महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव (Maharashtra Assembly Election-2019) की जंग में बीजेपी ने अपने उम्मीदवारी की चौथी और आखिरी लिस्ट जारी कर दी. इस लिस्ट में कुछ ऐसे दिग्गजों के नाम गायब हैं जिनको लेकर सियासी गलियारों में चर्चाओं की हवा गर्म है और खुद आलाकमान भी इस चर्चाओं से परेशान है. भाजपा की चौथी लिस्ट में सात नाम शामिल हैं लेकिन किसी भी लिस्ट में फडनवीस सरकार में मंत्री विनोद तावडे (Vinod Tawde) का नाम नहीं है. तावड़े के साथ ही प्रकाश मेहता और राज पुरोहित को भी टिकट नहीं दिया गया. एकनाथ खड़से (Eknath Khadse) और बीजेपी से राज्यसभा सदस्य नारायण राणे के बेटे नितेश राणे के नाम भी लिस्ट से गायब हैं.

मेहता और तावड़े दोनों ही भाजपा के वरिष्ठ नेता हैं. 2014 में भाजपा की सरकार बनने के बाद इन नेताओं को मंत्रिमंडल में शामिल किया गया. विनोद तावड़े भाजपा के वरिष्ठ नेता हैं और फडणवीस कैबिनेट में मंत्री हैं. तावड़े बोरीवली और मेहता घाटकोपर पूर्व सीट से विधायक हैं. भाजपा ने मेहता की जगह पराग शाह और तावड़े की जगह सुनिल राने को टिकट थमाया है. मेहता पर भ्रष्टाचार के आरोप लगने के बाद उन्हें मंत्रिपद से इस्तीफा देना पड़ा था.

बता दें, महाराष्ट्र में जब भी भाजपा की ओर से मुख्यमंत्री की रेस में नेताओं का जिक्र होता है तो उस लिस्ट में फडनवीस के साथ तावड़े का नाम भी शामिल हैं. टिकट न देने की वजह फडनवीस बनाए जा रहे हैं. बोरीवली सीट बीजेपी के लिए सबसे सुरक्षित सीटों में से एक है. यह वो सीट हैं, जहां बीजेपी 1980 से ही कभी नहीं हारी है. ऐसे में यहां विनोद तावड़े की जगह सुनिल राने पर दांव खेलना बीजेपी के लिए मुश्किल भरा नहीं होगा.  मुक्ताईनगर विधानसभा सीट से एकनाथ खड़से की जगह उनकी बेटी रोहिणी खडसे को उम्मीदवार बनाया गया है. गौर करने वाली बात ये है कि एकनाथ खडसे ने भी यहां से नामांकन दाखिल कर दिया है.

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वहीं महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव (Maharashtra Assembly Election-2019) में चौथी लिस्ट समेत भाजपा ने कुल 150 प्रत्याशी मैदान में उतार दिए हैं. महाराष्ट्र में 288 सीटों पर चुनाव होने हैं जिनमें से 124 सीटें शिवसेना और अन्य 14 सीटें सहयोगी पार्टियों के लिए छोड़ी गई हैं. शिवसेना प्रमुख उद्दव ठाकरे के सुपुत्र आदित्य ठाकरे भी इस बार चुनावी जंग में उतरे हैं. पिछले 60 वर्षों के इतिहास में ये पहली बार है कि ठाकरे परिवार का कोई सदस्य चुनावी मैदान में उतर रहा है. आदित्य मुंबई की वर्ली विधानसभा सीट से अपनी किस्मत आजमा रहे हैं.

वहीं विपक्ष में कांग्रेस और एनसीपी गठबंधन में आमने-सामने हैं. महाराष्ट्र में दोनों पार्टियों की स्थिति भाजपा और शिवसेना के मुकाबले थोड़ी कमजोर है लेकिन हाल में बैंक भ्रष्टाचार मामले में शरद पवार का नाम उछलने से माहौल थोड़ा बदल गया है. ऐसे में एनसीपी को गेम चैंजर के तौर पर माना जा रहा है. महाराष्ट्र में 21 को मतदान और 24 को नतीजें घोषित होने हैं.

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