Politalks.news/Rajasthan. वल्लभनगर और धरियावद उपचुनाव में मिली जीत के बाद कांग्रेस में जहां धनतेरस से पहले ही दिवाली बना दी है. वहीं भाजपा का मुख्यालय आज खाली पड़ा दिखाई दिया. जीत से उत्साही राजस्थान प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष गोविंद सिंह डोटासरा ने कहा कि, ‘राज्य सरकार अच्छा काम कर रही है और 2023 के आगामी विधानसभा चुनाव में भारी बहुमत के साथ दोबारा कांग्रेस पार्टी की सरकार राजस्थान में बनेगी’. डोटासरा ने कहा कि, ‘कांग्रेस के पूर्व राष्ट्रीय अध्यक्ष राहुल गांधी ने जिस तरह मोदी सरकार को एक्सपोज किया है उससे पार्टी को बहुत मदद मिली है’. इधर करारी हार का स्वाद चखने वाली पार्टी भाजपा के प्रदेशाध्यक्ष सतीश पूनियां ने कहा कि, ‘हमें मनोबल और आत्मविश्वास बनाए रखते हुए, आलोचना से बचते हुए, सीख और सबक लेकर आगे बढ़ना है. जब हम सत्ता में थे, तब भी हम उपचुनावों में पराजय से सबक लेकर आगे बढ़े हैं’. उपचुनाव के बाद भाजपा और कांग्रेस की ओर से बयानबाजी के दौर शुरू हो गए हैं.
गहलोत सरकार के खिलाफ नहीं है विरोधी लहर- डोटासरा
जीत से उत्साही पीसीसी चीफ गोविंद सिंह डोटासरा ने प्रेस वार्ता में कहा कि, ‘यह सीधा संदेश है कि गहलोत सरकार के खिलाफ कोई विरोधी लहर नहीं है, लोकप्रियता बढ़ी है, हमारी सरकार अच्छा काम कर रही है और 2023 में भारी बहुमत के साथ दोबारा कांग्रेस पार्टी की सरकार राजस्थान में बनेगी’. यह पूछे जाने पर कि उपचुनाव में महंगाई का कितना असर मानते हैं, डोटासरा ने कहा कि, ‘मंहगाई, बेरोजगारी, विदेश नीति, किसानों की बात के अलावा राहुल गांधी ने पूरे देश में जिस तरीके से (प्रधानमंत्री नरेंद्र) मोदी और उनकी सरकार को एक्सपोज करने का काम किया है वह एक बहुत बड़ा मुद्दा, प्रदेश में ही नहीं बल्कि पूरे देश में बन चुका है’.
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‘राहुल गांधी ने मोदी सरकार को किया एक्सपोज’
पीसीसी चीफ डोटासरा ने कहा, ‘दोनों उपचुनाव में कांग्रेस पार्टी ने ऐतिहासिक जीत हासिल की है. यह कांग्रेस पार्टी के कार्यकर्ताओं के मेहनत और मुख्यमंत्री अशोक गहलोत के नेतृत्व में सुशासन की जीत है साथ ही राहुल गांधी जिस प्रकार से मोदी सरकार को महंगाई, बेरोजगारी और अन्य मुद्दे पर उनको पूरे देश में एक्सपोज किया है, उससे राजस्थान में महंगाई, बेरोजगारी के मुद्दे को लोगों ने समझा है और इन्हीं सब चीजों से प्रभावित होकर ऐतिहासिक जीत दोनों उपचुनाव में कांग्रेस पार्टी को दिलाई है और भारतीय जनता पार्टी को तीसरे और चौथे नंबर पर धकेलने का काम किया है’.
बीजेपी की सुपारी लेकर चुनाव में जाते हैं राठौड़- डोटासरा
प्रदेश भाजपा पर निशाना साधते हुए डोटासरा ने कहा कि, ‘किसान और महंगाई के मुद्दे पर कांग्रेस को जनमत मिला है. भाजपा नेता अपनी नेतागिरी को चमकाने में लगे हैं. भाजपा प्रदेशाध्यक्ष ने माना तो तात्कालीक मुद्दों पर हारे हैं, लेकिन मैं कहूंगा की भाजपा में गुटबाजी भारी है’. प्रदेश भाजपा पर चुटकी लेते हुए पूनियां ने कहा कि, ‘प्रदेश भाजपा ने दोनों ही प्रत्याशियों के नाम नहीं भेजे थे. केन्द्रीय नेतृत्व में अपनी मर्जी से टिकट दिए हैं. केन्द्रीय नेतृत्व को इनकी प्रदेश कोर कमेटी पर विश्वास नहीं है’. डोटासरा ने वल्लभनगर के टिकट को लेकर सौदेबाजी की आशंका भी जताई. डोटासरा ने राजेंद्र राठौड़ के लिए कहा कि, ‘वो बीजेपी की सुपारी लेकर ही चुनाव में जाते, जहां पांव पड़े संतन के वहां वहां बंटाधार’.
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पूनियां में स्वीकारी हार तो इशारों में मैडम राजे पर साधा निशाना!
इधर प्रदेश भाजपा अध्यक्ष सतीश पूनियां ने हार को स्वीकारते हुए कहा कि, ‘यह पराजय स्वाभाविक है, परिस्थितिजन्य है और स्थानीय समीकरण तथा मुद्दों पर निर्भर थी,हमें मनोबल और आत्मविश्वास बनाए रखते हुए, आलोचना से बचते हुए, सीख और सबक लेकर आगे बढ़ना है. जब हम सत्ता में थे, तब भी हम उपचुनावों में पराजय से सबक लेकर आगे बढ़े हैं’. हार के इस बयान को लेकर सियासी गलियारों में चर्चा है कि पूनियां भाजपा की सरकार में हार का जिक्र कर रहे हैं. वसुंधरा राजे की सरकार में भाजपा ने लोकसभा सीट अजमेर और अलवर और विधानसभा सीट मांडलगढ़ उपचुनाव में हार का मुंह देखा था. उस जमाने में एक साथ 17 विधानसभा सीटों पर भाजपा को हार मिली थी. क्या पूनियां अब हार के बावजूद इशारों में मैडम राजे पर निशान तो नहीं साध रहे हैं?. साथ ही पूनियां ने कार्यकर्ताओं का मनोबल बढ़ाने के लिए ट्वीट किया- ‘क्या हार में क्या जीत में, किंचित नहीं भयभीत मैं, संघर्ष पथ पर जो मिले, यह भी सही वह भी सही, भाजपा के कार्यकर्ताओं का आभार और जनता का धन्यवाद’.