पॉलिटॉक्स न्यूज/बिहार. चुनावी रणनीतिकार और जनता दल यूनाइटेड (JDU) के पूर्व उपाध्यक्ष प्रशांत किशोर ने एक बार फिर नीतीश कुमार को निशाने पर लिया है. पीके ने मजदूरों के लिए ट्रेन चलाने और केंद्र को सुझाव देने को लेकर सवाल पूछा है. ये भी पूछा है कि ये फैसला मानने में इतनी देर कैसे हुई. वहीं राष्ट्रीय जनता दल ने नीतीश सरकार को ड़बल इंजन सरकार बताते हुए प्रवासी मजदूरों के घर वापसी को लेकर ट्रेन का किराया मांगे जाने को लेकर बिहार की नीतीश सरकार को घेरा है. हालांकि सोमवार को नीतीश कुमार सरकार ने फैसला किया है कि वह सभी यात्रियों को टिकट के अलावा पांच सौ रुपये भी देगी.
इससे पहले पूर्व जेडीयू नेता प्रशांत किशोर ने ट्वीट करते हुए बिहार सीएम नीतीश कुमार को मजदूरों के मामले में घेरा. प्रशांत किशोर ने ट्वीट कर लिखा, ‘देश के कई हिस्सों में फंसे हुए बिहार के लोगों के लिए कुछ नहीं करने वाले नीतीश कुमार अब कह रहे हैं कि केंद्र ने उनके सुझाव पर लोगों के लिए ट्रेनें शुरू की हैं. सर, आपने ये सुझाव कब दिया और इसको मानने में इतनी देरी क्यों हुई? क्या गरीब लोगों से भाड़ा लेने का सुझाव भी आपका ही है?’
देश के कई हिस्सों में फँसे हुए बिहार के लोगों के लिए कुछ नहीं करने वाले @NitishKumar अब कह रहे हैं कि केंद्र ने उनके सुझाव पर लोगों के लिए Trains शुरू की है!
सर, आपने ये सुझाव कब दिया और इसको मानने में इतनी देरी क्यों हुई? क्या गरीब लोगों से भाड़ा लेने का सुझाव भी आपका ही है?
— Prashant Kishor (@PrashantKishor) May 4, 2020
बता दें, देश के अलग-अलग हिस्सों में फंसे बिहार के लोगों को अब स्पेशल ट्रेन के जरिए उनके घर पहुंचाया जा रहा है. इससे पहले नीतीश कुमार ने लॉकडाउन के नियमों को हवाला देते हुए लोगों को वापस लाने पर असमर्थता जाहिर की थी. इसमें कोटा में फंसे हुए छात्र और अन्य राज्यों में फंसे प्रवासी मजदूर शामिल हैं. यहां तक की योगी सरकार द्वारा कोटा से बसों द्वारा करीब साढ़े आठ हजार छात्र वापिस बुलाने पर भी नीतीश कुमार ने नाराजगी जताते हुए इसे लॉकडाउन का उल्लंघन बताया था. बिहार के छात्रों और मजदूरों की वापसी को लेकर विपक्ष ने भी नीतीश कुमार सरकार को जमकर घेरा है. हाल में गृह मंत्रालय की तरफ से दी गई छूट के बाद अब प्रवासी मजदूरों और छात्रों को बिहार वापस लाया जा रहा है.
ट्रेन में आवागमन वाले श्रमिकों से किराया वसूलने को लेकर भी विपक्ष जेडीयू सरकार पर हमलावर है. इस पर बिहार विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव ने कहा कि ग़रीब मज़दूरों की तरफ़ से 50 ट्रेनों का किराया आरजेडी वहन करने के लिए एकदम तैयार है क्योंकि डबल इंजन सरकार सक्षम नहीं है. तेजस्वी ने कहा कि बिना देरी किए हुए नीतीश सरकार को इसका प्रबंध कराना चाहिए. तेजस्वी ने प्रदेश के डिप्टी सीएम सुशील कुमार मोदी की चुटकी लेते हुए कहा, ‘सुशील मोदी जी, कुल जोड़ बता दीजिए, तुरंत चेक भिजवा दिया जाएगा. वैसे भी आपको खाता-बही देखने का शौक़ है’.
आदरणीय @NitishKumar जी, ग़रीब मज़दूरों की तरफ़ से 50 ट्रेनों का किराया राजद वहन करने के लिए एकदम तैयार है क्योंकि ड़बल इंजन सरकार सक्षम नहीं है।कृपया अब अविलंब प्रबन्ध करवाइए।@SushilModi जी- कुल जोड़ बता दिजीए, तुरंत चेक भिजवा दिया जाएगा। वैसे भी आपको खाता-बही देखने का शौक़ है।
— Tejashwi Yadav (@yadavtejashwi) May 4, 2020
इसी बीच नीतीश कुमार सरकार ने फैसला किया कि वह सभी प्रवासी बिहारी यात्रियों को टिकट के अलावा पांच सौ रुपये भी देगी. बिहार के उप मुख्यमंत्री सुशील कुमार ने ट्वीट पर जानकारी देते हुए कहा कि कोटा से आने वाले किसी भी छात्र से रेल किराया नहीं लिया गया है.अगर किसी श्रमिक से रेल किराया वसूला गया होगा तो उसको बिहार सरकार पैसा वापस करेगी. 14 दिन के क्वारेंटाइन के बाद श्रमिक को 500 रुपया और दिया जाएगा.
No rail fare has been charged from students coming from Kota & no fare will be charged from migrant labour as well.Will reimburse fare if charged by any state.After 21 days Quarantine 500 Rs.will also be given.#WelcomeBihar
— Sushil Kumar Modi (@SushilModi) May 4, 2020
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इसके बाद फिर से तेजस्वी यादव ने जेडीयू सरकार पर निशाना साधते हुए बार बार फैसला बदलने पर मखौल उड़ाया. तेजस्वी ने ट्वीट करते हुए कहा कि बिहार के सीएम हमारी सकारात्मक और समावेशी पहल के बाद लगातार हर दो घंटे में अपने स्टैंड और फैसले क्यों बदलते रहे हैं? क्या उसके पास इच्छाशक्ति की कमी और निर्णायकता नहीं है?
Why Bihar CM has been constantly changing his stands & decisions in every couple of hours after our positive and inclusive initiatives? Does he lack willingness foresightedness and decisiveness? https://t.co/e060NiR6Eb
— Tejashwi Yadav (@yadavtejashwi) May 4, 2020