Politalks.News/Uttrakhand. पिछले साल जुलाई में खानपुर से भाजपा विधायक कुंवर प्रणव चैंपियन को अनुशासनहीनता के आरोप में पार्टी आलाकमान ने निलंबित कर दिया था. एक साल से अधिक का समय बीत जाने के बाद भी चैंपियन लगातार भाजपा में दोबारा आने के प्रयास करते रहे हैं. अब जाकर उनकी मेहनत रंग लाई है. सोमवार शाम तक निष्कासित हरिद्वार के खानपुर से विधायक कुंवर प्रणव सिंह चैंपियन की एक बार फिर से भारतीय जनता पार्टी में वापसी हो गई है. प्रदेश अध्यक्ष बंशीधर भगत ने प्रणव सिंह चैंपियन की पार्टी में वापसी कराई. वहीं विधायक प्रणव चैंपियन की बीजेपी में वापसी का आम आदमी पार्टी ने जबरदस्त विरोध किया है. आम आदमी पार्टी के प्रदेश प्रवक्ता आनंद ने कहा कि उत्तराखंड के शहीदों, माताओं, बहनों का अपमान किसी भी कीमत पर बर्दाश्त नहीं किया जाएगा.
हम आपको बता दें कि 13 महीने पहले विधायक प्रणव चैंपियन का एक अश्लील डांस करते हुए का वीडियो वायरल होने और प्रदेश के बारे में अपशब्द कहने पर उन्हें छह साल के लिए निष्कासित कर दिया था. वहीं चैंपियन की भाजपा में वापसी होने पर उत्तराखंड से राज्यसभा सांसद अनिल बलूनी समेत कुछ भाजपा विधायकों ने भी विरोध जताया है. दरअसल हरिद्वार जिले की खानपुर विधानसभा सीट से चौथी बार विधानसभा पहुंचे विधायक प्रणव सिंह चैंपियन अक्सर विवादों से घिरे रहते हैं. विधायक की अनाप-शनाप बयानबाजी और हरकतों से पार्टी को कई बार असहज होना पड़ा है.
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विधायक चैंपियन की घर वापसी कराकर भाजपा ने ‘आप’ को थमा दिया मुद्दा, त्रिवेंद्र सरकार का किया घेराव
अभी कुछ दिन पहले ही दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने उत्तराखंड की सभी 70 विधानसभा सीटों पर लड़ने का एलान किया था. सीएम केजरीवाल के इस फैसले के बाद देवभूमि आम आदमी पार्टी के कार्यकर्ताओं ने जनता में अपनी पैठ बनानी शुरू कर दी है. ऐसे में विधायक प्रणव चैंपियन की बीजेपी में वापसी होने से राज्य में आम आदमी पार्टी को मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत सरकार पर हमला करने का बैठे-बिठाए एक मौका हाथ लग गया.
विधायक कुंवर प्रणव चैंपियन की सोमवार देर शाम घर वापसी हुई है. जब इस बात की जानकारी आप कार्यकर्ताओं को लगी तो उन्होंने इसे राजनीतिक रंग देने में देर नहीं लगाई और मंगलवार सुबह से ही पूरी योजना बनाकर कई कार्यकर्ता सड़कों पर बैनर और झंडे लिए भाजपा सरकार के खिलाफ विरोध प्रदर्शन करने लगे. बाद में आम आदमी के कार्यकर्ताओं ने कुंवर प्रणव चैंपियन को भाजपा में वापस लेने पर भाजपा कार्यालय का घेराव कर कुंवर चैंपियन का पुतला फूंका. इस दौरान आप कार्यकर्ताओं को भाजपा कार्यालय से कुछ दूरी पर पुलिस द्वारा बैरीकेटिंग लगा कर रोक लिया गया. जहां पुलिस और आम आदमी पार्टी कार्यकताओं के बीच तीखी नोकझोंक भी हुई. इसके बाद आम आदमी पार्टी कार्यकर्ता त्रिवेंद्र सिंह रावत सरकार का घेराव करने जा रहे थे लेकिन उससे पहले ही पुलिस ने उन्हें रोक लिया. पुलिस के द्वारा रोके जाने पर आम आदमी पार्टी के कार्यकर्ता वहीं सड़क पर बैठकर विरोध प्रदर्शन करने लगे.
भाजपा ने राज्य में दिखा दिया है असली चेहरा-
निष्कासित विधायक कुंवर प्रणव चैंपियन की भारतीय जनता पार्टी में वापसी पर आम आदमी पार्टी कार्यकर्ताओं ने कहा है कि त्रिवेंद्र सिंह रावत सरकार ने अपना असली चेहरा जनता को दिखा दिया है. आम आदमी पार्टी के प्रदेश प्रवक्ता आनंद ने कहा कि उत्तराखंड के शहीदों, माताओं, बहनों का अपमान किसी भी कीमत पर बर्दाश्त नहीं किया जाएगा. जिस तरह से कुंवर प्रणव चैंपियन ने उत्तराखंड को गाली दी है उससे उनकी असलियत पता चलती है. इतना ही नहीं भाजपा द्वारा उनको वापस पार्टी में लेना भाजपा का असली चेहरा दिखाता है.
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आप प्रवक्ता आनंद ने कहा कि भाजपा एक के बाद एक अपने विधायकों की काली करतूतों पर पर्दे डाल रही है. पहले से ही भाजपा अपने एक विधायक जो कि यौन उत्पीड़न के आरोपी को बचाती आ रही है और अब कुंवर प्रवण चैंपियन को भी वापस पार्टी में ले रही है, यह उत्तराखंड की जनता का अपमान है. इससे देवभूमि की जनता की भावनाओं को ठेस पहुंची है. प्रवक्ता आनंद ने आगे कहा कि उत्तराखंड की जनता भाजपा को और चैंपियन जैसे लोगों को कभी माफ नहीं करेगी. यहां तक कि यदि विधायक कुंवर चैंपियन देहरादून की आते है तो उसका भी विरोध किया जाएगा और उनको इस पवित्र भूमि पर कदम नहीं रखने दिया जाएगा.
बीजेपी विधायक को इस अनुशासनहीनता में पार्टी ने निष्कासित कर दिया था-
वर्ष 2019 में जुलाई के महीने में भाजपा विधायक कुंवर प्रणव सिंह चैंपियन एक वीडियो वायरल हुआ था, जिसमें वह शराब पीते हुए दो पिस्टल और एक कारबाइन के साथ अश्लील डांस करते हुए नजर आए थे. इस वीडियो के वायरल होने केे बाद प्रदेश भाजपा त्रिवेंद्र सिंह रावत सरकार की जबरदस्त किरकिरी हुई थी. यही नहीं कांग्रेस को हमला बोलने का मौका भी मिल गया था. प्रशासन ने आगे कार्रवाई करते हुए उनके तीन लाइसेंस भी निलंबित कर दिए थे. साथ ही पार्टी ने उन्हें कारण बताओ नोटिस भी जारी किया था, जिसमें उनसे पूछा गया है कि उन्हें पार्टी से क्यों न निकाल दिया जाए. लेकिन बाद में मामला बढ़ने पर चैंपियन को भाजपा ने अनिश्चितकाल के लिए निलंबित कर दिया था.
एक साल से अधिक समय से निष्कासित रहे चैंपियन लगातार पार्टी में आने के लिए जुगाड़ बैठा रहे थे, अब जाकर उन्हें राहत मिली है. यहां हम आपको बता दें कि चैंपियन को को दबंग विधायक के रूप में जाना जाता है और विधायक चैंपियन के खिलाफ कुछ अन्य आपराधिक मामले भी दर्ज हैं.