लोकसभा चुनाव-2019 का परिणाम आने से पहले ही कांग्रेस ने सरकार बनाने की पूरी तैयारी कर ली थी. राहुल गांधी ने यूपीए के कईं दलों को प्रमुख नेताओं को फोन करके मंत्री बनने का प्रस्ताव तक दे दिया था. राहुल गांधी को पूरी उम्मीद थी कांग्रेस 184 सीटें हासिल करेगी. दरअसल राहुल को डेटा एनालिस्ट डिमार्टमेंट प्रमुख प्रवीण चक्रवर्ती ने इतनी सीटें आने की रिपोर्ट दी. एक अंग्रेजी अखबार ने ऐसा दावा किया है. इस खबर के आने के बाद कांग्रेस नेताओं को जवाब देते नहीं बन रहा है.
21 मई को प्रवीण चक्रवर्ती ने दी थी यह रिपोर्ट
एक अंग्रेजी अखबार की रिपोर्ट के मुताबिक, 21 मई को यानि नतीजे आने से दो दिन पहले राजीव गांधी की पुण्यतिथि के दिन प्रवीण चक्रवर्ती कांग्रेस अध्यक्ष से मिले और 184 सीटें कांग्रेस को मिलने की रिपोर्ट सौंपी. इतना ही नहीं, चक्रवर्ती ने दलील दी की उन्होंने शक्ति एप और वोटिंग के डेटा का गहन निरीक्षण करने के बाद यह निचोड़ निकाला है.
चक्रवर्ती ने यह भरोसा भी दिलाया कि अगर कुछ उलटफेर भी होता है तो किसी भी सूरत में कांग्रेस की 164 से कम सीटें किसी भी सूरत में नहीं आएगी. राहुल ने फिर अपनी टीम से चक्रवर्ती के दावों की जांच कराई. साथ ही अपने स्टाफ को पहली बार चुनने वाले 100 सांसदों की लिस्ट तैयार करने के निर्देश दिए.
DMK प्रमुख स्टालिन को गृहमंत्री का ऑफर
रिपोर्ट के मुताबिक, चक्रवर्ती के दावों के तहत यूपीए में शामिल सबसे बड़े दल के तहत डीएमके को सबसे ज्यादा सीटें मिल रही थी. ऐसे में राहुल गांधी ने डीएमके नेता एमके स्टालिन को फोन कर उन्हें सरकार में शामिल होते हुए गृहमंत्री बनाने का ऑफर दिया. इतना ही नहीं, राहुल ने अखिलेश यादव, शरद पंवार, उमर अब्दुल्ला और तेजस्वी यादव को भी फोन किए.
राहुल ने तीनों से उनकी और कांग्रेस को मिलने वाली सीटों का भी आंकड़ा पूछा. अखिलेश ने यूपी में गठबंधन को 40 से अधिक और कांग्रेस को 9 सीटें मिलने का फीडबैक दिया. बिहार में तेजवस्वी ने भी कांग्रेस की छह सीटें मिलने का दावा किया. अब्दुल्ला ने नेशनल कॉन्फ्रेंस की जम्मू कश्मीर में तीन और कांग्रेस की एक सीट मिलने की उम्मीद जताई थी.
प्रियंका गांधी भी हो गईं थी सक्रिय
चक्रवर्ती की रिपोर्ट के बाद राहुल के साथ प्रियंका गांधी भी सक्रिय हो गई थी. प्रियंका गांधी ने कांग्रेस शासित मुख्यमंत्रियों कमलनाथ, अशोक गहलोत, अमरिन्द्र सिंह, वी.नारायणसामी और भूपेश बघेल से बातचीत की. इतना ही नहीं, उत्साहित प्रियंका गांधी ने इन मुख्यमंत्रियों से मंत्रिमंडल में शामिल करने वाले संभावित सांसदों के नाम भी पूछे थे. हालांकि उक्त सीएम ने नाम दिए या नहीं, इसके बारे में पता नहीं लग पाया है.
सरकार के दावे के लिए दो पत्र भी थे तैयार
चक्रवर्ती की रिपोर्ट के आधार पर राहुल गांधी ने सरकार बनाने की पूरी तैयारी कर ली थी. राहुल के दो करीबी सलाहकार के.राजू और एक पूर्व मंत्री ने दिल्ली में पार्टी से जुड़े एक वरिष्ठ वकील के घर पहुंच गए. दोनों ने राष्ट्रपति के लिए दो पत्र तैयार कराए. एक पत्र में कांग्रेस सरकार बनाने का दावा था तो दूसरे में किसी यूपीए के सहयोगी दल को समर्थन करने का पत्र था. उनकी दो कॉपी राहुल गांधी के दफ्तर को भेजी गई थी.
अंग्रेजी अखबार की यह रिपोर्ट प्रकाशित होने के बाद प्रवीण चक्रवर्ती से संपर्क नहीं हो पा रहा है. इस रिपोर्ट में दम इसलिए लग रहा है क्योंकि चक्रवर्ती के फीडबैक के आधार पर ही राहुल ने प्रचार के दौरान कईं सभाओं में कहा था कि मोदीजी इस बार चुनाव नहीं जीत रहे. एक तरह से कहा जाए तो चक्रवर्ती की रिपोर्ट के आधार पर राहुल फुल कॉन्फिडेट हो गए थे.