Politalks.News/Bharat. तीन कृषि कानूनों को लागू करने से नाराज चल रहे देशभर के किसानों को बड़ी सौगात देते हुए केंद्र की मोदी सरकार ने डीएपी फर्टिलाइजर के एक बैग पर अब किसानों को 1200 रुपये की छूट देने की घोषणा की है. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता में बुधवार को हुई उच्चस्तरीय बैठक में डीएपी फर्टिलाइजर पर दी जाने वाली सब्सिडी में 140 फीसदी इजाफे का फैसला लिया गया. इससे किसानों को 2400 रुपये में मिलने वाला डीएपी फर्टिलाइजर का एक बैग अब 1200 रुपये में ही मिल जाएगा. हालांकि, इस फैसले के बाद केंद्र सरकार को सब्सिडी के मद में 14,775 करोड़ रुपेय अतिरिक्त खर्च होंगे. आपको बता दें कि अब तक डीएपी फर्टिलाइजर के एक बैग पर किसानों को 500 रुपये की ही छूट मिलती थी.
‘फॉस्फोरिक एसिड-अमोनिया महंगे होने के बाद भी पुरानी दरों पर मिले खाद’
प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने खाद कीमतों के मुद्दे पर हुई उच्चस्तरीय बैठक में अंतरराष्ट्रीय स्तर पर फॉस्फोरिक एसिड, अमोनिया की बढ़ती कीमतों के कारण खाद की कीमतों में वृद्धि के मुद्दे पर चर्चा की. पीएम मोदी ने कहा कि अंतरराष्ट्रीय कीमतों में बढ़ोतरी के बावजूद किसानों को पुरानी दरों पर ही खाद मिलनी चाहिए. इसके बाद डीएपी खाद के लिए सब्सिडी 500 रुपये प्रति बैग से 140 फीसदी बढ़ाकर 1200 रुपये करने का फैसला लिया गया. दूसरे शब्दों में समझें तो अब किसानों को डीएपी खाद 1200 रुपये के पुराने मूल्य पर ही मिलेगी. साथ ही मूल्य वृद्धि का सारा अतिभार केंद्र सरकार उठाएगी. बता दें कि प्रति बोरी सब्सिडी की राशि कभी भी एकबार में इतनी नहीं बढ़ाई गई है.
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किसानों को नहीं झेलना पड़ा मूल्य वृद्धि का बोझ- प्रधानमंत्री मोदी
डीएपी खाद की एक बोरी की वास्तविक कीमत पिछले साल 1,700 रुपये थी. इसमें केंद्र सरकार 500 रुपये प्रति बैग की सब्सिडी दे रही थी. इसलिए कंपनियां किसानों को 1200 रुपये प्रति बोरी के हिसाब से खाद बेच रही थीं. हाल में डीएपी में इस्तेमाल होने वाले फॉस्फोरिक एसिड, अमोनिया की अंतरराष्ट्रीय कीमतें 60 से 70 फीसदी तक बढ़ गई हैं. सरकार के मुताबिक, एक डीएपी बैग की वास्तविक कीमत अब 2400 रुपये है, जिसे खाद कंपनियों की ओर से 500 रुपये की सब्सिडी घटाकर 1900 रुपये में बेचा जाता है. प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि उनकी सरकार किसानों के कल्याण के लिए प्रतिबद्ध है. केंद्र यह सुनिश्चित करने के लिए सभी प्रयास करेगा कि किसानों को मूल्य वृद्धि का असर न झेलना पड़े.
कांग्रेस ने लगाया था किसानों पर 20 हजार करोड़ का बोझ डालने का आरोप
केंद्र सरकार हर साल रासायनिक खादों पर सब्सिडी के लिए करीब 80,000 करोड़ रुपये खर्च करती है. अब खरीफ सीजन में भारत सरकार इस मद में 94,775 करोड़ रुपये खर्च करेगी. अक्षय तृतीया के मौके पर पीएम-किसान के तहत किसानों के खाते में 20,667 करोड़ रुपये सीधे ट्रांसफर करने के बाद किसानों के हित में केंद्र सरकार का यह दूसरा बड़ा फैसला है. बता दें कि आज ही कांग्रेस ने आरोप लगाया था कि सरकार ने डीएपी खाद की कीमतों को बढ़ाकर किसानो पर 20,000 करोड़ का बोझ डाल दिया है. कांग्रेस के मुताबिक, डीएपी खाद की कीमत में 700 रुपये प्रति बैग की बढ़ोतरी की गई है. साथ ही कहा था कि इससे कंपनियों को 13,000 करोड़ रुपये का मुनाफा होगा