पॉलिटॉक्स ब्यूरो. ‘नरेंद्र मोदी और भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष अमित शाह दोनों ही इस समय सत्ता में हैं और उनके पास एक त्रिशूल है. उसी अस्त्र से ये विपक्ष को डराते रहते हैं. त्रिशूल की तीन नोकें हैं: प्रर्वतन निदेशालय (ED), केंद्रीय अन्वेषण ब्यूरो (CBI) और आयकर विभाग (IT).’ (Modi-Shah Trishula)
मोदी-शाह पर ये गंभीर आरोप लगाया है कांग्रेस के वरिष्ठ नेता जयराम रमेश ने. गुवाहाटी में मीडिया को संबोधित करते हुए उन्होंने ये बात कही. जयराम रमेश ने कहा कि पीएम और गृहमंत्री अपने राजनीतिक विरोधियों को निशाना बनाने और परेशान करने के लिए ईडी, सीबीआई और आईटी नाम त्रिशूल (Modi-Shah Trishula) का बखूबी इस्तेमाल कर रहे हैं.
जयराम रमेश ने अपने ये शब्द पूर्व में कथित तौर पर अमित शाह के इशारे पर पूर्व गृहमंत्री पी.चिदंबरम, कर्नाटक में कांग्रेस नेता डीके शिवकुमार पर हुई कार्रवाई पर की थी. गौरतलब है कि चिदंबरम आईएनएक्स मीडिया मामले में पिछले तीन महीने से तिहाड़ जेल में भर्ती हैं. डीके शिवकुमार हाल में ईडी की कार्यवाही के चलते तिहाड़ जेल से जमानत पर बाहर आए हैं. चिदंबरम भी जमानत के लिए लगातार सुप्रीम कोर्ट में गुहार लगा रहे हैं लेकिन कुछ खास सफलता नहीं मिल रही. उत्तराखंड के पूर्व सीएम हरिश रावत भी सीबीआई के हथ्थे कभी भी चढ़ सकते हैं.
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वरिष्ठ कांग्रेसी नेता ने ये भी कहा कि कांग्रेस हमेशा से इन तीनों सरकारी विभागों का गलत इस्तेमाल करने का विरोध हमेशा करती आयी है. लेकिन कांग्रेस पार्टी देश के संविधान में विश्वास रखती है और उसी के तहत कार्य करती है.
बता दें, बुधवार को ही भाजपा ने नेहरू मेमोरियल को कांग्रेस मुक्त किया है. 55 साल पुरानी नेहरू मेमोरियल म्यूजियम और लाइब्रेरी (NMML) सोसाइटी के से संस्थापक सदस्य और कांग्रेस नेता कर्ण सिंह सहित कांग्रेसी नेता मल्लिकार्जुन खड़गे और जयराम रमेश सहित सात दिग्ग्जों को बाहर का रास्ता दिखाया है. इससे कांग्रेस और मेमोरियल से जुड़े तीनों नेता खासे नाराज हैं. साथ ही मेमोरियल सदस्यों की संख्या 34 से घटाकर 28 कर दी गयी है. इन तीनों की जगह भाजपा नेता अनिर्बन गांगुली, गीतकार प्रसून जोशी और पत्रकार रजत शर्मा को अगले पांच साल के लिए सोसाइटी का सदस्य बनाया गया है. (Modi-Shah Trishula)
इससे पहले मोदी सरकार के इस कदम (NMML) की निंदा करते हुए कांग्रेस नेता जयराम रमेश ने कहा कि अब एनएमएमएल, नागपुर मेमोरियल म्यूजियम एंड लाइब्रेरी बन गया है. वहीं कर्ण सिंह ने कहा कि मुझे सरकार की इस मंशा पर शक है. उन्होंने कहा कि जो लोग नेहरू का नाम लेने से भी परहेज करते हैं, आज उन लोगों को सदस्य बना दिया. अब यह पूरी तरह से सरकारी संस्था बन गई है.
ये भी गौर करने योग्य है कि मोदी सरकार की तरफ से समिति का पुनर्गठन निर्धारित समय से छह महीने पहले ही कर दिया गया है. समिति का अध्यक्ष नरेंद्र मोदी और उपाध्यक्ष राजनाथ सिंह को बनाया गया है. गृहमंत्री अमित शाह, वित्तमंत्री निर्मला सीतारमण और पर्यावरण मंत्री प्रकाश जावड़ेकर भी सोसाइटी के सदस्य हैं.