Politalks.News/Rajasthan. कोरोना महामारी से निपटने के लिए गहलोत सरकार द्वारा प्रदेश में 24 मई शाम 5 बजे तक लगाए गए सम्पूर्ण लॉकडाउन का आगे बढ़ना तय है. इसके संकेत खुद मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने शुक्रवार रात सीएम आवास पर हुई समीक्षा बैठक में दिए है. बैठक में सीएम गहलोत ने कहा कि प्रदेश में कोरोना संक्रमण के प्रसार को रोकने के लिए राज्य सरकार द्वारा उठाए गए जन अनुशासन पखवाड़ा एवं महामारी रेड अलर्ट जन अनुशासन लॉकडाउन जैसे सख्त कदमों का असर दिखने लगा है, लेकिन संक्रमण की स्थिति एवं मृत्यु दर अभी भी चिंताजनक बनी हुई है. ऐसे में हमें लॉकडाउन की और अधिक सख्ती से पालना करने के साथ ही सामाजिक व्यवहार में संयम और अनुशासन को लगातार बरकरार रखना होगा, तभी हम कोविड के खतरे को कम कर पाएंगे.
मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने आगे कहा कि राज्य सरकार ने संकट की इस घड़ी में लोगों का जीवन बचाने के लिए हर संभव प्रयास सुनिश्चित किए हैं, लेकिन शहरों के साथ-साथ ग्रामीण क्षेत्रों में भी संक्रमण का काफी प्रसार हुआ है. सीएम गहलोत ने कहा कि युवा वर्ग, गर्भवती महिलाएं और बच्चे भी संक्रमण की चपेट में आए हैं. ऐसी विषम परिस्थिति का सामना करने के लिए सरकार की सर्वोच्च प्राथमिकता प्रदेशभर में चिकित्सा सुविधाओं को और मजबूत बनाना है. इस दौरान सीएम अशोक गहलोत ने निर्देश दिए कि चिकित्सा विभाग जिला अस्पतालों, मेडिकल कॉलेज से जुड़े अस्पतालों के साथ-साथ ग्रामीण क्षेत्रों में सीएचसी और पीएचसी स्तर तक स्वास्थ्य सेवाएं सुदृढ़ करने के लिए योजनाबद्ध रूप से काम आगे बढ़ाएं. सीएम गहलोत ने कहा कि पहली और दूसरी लहर के अनुभव के आधार पर तीसरी लहर के लिए पुख्ता तैयारियां सुनिश्चित की जाएं.
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इनके साथ ही सीएम अशोक गहलोत ने कहा कि ब्लैक फंगस जैसी जानलेवा बीमारी के मामले सामने आना चिंताजनक है. इसके उपचार किसी तरह की कमी नहीं रहे और लोगों को इससे बचाव के लिए जागरूक भी किया जाए. बैठक में चिकित्सा एवं स्वास्थ्य मंत्री डॉ. रघु शर्मा ने कहा कि ग्रामीण क्षेत्रों में सैम्पलिंग बढ़ाने के प्रयास किए जा रहे हैं. साथ ही, आगामी आवश्यकताओं को ध्यान में रखकर सीएचसी एवं पीएचसी स्तर पर चिकित्सा सुविधाओं को योजनाबद्ध ढंग से मजबूत किया जाएगा.
वहीं चिकित्सा एवं स्वास्थ्य राज्यमंत्री डॉ. सुभाष गर्ग ने कहा कि संक्रमण की स्थिति को देखते हुए लॉकडाउन की सख्ती से पालना प्रदेश के हित में है. उन्होंने कहा कि जीवन रक्षा के लिए वैक्सीनेशन के काम को गति देना भी बेहद जरूरी है. तो मुख्य सचिव श्री निरंजन आर्य ने बताया कि मेडिकल ऑक्सीजन का बफर स्टॉक तैयार कर लिया गया है. साथ ही, स्थानीय स्तर पर भी ऑक्सीजन का उत्पादन बढ़ा है. उन्होंने बताया कि पहली और दूसरी लहर के अनुभवों से सबक लेते हुए तीसरी लहर के लिए योजना बनाई जा रही है.
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बैठक में चिकित्सा विशेषज्ञों आरयूएचएस के कुलपति डॉ. राजाबाबू पंवार, एसएमएस कॉलेज के प्राचार्य डॉ. सुधीर भण्डारी तथा डॉ. वीरेन्द्र सिंह ने कहा कि दूसरी लहर का खतरा अभी टला नहीं है. अस्पताल और चिकित्सा संसाधन अभी भी मरीजों के दबाव का सामना कर रहे हैं. दूसरे देशों के अनुभव बताते हैं कि दूसरी और तीसरी लहर में ज्यादा अंतर नहीं रहने की आशंका है. ऐसे में लॉकडाउन जैसे कदमों को जारी रखना उचित होगा. हमें पहली लहर के बाद कोविड प्रोटोकॉल की पालना में हुई लापरवाही के अनुभव से सबक लेते हुए सख्त कदम जारी रखने के साथ-साथ आगामी आवश्यकताओं को ध्यान में रख कर अभी से तैयारियों में जुटना होगा.