Politalks.News/राजस्थान. दुनिया के लगभग सभी देश मौजूदा समय में कोरोना महामारी से जूझ रहे है. दुनिया भर के सभी देशों की कोशिश है कि इस बीमारी की जल्द से जल्द दवा का इजात किया जाए. इसी बीच बीते दिनों योग गुरू बाबा रामदेव ने प्रेस कांफ्रेस कर दावा किया कि उन्होंने कोरोना की दवा डूंढ ली है. बाबा रामदेव ने इस दौरान कोरोना से बचाव के लिए कोरोनिल नाम की दवा को बकायदा लॉन्च भी किया. कोरोनिल दवा की लॉन्चिंग के बाद से ही इसको लेकर देशभर में विवाद शुरू हो गया. इस दवा को लेकर बाबा पर कई मुकदमें दर्ज हुए तो सोशल मीडिया पर भी बाबा को लोगों ने जमकर कोसा. काफी विवादों के बाद आखिकार पतंजलि की कोरोनिल दवा को आयुष मंत्रालय से बिक्री की अनुमति मिल गई है. बाबा रामदेव की कंपनी पतंजलि अब इसे इम्यूनिटी बूस्टर के तौर पर बाजार में बेच सकेगी.
बाबा रामदेव की कोरोनिल दवा को लेकर राजस्थान सरकार में चिकित्सा मंत्री रघु शर्मा ने एक बार फिर से निशाना साधा. मंत्री रघु शर्मा ने कहा कि इम्युनिटी बूस्टर की जगह जिस तरह बाबा रामदेव ने इस दवाई को कोरोना का इलाज करने वाली दवाई के तौर पर दावा किया वो कोरोना महामारी के समय देश की जनता के साथ क्रूर मजाक था. इसीलिए बाबा रामदेव को देश की जनता से माफी मांगनी चाहिए. कोरोना संकट के इस समय में बाबा रामदेव अगर देश की कोई मदद करना चाहते हैं तो देश में इस इम्यूनिटी बूस्टर को निःशुल्क कर दें.
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चिकित्सा मंत्री रघु शर्मा ने कहा कि कोरोना की डब्ल्यूएचओ, आइसीएमआर के पास अब तक कोई दवा नहीं है. ऐसे में बाबा रामदेव ने पिछले दिनों कहा कि उन्होंने कोरोना की दवा को खोज निकाल है. इस दवा से 3 से 7 दिन में कोरोना मरीज ठीक हो जाएगा. अब बाबा इसको इम्यून बूस्टर के रूप में स्वीकार कर रहे है. इम्यून बूस्टर के रूप में हमने आयुर्वेदिक काढा प्रदेशवासियों को पिलाया है. मेरा दावा है वह काढा कोरोनिल से ज्यादा असरदार है. प्रदेश में हमने करीब 20 लाख से ज्यादा लोगों को अब तक यह काढा पिला चुके है. राजस्थान इम्यूनिटी बूस्टर के लिए पहले ही बहुत शानदार काम कर रहा है.
मंत्री शर्मा ने आगे कहा कि कोरोना की दवा के रूप में अगर बाबा रामदेव ठगी का प्रयास करें तो यह मजाक होगा. कोरोना संकट के इस समय में देश की जनता वैसे ही बहुत दुखी और भयभीत है. ऐसे में अगर कोई दावा करे यह कोरोना की दवा है, इससे गंदा मजाक कोरोना महामारी के इस दौर में कोई हो नहीं सकता. बाबा रामदेव को देशवासियों से माफी मांगनी चाहिए. आज बाबा रामदेव ने खुद ने माना है कि यह इम्यूनिटी बूस्टर है. बाबा रामदेव को उसी दिन यह कह देना चाहिए था कि यह इम्यूनिटी बूस्टर है, कोरोना की दवा नहीं है. पतंजलि सैकडों प्रोडक्ट बाजार में बेच रही है, हमने कभी किसी पर एतराज नहीं किया. लेकिन कोरोना के इस संकट के समय में व्यापार करने का आप कोई गलत तरीका अपनाएं यह पीड़ादायक है.
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मंत्री रघु शर्मा ने कहा कि कोरोना के इस दौर में अगर बाबा रामदेव देश की मदद करना चाहते हैं तो इस दवा को निशुल्क करें. बाबा रामदेव इस दवा के पैसे क्यों ले रहे हैं. देश में आम आदमी वैसे ही आर्थिक कंगाली के कगार पर है. बाबा के मन में अगर देश सेवा है तो बाबा इस इम्यून बूस्टर को निशुल्क लोगों को दे. बाबा ने बहुत व्यापार अब तक कर लिया है. बाबा को इस दवा को निशुल्क देशवासियो को देना चाहिए. बाबा रामदेव ने योग का बहुत प्रचार किया है और व्यापार भी बहुत किया है, इसको हम मानते हैं. लेकिन कोरोना के इस दौर में बाबा को व्यापार नहीं करना चाहिए.