटें पर अपने प्रत्याशी उतारे हैं. पप्पू यादव, चिराग पासवान और असदुद्दीन ओवैसी की सारी उम्मीदें भी इस चरण से हैं. ओवैसी ने आखिरी चरण में दो दर्जन सीटों पर अपने उम्मीदवार उतारे हैं. ऐसे में बिहार का फाइनल चरण की सियासी लड़ाई काफी रोचक होती नजर आ रही है.
अंतिम फेस में मुस्लिम बहुल सीमांचल तो यादव बहुल कोसी और ब्राह्मण बहुल मिथिलांचल की कुछ सीटों पर चुनावी जंग होनी है. इसमें पश्चिमी चंपारण, पूर्वी चंपारण, सीतामढ़ी, मधुबनी, सुपौल, अररिया, मधेपुरा, किशनगंज, पूर्णिया, कटिहार, सहरसा, दरभंगा, मुजफ्फरपुर, वैशाली और समस्तीपुर जिले की 78 सीटें हैं.
इन सीटों पर हो रहा मतदान
वाल्मीकिनगर, रामनगर (सु.), नरकटियागंज, रूपौली, धमदाहा, पूर्णिया, कटिहार, कदवा, बलरामपुर, प्राणपुर, मनिहारी (एसटी), बरारी, कोढ़ा (एससी), आलमनगर, बिहारीगंज, सिंहेश्वर (एससी), मधेपुरा, सोनबरसा (एससी), सहरसा, सिमरी बख्तियारपुर, महिषी, दरभंगा, हायाघाट, बहादुरपुर, केवटी, जाले, गायघाट, औराई, बोचहा (एससी), सकरा (एससी), बगहा, लौरिया, सिकटा, रक्सौल, सुगौली, नरकटिया, मोतिहारी, चिरैया, ढाका, रीगा, बथनाहा (एससी), परिहार, सुरसंड, बाजपट्टी और हरलाखी.
बेनीपट्टी, खजौली, बाबूबरही, बिस्फी, लौकहा, निर्मली, पिपरा, सुपौल, त्रिवेणीगंज (एससी), छातापुर, नरपतगंज, रानीगंज (एससी), फारबिसगंज, अररिया, जोकीहाट, सिकटी, बहादुरगंज, ठाकुरगंज, किशनगंज, कोचाधामन, अमौर, वायसी, कसबा, बनमनखी (एससी), कुढ़नी, मुजफ्फरपुर, महुआ, पातेपुर (एससी), कल्याणपुर (एससी), वारिसनगर, समस्तीपुर, मोरवा और सरायरंजन.