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विपक्ष की लाख कोशिशों के बावजूद इतिहास में नरेंद्र मोदी का नाम दर्ज हो ही गया
संसद के नए भवन का निर्माण इसलिए करना पड़ा क्योंकि अंग्रेजों की ओर से बनाया गया मौजूदा संसद भवन हो रहा जर्जर, आने वाले समय में लोकसभा और राज्यसभा की सीटें बढ़नी निश्चित, ऐसे में बढ़ी सीटों के लिए मौजूदा संसद भवन छोटा साबित होगा, इनके अलावा, मनमोहन सरकार में कई राजनेता भी जाहिर कर चुके थे नए संसद भवन के निर्माण की मंशा