Politalks.News/MadhyaPradesh. कन्याकुमारी से शुरू हुई राहुल गांधी की भारत जोड़ो यात्रा को आज 12 दिन हो चुके हैं और यात्रा केरल पहुंच गई. कांग्रेस की इस यात्रा से एक ओर जहां विपक्षी पार्टियों और खासकर भाजपा में सियासी खलबली मची हुई है तो वहीं पार्टी नेताओं एवं कार्यकर्ताओं का खोया हुआ आत्मविश्वास भी बढ़ रहा है. पार्टी नेताओं को विश्वास है कि इस यात्रा से कांग्रेस को आने वाले कई राज्यों के विधानसभा चुनावों और उसके बाद लोकसभा चुनावों में फायदा मिलने वाला है. इसी बीच अब कांग्रेस की इस यात्रा पर अपनों ने ही सवाल उठाने शुरू कर दिए हैं. भारत जोड़ो यात्रा की कमान संभालने वाले एवं इस यात्रा की पूरी रूपरेखा तैयार करने वाले दिग्गज कांग्रेसी सांसद दिग्विजय सिंह के भाई और कांग्रेस विधायक लक्ष्मण सिंह ने ही भारत जोड़ो यात्रा पर सवाल उठा दिए हैं. दिग्गी राजा के भाई लक्ष्मण सिंह ने कहा कि, ‘केवल पैदल चलने से वोट नहीं बढ़ने वाला है. केवल पैदल चलने से जीत मिलती तो भेड़ चराने वाले भी प्रधानमंत्री बन जाते.’ इसके साथ ही लक्ष्मण सिंह ने राहुल गांधी को पार्टी अध्यक्ष बनाए जाने की वकालत करने का भी विरोध किया है.
आपको बता दें कि राहुल गांधी की भारत जोड़ो यात्रा 12 दिनों में करीब 200 किलोमीटर का सफर तय कर चेप्पुड (केरल) पहुंच गई है. अगले 12 दिन अभी यात्रा केरल के विभिन्न जिलों से गुजरते हुए एक अक्टूबर को कर्नाटक में दाखिल होगी. यहीं से यात्रा का असल इम्तेहान शुरू होगा क्योंकि, कर्नाटक में भाजपा सरकार है और प्रदेश में अगले साल विधानसभा चुनाव होने हैं. बीजेपी पहले दिन से ही कांग्रेस की भारत जोड़ो यात्रा पर सवाल उठा रही है. लेकिन अब खुद पार्टी नेताओं की बयानबाजी ने ही कांग्रेस को अब असहज कर दिया है. मध्य प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री और भारत जोड़ो यात्रा की रूपरेखा तैयार करने वाले दिग्विजय सिंह के भाई लक्ष्मण सिंह ने ही सवाल उठाने शुरू कर दिए हैं. लक्ष्मण सिंह ने भारत जोड़ो यात्रा को कॉन्सेप्ट के रूप में अच्छा बताया लेकिन यह भी कहा कि ‘इसमें देर हो गई है और लोगों को यह कहने का मौका मिल गया कि ईडी के छापेमारी के बाद ही यात्रा की गई है.’
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लक्ष्मण सिंह ने कहा कि, ‘भारत जोड़ो यात्रा एक अच्छा कॉन्सेप्ट है, लेकिन इसे पहले ही निकाल लेना चाहिए था. इसकी योजना पहले से थी, टाइमिंग आगे पीछे हो गया, लेकिन ऐसा नहीं है कि ईडी की छापों को वजह से हुई. पार्टी को केवल इस यात्रा से जीत नहीं मिलेगी, बल्कि बूथ पर काम करना होगा.’ लक्ष्मण सिंह ने आगे कहा कि, ‘ये अच्छा है कि राहुल गांधी पैदल चल रहे हैं लेकिन केवल पैदल चलने से ही कोई चुनाव नहीं जीत जाता है. अगर ऐसा होता तो ये जो रबारी भेड़ चराते हैं, हर साल 2-3 हजार किलोमीटर पैदल चलते हैं. वो भी फिर तो प्रधानमंत्री बन जाते. राजनीति में आर्ट ऑफ मैनेजमेंट होता है और इसके लिए बूथ पर जो आप मेहनत करेंगे उससे वोट मिलता है. पैदल चलने से फर्क पड़ता है, इससे फॉलोइंग बढ़ती है. लेकिन जब तक हम लोग बूथ मैनेजमेंट बेहतर नहीं करेंगे, बूथ पर प्रशिक्षण नहीं देंगे. हमारे वर्कर्स की मदद नहीं करेंगे, उसको ट्रेंड नहीं करेंगे, तब तक कुछ भी सही नहीं होगा.’
पहले राजस्थान और फिर अब छत्तीसगढ़ प्रदेश कांग्रेस द्वारा राहुल गांधी को पार्टी अध्यक्ष बनाए जाने को लेकर पास किए गए प्रस्ताव पर सवाल उठाते हुए लक्ष्मण सिंह ने कहा कि, ‘किसी से भी किसी तरह की कोई जबर्दस्ती ना की जाए. पार्टी में कई काबिल लोग हैं. जब राहुल गांधी खुद कह रहे हैं उनको राष्ट्रीय अध्यक्ष नहीं बनना है तो मैं समझ नहीं पा रहा हूं कि फिर क्यों जबरदस्ती राहुल गांधी को अध्यक्ष बनाने की वकालत की जा रही है, चुनाव होने दीजिए, चुनाव हो रहा है और पार्टी में और भी जो लोग काबिल होंगे उन्हें अध्यक्ष बनने का मौका मिलेगा.’
वहीं लक्ष्मण सिंह का यह बयान सामने आने के बाद भाजपा ने भी सिंह के बहाने कांग्रेस पर तंज कसा है. मध्य प्रदेश के गृहमंत्री नरोत्तम मिश्रा ने कहा, ‘हम तो शुरू से कह रहे हैं, अब कांग्रेस के लोग ही कह रहे हैं, कि भारत ऐसे नहीं जुड़ता है. राहुल गांधी को भारत कहीं टूटा हुआ दिखे तो बताना. अब लक्ष्मण सिंह ने कह दिया है, वह स्पष्टवादी रहे हैं. अब कांग्रेस के जो पदयात्री हैं आदरणीय राहुल बाबा जी, उनको सलाह माननी चाहिए कि इससे वोट नहीं बढ़ंगे और जबरदस्ती उनको मत थोपो.’